Bihar panchyat chunav की पाठशाला: बिहार पंचायती राज मंत्रालय कैसे फंक्शन करता है? आसान भाषा में समझें

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Bihar panchyat chunav की पाठशाला: बिहार पंचायती राज मंत्रालय कैसे फंक्शन करता है? आसान भाषा में समझें

पटना
बिहार में पंचायत चुनाव (Bihar panchyat chunav 2021) की अधिसूचना जारी हो गई है। 11 चरणों में होने वाले पंचायत चुनाव (Bihar panchyat election) में भाग्य आजमाने की तैयारी में बैठे उम्मीदवार आगे की प्रक्रिया में जुट गए हैं। पंचायत चुनाव (Bihar panchyat poll) को गांव के लोग गांव की सरकार चुनते हैं। इस बार होने वाली वोटिंग (Bihar panchyat chunav voting) में कई युवा पहली बार वोट डालेंगे। ऐसे में कई लोगों के जेहन में सवाल रहता है कि आखिर बिहार में पंचायती राज मंत्रालय कैसे फंक्शन करता है। आज हम आपको ना केवल टेक्स्ट के जरिए बल्कि डायग्राम बनाकर भी बिहार ग्राम पंचायती राज (Bihar Gram panchyat) मंत्रालय के बारे में समझाएंगे।

ऐसे फंक्शन करता है पंचायती राज सिस्टम

बिहार पंचायत राज अधिनियम 2006 के अनुसार बिहार सरकार में पंचायती राज मंत्री होते हैं। मंत्री ही पंचायती राज विभाग के प्रमुख होते हैं। इस वक्त इस पद पर बीजेपी के नेता सम्राट चौधरी हैं। मंत्री की मदद के लिए प्रधान सचिव या सचिव नियुक्त किए जाते हैं। यूं कह सकते हैं कि प्रधान सचिव या सचिव ही पंचायती राज विभाग को सुचारू रूप से चलाते हैं। साथ ही वे ही नीतियां लागू करवाते हैं और विभाग को चलाने में मंत्री की मदद करते हैं।

प्रधान सचिव के नीचे दो अफसर होते हैं, एक निदेशक और दो संयुक्त सचिव। यहां थोड़ा ध्यान देने की जरूरत है। निदेशक और संयुक्त सचिव के अंदर ही विभाग अलग-अलग स्तर पर फंक्शन करता है।

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संयुक्त सचिव के नीचे कौन-कौन आते हैं?
सबसे पहले संयुक्त सचिव के अंदर विभाग के आने वाले अफसरों के बारे में जानते हैं। पंचायती राज विभाग में दो संयुक्त सचिव के नीचे एक उपसचिव होते हैं। उनके नीचे अवर सचिव और हायरार्की में प्रशाखा पदाधिकारी सबसे नीचे के अधिकारी होते हैं।

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निदेशक के नीचे का हायरार्की
अब निदेशक के नीचे आने वाले अफसरों के बारे में जानते हैं। निदेशक के नीचे मुख्यालय और क्षेत्रीय दफ्तर होता है। मुख्यालय के नीचे संयुक्त निदेशक (निर्वाचन) और संयुक्त निदेशक (अनुश्रवण) होते हैं। संयुक्त निदेशक के नीचे अनुश्रवण पदाधिकारी उनके नीचे सहायक निदेशक और सबसे नीचे प्रशाखा पदाधिकारी होते हैं।

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उधर, क्षेत्रीय दफ्तर के अंदर उप निदेशक पंचायत (प्रमण्डल स्तर) होता है। उसके नीचे उप निदेशक पंचायत (प्रमंडल स्तर) और उसके नीचे प्रचार्य (प्रशिक्षण) और जिला पंचायत राज पदाधिकारी होते हैं। प्राचार्य प्रशिक्षण के नीचे व्याख्याता होते हैं।

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