एम्स में नर्स की नौकरी के नाम पर एक गिरोह लड़कियों से लेते थे इतने पैसे

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अपराध की घटना देश में बढ़ती ही जा रही है, फिर मामला चाहें किसी से भी संबंधित क्यों न हो, मध्य प्रदेश में एक अपराधिक या फिर यूं कहें की ठगी का मामला बहुत ही सुर्खियों में चल रहा है. जहां पर इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस में नर्स के पदों पर भर्ती करवाने का झांसा देकर ठगी करने वाले एक गिरोह का भंडाफोड़ किया गया है.


इस बात की जानकारी मध्य प्रदेश की पुलिस को बुधवार को मिली. जिसमें पुलिस ने कहा है कि दिलशाद खान और भोपाल के आलोक कुमार महिलाओं को नर्स की नौकरी का झांसा देकर उनसे पैसे की लेते थे. इसके बाद पुलिस इस मामले की छानबीन में जुट गई. जिसके बाद इस केस को एसटीएफ को सौंपा दिया गया था.

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जांच के दौरान ही एसटीएफ ने इस गिरोह के सरगना जबलपुर और भोपाल से आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. वहीं एसटीएफ के एडीजी अशोक अवस्‍थी ने बताया कि यह गिरोह एम्स में नर्स के पद पर, भर्ती कराने के नाम पर अब तक 50 से ज्यादा लड़कियों से लाखों रुपये की ठगी कर चुके है.

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जांच में यह भी खुलासा किया गया है कि गिरोह के सरगना दिलशाद खान की पांच बीवियां हैं जिनके रहन-सहन और उनके भारी भरकम खर्चो को पूरा करने के लिए दिलशाद ठगी से अपराध को अंजाम देता था. दिलशाद की पांच में से एक पत्नी जबलपुर में निजी क्लिनिक चलाती है. वही दूसरे आरोपी की पत्नी भोपाल में सरकारी गर्ल्स हॉस्टल की सुपरिटेंडेंट है.


पुलिस की पूछताछ के दौरान सामने आया कि वह केवल पढ़ी लिखी लड़कियों को अपने जाल में फसाता था. ताकि उन्हें नौकरी दिलाने के नाम पर पैसे ले सके. अब यहां पर सवाल यह उठता है कि क्या किसी भी व्यक्ति पर आज के समय पर विश्वास करना सहीं है, अगर हां तो कहां तक जब लोग ही इंसानियत को शर्मसार कर रहें कर रहें हो.