आज है शरद पूर्णिमा जानिए क्या है इसका महत्व, किन को मिलेगा इसका फायदा

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नई दिल्ली: आश्विन माह के शुक्लपक्ष की पूर्णिमा को शरद पूर्णिमा कहा जाता है. आज से शरद ऋतु का प्रारंभ होता है. इस दिन काफी लोग व्रत भी रखते है. इसे काफी शुभ और फलदायक भी माना जाता है.

इस दिन उपवास रखने से घर में खुशहाली और समृद्धि आती है

ऐसा कहा जाता है कि इस दिन उपवास रखने से घर में खुशहाली और समृद्धि आती है. इस दिन का हिंदू धर्म में काफी महत्व भी है. मान्यता ये भी है कि इस दिन व्रत रखने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती है. आपको बता दें कि शरद पूर्णिमा को कोजागर पूर्णिमा या कोजागरी के नाम से भी जाना जाता है. कहा जाता है कि इस दिन चांद की चांदनी से अमृत बरसता है और ये किरणें हमारे लिए काफी फायदेमंद होती है.

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इस रात्रि में मां लक्ष्मी स्वर्ग लोक से पृथ्वी पर प्रकट होती है

शास्त्रों के अनुसार, इस रात्रि में मां लक्ष्मी स्वर्ग लोक से पृथ्वी पर प्रकट होती है. इस रात जो लोग माता लक्ष्मी की पूजा करते है तो मां उन पर अपनी कृपा बरसाती है और उनकी मनोकामना पूरी करती है. माना जाता है कि शरद पूर्णिमा के दिन मां देवी लक्ष्मी का जन्म हुआ था.

शरद पूर्णिमा तिथि

बता दें कि पूर्णिमा तिथि का आरंभ 23 अक्टूबर को रात 10:38 हो चुकी है, वहीं पूर्णिमा तिथि का समापन 24 अक्टूबर रात 10.14 पर होगा. इस दिन चंद्रमा सोलह कलाओं से परिपूर्ण होता है.

जानिए क्या है शरद पूर्णिमा का महत्व

कहा जाता है कि जिन विवाहिक स्त्री को संतान प्राप्ति नहीं हुई है या फिर नहीं हो रहीं है. तो उन्हें इस दिन उपवास रखना चाहिए इससे उनकी सभी मनोकामनाएं पूरी होंगी. और उन्हें संतान प्राप्ति भी होगी. वहीं जो माताएं इस उपवास को रखती है उनके बच्चे की उम्र लंबी होती है साथ ही साथ उनकी बाधाएं भी दूर होती है. वहीं जो अविवाहिक लड़की इस व्रत को रखती है तो उन्हें मनचाहा पति मिलता है.

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