सरकारी स्कूलों में 8वीं तक के हर विद्यार्थी को यूनिफॉर्म के लिए मिलेंगे 600 रुपए

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सरकारी स्कूलों में 8वीं तक के हर विद्यार्थी को यूनिफॉर्म के लिए मिलेंगे 600 रुपए

राजधानी के सरकारी स्कूलों में 8वीं क्लास तक के तकरीबन साढ़े आठ लाख स्टूडेंट्स को स्कूल यूनिफॉर्म के लिए भी सरकार पैसा देगी। यह पैसा उनके बैंक खातों में ट्रांसफर किया जाएगा।

अभिभावक या स्टूडेंट्स के खाते में होगा ट्रांसफर या एसडीएमसी के जरिए भुगतान तय नहीं
जयपुर।
राजधानी के सरकारी स्कूलों में 8वीं क्लास तक के तकरीबन साढ़े आठ लाख स्टूडेंट्स को स्कूल यूनिफॉर्म के लिए भी सरकार पैसा देगी। यह पैसा उनके बैंक खातों में ट्रांसफर किया जाएगा। इस संबंध में राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से एक निर्देश जारी किए गए हैं जिसमें मुख्य जिला शिक्षा अधिकारियों से स्टूडेंट्स या उनके परिजनों के बैंक खातों की जानकारी मांगी है। इसके लिए 600 रुपए प्रति स्टूडेंट्स के हिसाब से 14 करोड़ रुपए मंजूर किए गए हैं।
यह पैसा वर्ष 2021-22 के बजट में हुई घोषणा के तहत दिया जा रहा है। इसमें स्टूडेंट्स उनके पेरेंट्स, सरकारी स्कूलों और विद्यालय प्रबंधन समितियों सभी के बैंक खातों की डिटेल्स मांगी गई हैं जिससे डायरेक्ट बैनिफिट ट्रांसफर या स्कूलों के खातों में यूनिफॉर्म का पैसा ट्रांसफर किया जा सके। निर्देशों में यह भी कहा गया है कि यूनिफॉर्म की प्रक्रिया तय की जा रही है। यह पैसा अभिभावकों अथवा स्टूडेंट्स के खाते में भी डाला जा सकता है या फिर स्कूलों और प्रबंधन समितियों के माध्यम से भी ट्रांसफर किया जा सकता है।
यूनिफॉर्म की वजह से बढ़ेगा नामांकनÓ
विभाग का आकलन है कि 7वीं की छात्रा को फुल ड्रेस के लिए करीब 4.5 मीटर कपड़े की जरूरत होगी जिसकी कीमत 250 से 280 रुपए है। जबकि छात्र के लिए पैंट शर्ट में करीब 3.25 मीटर कपड़े की जरूरत पड़ेगी। यह कपड़ा बाजार में कहीं भी 300 से 320 रुपए तक में मिल जाएगा। विभागीय अधिकारियों की माने तो यूनिफॉर्म देने से सरकारी स्कूलों में नामांकन प्रतिशत बढेग़ा साथ ही बच्चों का ड्रॉप आउट भी कम होगा। इसके लिए अनिवार्य शिक्षा अधिनियम.2009 और संशोधित निशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा अधिनियम 2011 में भी संशोधन किए हैं।

इनका कहना है,
राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद की ओर से निर्देश प्राप्त हुए है कि यूनिफॉर्म के लिए प्रति विद्यार्थी 600 रुपए का भुगतान किया जाएगा। परिषद ने स्टूडेंट्स उनके पेरेंट्स, सरकारी स्कूलों और विद्यालय प्रबंधन समितियों सभी के बैंक खातों की डिटेल्स मांगी है। पैसा या तो अभिभावक या स्टूडेंट्स के खाते में ट्रांसफर होगा या फिर एसडीएमसी के जरिए भुगतान किया जाएगा।
सुभाष यादव, मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी
जयपुर।





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