| मालीवाल मारपीट मामले में नए खुलासे! CM हाउस के CCTV से छेड़छाड़, मारपीट के समय की क्लिप गायब, विभव का फोन भी फॉर्मेट – Hindi News | Live News in Hindi | ताजा हिंदी खबरें

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बिभव कुमार और स्वाति मालीवाल (फोटो: पीटीआई)

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नई दिल्ली: लोक सभा चुनाव के बीच अब आम आदमी पार्टी (आप) की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के मामले में नित नए खुलासे हो रहे हैं। खबर है कि, मालीवाल के साथ कथित तौर पर मारपीट करने के आरोपी विभव कुमार ने अपना फोन फॉर्मेट किया था। इस बाबत पुलिस ने अब इस फोन को एक्सपर्ट के पास भेजा है, ताकि इसमें मौजूद डाटा के बारे में भी पता चलाया जा सके। इसके साथ ही पुलिस ने ये भी जानकारी दी कि, CM आवास में लगे सीसीटीवी से छेड़छाड़ की गई है, क्योंकि घटना के समय का सीसीटीवी ब्लैंक शो हो रहा है।

विभव ने अपना फोन किया फॉर्मेट
दरअसल दिल्ली पुलिस के मुताबिक, CM केजरीवाल के सहयोगी विभव कुमार ने मुंबई में अपना फोन फॉर्मेट किया था। पुलिस के मानें तो विभव फोन का पासवर्ड भी नहीं बता रहे हैं। इसलिए डाटा रिकवर करने के लिए एक्सपर्ट के पास फोन भेजा गया है। पुलिस ने अदालत को बताया कि मोबाइल से डिलीट डेटा को हासिल करने के लिए मुंबई जाने की जरूरत होगी। पुलिस के अनुसार CM हाउस से उन्हें अभी तक सीसीटीवी का डीवीआर नहीं दिया गया है। पता हो कि, डीवीआर को डिजिटल वीडियो रिकॉर्डिंग के तौर पर जाना जाता है, जिसमें कैमरे की रिकॉर्डिंग स्टोर होती है।

पुलिस के अनुसार मुख्यमंत्री केजरीवाल के आवास के एक जूनियर इंजीनियर ने स्वीकार किया था कि उसकी उस स्थान तक पहुंच नहीं है जहां डीवीआर और सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं लेकिन बाद में उसने भोजन कक्ष का वीडियो उपलब्ध कराया लेकिन कथित घटना के समय के इसमें कोई फुटेज नहीं हैं।पुलिस को आशंका सीसीटीवी से छेड़छाड़ की गई है और सीएम हाउस में सबूतों को नष्ट करने की कोशिश की गई है।

वहीँ कोर्ट में दायर पुलिस की अर्जी में कहा गया है कि कुमार मुख्यमंत्री के आवास पर शनिवार को मौजूद थे और पूछताछ किए जाने पर उन्होंने टालमटोल करने वाले जवाब दिए। इसमें कहा गया है, ‘‘अपराध स्थल पर उनकी मौजूदगी इलेक्ट्रॉनिक उपकरण समेत अहम सबूतों से छेड़छाड़ किए जाने की प्रबल संभावना पैदा करती है। आरोपी एक प्रभावशाली व्यक्ति हैं और वह एक आधिकारिक पद पर नौ साल से अधिक समय से काम कर रहे हैं, ऐसे में वह मुख्यमंत्री आवास में गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं और उन पर दबाव डाल सकते हैं।”

निजी सचिव के पद से हटाए जाने बाद विभव कर रहे काम

अर्जी में पुलिस हिरासत के कारणों को विस्तार से बताया गया है। इसमें कहा गया कि अप्रैल 2024 में मुख्यमंत्री के निजी सचिव के पद से हटाए जाने के बावजूद कुमार अब भी मुख्यमंत्री कार्यालय में कार्यरत हैं और उनसे इस बारे में पूछताछ किए जाने की आवश्यकता है कि वह किस क्षमता और अधिकार के तहत कार्यरत है।

गौरतलब है कि, स्वाति मालीवाल ने पुलिस में दर्ज करवाई एफआईआर में कहा है कि विभव कुमार ने बीते 13 मई को उनके साथ CM हाउस में मारपीट की थी। मालीवाल ने कहा कि पिटाई की वजह से उन्हें चोटें आई हैं। उन्होंने सिविल लाइंस थाने में केस दर्ज करवाया है। हालांकि, आम आदमी पार्टी का कहना है कि स्वाति मालीवाल के आरोप निराधार हैं। विभव कुमार ने स्वाति के साथ कोई भी कोई मारपीट नहीं की है।

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