राजस्थान में ‘इन्वेस्टमेंट वैभव गहलोत समिट’ आयोजित हुआ, CM ने अडानी और टोरेंट ग्रुप से बेटे को दिलाया रोजगार – विनय मिश्रा

142
राजस्थान में ‘इन्वेस्टमेंट वैभव गहलोत समिट’ आयोजित हुआ, CM ने अडानी और टोरेंट ग्रुप से बेटे को दिलाया रोजगार – विनय मिश्रा

राजस्थान में ‘इन्वेस्टमेंट वैभव गहलोत समिट’ आयोजित हुआ, CM ने अडानी और टोरेंट ग्रुप से बेटे को दिलाया रोजगार – विनय मिश्रा

जयपुर: आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) राजस्थान के प्रभारी विनय मिश्रा (Vinay Mishra) ने राजस्थान में हुए इन्वेस्टमेंट समिट को लेकर अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) पर सियासी हमला बोला है। जयपुर में मीडिया से बात करते हुए विनय मिश्रा ने कहा कि 7 और 8 अक्टूबर को हुआ यह आयोजन ‘राजस्थान इन्वेस्टमेंट समिट’ (Invest Rajasthan Summit) नहीं था बल्कि ‘इन्वेस्टमेंट वैभव गहलोत समिट’ था। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने देश के दो बड़े उद्योगपतियों से निवेश करवाकर अपने बेटे के लिए रोजगार उपलब्ध करवाया है। मिश्रा ने कहा कि दोनों बड़े उद्योगपतियों अडानी (Gautam Adani) और टोरेंट ग्रुप (Torent Group) ने क्रिकेट एकेडमी और स्टेडियम में निवेश करने का ऐलान किया। अशोक गहलोत ने राजस्थान के युवाओं को रोजगार देने के बजाय अपने बेटे को रोजगार दिलाया है।

जनता के टैक्स का पैसा गहलोत ने अपने बेटे को चमकाने में लगाया

आप प्रभारी मिश्रा ने कहा कि राजस्थान की सरकार को जनता पर भरोसा नहीं है और जनता को सरकार पर। ब्यूरोक्रेट्स को भी सरकार पर भरोसा नहीं है और सरकार को भी ब्यूरोक्रेट्स पर। विनय मिश्रा ने कहा कि इतना बड़ा इन्वेस्टमेंट समिट हुआ लेकिन एक प्राइवेट कंसल्टेंसी फर्म ‘बीसीजी’ को सरकार ने पॉलिसी बनाने के लिए दी। उसमें एक भी ब्यूरोक्रेट को लूप में नहीं रखा गया। मिश्रा ने पूछा कि क्या सरकार को अपने अफसरों पर से भरोसा उठ गया है। राजस्थान इन्वेस्टमेंट प्रमोशन स्कीम (RIPS) की पॉलिसी 2019 में बनी, जो 2026 तक लागू रहने वाली थी। उसमें ऐसी क्या खामी थी कि 3 साल में ही नई पॉलिसी तैयार कर लागू की गई। किसी भी पॉलिसी को बनाने और लागू करने में करोड़ों रुपए लगते हैं। ये राजस्थान की जनता के टैक्स का पैसा है। ये टैक्स का पैसा अशोक गहलोत ने अपने बेटे को चमकाने में लगा दिया।
राहुल गांधी के उसूलों के खिलाफ क्यों गए गहलोत? क्या है अडानी से हाथ मिलाने की मजबूरी? इन्वेस्ट राजस्थान समिट के बहाने समझें असल बात
श्वेत पत्र जारी कर इन्वेस्टमेंट समिट की सच्चाई बताए सरकारv

विनय मिश्रा ने कहा कि वे इन्वेस्टमेंट समिट का विरोध नहीं कर रहे बल्कि यह मांग कर रहे हैं कि सरकार व्हाइट पेपर जारी कर जनता को इन्वेस्टमेंट समिट की सच्चाई बताए। अब तक कांग्रेस और बीजेपी दोनों सरकारों के राज में 2003, 2010, 2014, 2019, 2022 के इन्वेस्टमेंट समिट में कितने MOU हुए ? कितना इन्वेस्टमेंट का वादा किया ? कितने MOU जमीन पर उतरे ? कितना इन्वेस्टमेंट सरकार ने करवाया ? कितने बेरोजगारों को नौकरी मिली ? कितने रोजगार क्रिएट हुए ? प्रदेश सरकार जनता के सामने इनके आंकड़े जारी करे। मिश्रा ने कहा कि रीको ने 25 नए इंडस्ट्रीयल एरिया बनाने की बात की। पुराने रीको एरिया में कितना डवलपमेंट किया, वो भी व्हाइट पेपर पर जारी करके जनता को बताएं।
रिपोर्ट – रामस्वरूप लामरोड़

Rajasthan Politics: ‘गौतम भाई’ पर बीजेपी ने घेरा तो गहलोत ने भी दे दिया करारा जवाब

राजस्थान की और समाचार देखने के लिए यहाँ क्लिक करे – Rajasthan News