केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन की सीमा 6 महीने बढ़ाई

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बीते बुधवार को हुए कैबिनेट बैठक में कई अहम फैसले केन्द्रीय मंत्रिमंडल की तरफ से लिए गये. इन्ही अहम फैसलों में एक फैसला जम्मू-कश्मीर में राष्ट्रपति शासन की मियाद को बढ़ा देना भी है. मालूम हो कि जम्मू-कश्मीर में विधानसभा भंग होने के बाद से ही वहां पर राष्ट्रपति शासन लगा है.

लेकिन पिछले दिनों चुनाव के बाद लोकसभा भंग होने के बाद जम्मू-कश्मीर में भी चुनाव कराने की मांग उठ रही थी, लेकिन चुनाव आयोग के द्वारा सर्वेक्षण करने के बाद वहां के हालत अभी भी चुनाव के लिए उपयुक्त नही लग रहे हैं. इसके बाद केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने कल संपन्न हुई बैठक में यह निर्णय लिया.

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आपको बता दें कि जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मालिक ने भी वहां पर राष्ट्रपति शासन बढ़ाने की सिफारिश की थी, इसके बाद केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने यह फैसला लिया. अब राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद राज्य में राष्ट्रपति शासन की उद्घोषणा पर हस्ताक्षर करेंगे, जो कि 3 जुलाई से प्रभाव में आएगी.

बता दें कि जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मालिक ने भी वहां पर राष्ट्रपति शासन बढ़ाने की सिफारिश की थी, इसके बाद केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने यह फैसला लिया. अब राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद राज्य में राष्ट्रपति शासन की उद्घोषणा पर हस्ताक्षर करेंगे, जो कि 3 जुलाई से प्रभाव में आएगी.

मालूम हो कि जून 2018 में पीडीपी और भाजपा का गठबंधन टूटने के बाद से ही जम्मू-कश्मीर में फिर से चुनाव अभी तक नही हो पाया है, और ऐसी स्थिति में वहां पर राष्ट्रपति शासन लगा दिया गया है. बीते लोकसभा चुनावों के दौरान भी वहां पर चुनाव होने की बाद चल रही थी लेकिन उसे बाद के लिए टाल दिया गया था.