fake remdesivir : मोखा की बढ़ी मुसीबत, एनएसए पर एडवाइजरी कमेटी की मुहर

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fake remdesivir : मोखा की बढ़ी मुसीबत, एनएसए पर एडवाइजरी कमेटी की मुहर

नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन मामला
एसआइटी सपन, सुनील समेत चार आरोपियों को लेकर देर रात पहुंची जबलपुर

जबलपुर। गुजरात से आए नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन खपाने के मुख्य आरोपी सिटी अस्पताल के संचालक सरबजीत सिंह मोखा और अस्पताल के फार्मासिस्ट देवेश चौरसिया पर लगाए गए एनएसए पर एडवाइजरी कमेटी ने मुहर लगा दी है। मोखा ने अपने बचाव में दलीलें दीं, वहीं पुलिस और प्रशासन ने एडवाइजरी कमेटी में अपना पक्ष मजबूती से रखा। इसके बाद दोनों के एनएसए को तीन माह के लिए कन्फर्म कर दिया गया।

10 को गिरफ्तार, 11 को एनएसए
मोखा और उसके साथियों ने अस्पताल में 209 नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन खपाए। इनके कारण नौ मरीजों की मौत की आशंका है। मामला प्रकाश में आने के बाद पुलिस ने मोखा, देवेश, सपन व सुनील मिश्रा के खिलाफ 10 मई को प्रकरण दर्ज किया। पुलिस टीम ने मोखा को 11 मई को उसके अस्पताल से गिरफ्तार किया। जिसके बाद उसके खिलाफ एनएसए की कार्रवाई कर वारंट तामील कराया गया और जेल भेज दिया गया। पुलिस ने देवेश के खिलाफ भी एनएसए की कार्रवाई की थी। दोनों के खिलाफ तीन-तीन माह का एनएसए किया गया था।

विक्टोरिया अस्पताल में कराया मेडिकल, आज कोर्ट में होंगे पेश
इधर, गुजरात के मोरबी से एसआइटी की टीम बुधवार देर रात जबलपुर पहुंची। पुलिस टीम वहां से भगवती फार्मा के संचालक सपन जैन, इंदौर में नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन की डिलेवरी देने वाले रीवा निवासी सुनील मिश्रा और सूरत में नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन बनाने वाले कौशल वोरा और पुनीत शाह को प्रोडक्शन वारंट पर शहर लाई है। चारों आरोपियों का विक्टोरिया अस्पताल में मेडिकल परीक्षण कराया गया। जिसके बाद चारों को थाने ले जाया गया। गुरुवार को पुलिस चारों आरोपियों को न्यायालय में पेश करेगी। जहां से उनकी पुलिस रिमांड ली जाएगी।

सपन खोल सकता है कई राज
सपन और सुनील मिश्रा को 13 मई को गुजरात के मोरबी थाना की पुलिस जबलपुर लेकर आई थी। यहां सपन को लेकर टीम तिलवारा स्थित ब्रिज गई थी। जहां से सपन ने 35 नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन फेंकने की बात कही थी। इस दौरान एसआइटी ने भी सपन और सुनील मिश्रा से पूछताछ की थी। अब फिर से सपन और सुनील मिश्रा से जबलपुर एसआइटी पूछताछ करेगी। ऐसा माना जा रहा है कि नकली रेमडेसिविर इंजेक्शन के मामले में मोखा और उसके अस्पताल से जुड़े कई और राजों का पर्दाफाश हो सकता है।

सिटी अस्पताल के संचालक सरबजीत सिंह मोखा और देवेश चौरसिया का तीन माह के लिए एनएसए किया गया था। जिसे एडवाइजरी कमेटी ने कन्फर्म कर दिया है।
– कर्मवीर शर्मा, कलेक्टर






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