इंटरनेट बंद, 40 जिलों में लगाई धारा 144, जब सीएए के ​विरोध पर घबराई सरकार | Section 144 was imposed in MP to ban demonstrations on CAA | News 4 Social

7
इंटरनेट बंद, 40 जिलों में लगाई धारा 144, जब सीएए के ​विरोध पर घबराई सरकार | Section 144 was imposed in MP to ban demonstrations on CAA | News 4 Social

इंटरनेट बंद, 40 जिलों में लगाई धारा 144, जब सीएए के ​विरोध पर घबराई सरकार | Section 144 was imposed in MP to ban demonstrations on CAA | News 4 Social

राजधानी भोपाल में ही हजारों सिंधी नागरिक अब कानूनन भारतीय नागरिक बन गए हैं। 12 दिसंबर 2019 को केंद्र की बीजेपी सरकार द्वारा भेजे गए इस कानून को प्रेसिडेंट ने मंजूरी दे दी थी। इसके बाद प्रदेश और राजधानी भोपाल में राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) और सीएए के विरोध में
व्यापक आंदोलन और प्रदर्शन हुए। हालात ऐसे बने कि इंटरनेट बंद कर 40 जिलों में धारा 144 लगा दी गई थी।

पांच साल पहले सीएए के विरोध में जबर्दस्त प्रदर्शनों को देखते हुए प्रदेश की राजधानी भोपाल समेत अधिकांश जिलों में ऐहतियातन धारा 144 लगा दी गई थी। इस दौरान विरोध-प्रदर्शन और धरना देने पर प्रतिबंध था। यह निषेधाज्ञा 18 दिसंबर 2019 से 18 फरवरी 2020 तक लागू किए जाने का आदेश जारी किया गया।

पुराने भोपाल में बड़ी संख्या में जमा होकर लोगों ने विरोध जताया था। किसी प्रकार की अप्रिय स्थिति न बने उसे देख भारी पुलिस बल तो तैनात किया ही गया, ऐहतियातन इंटरनेट सेवाएं भी कुछ दिनों के लिए बंद कर दी गई थीं।

मध्यप्रदेश पुलिस ने राज्य में कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए धारा 144 लागू की। पुलिस को प्रदेश में कई जगहों पर हिंसक प्रदर्शन की आशंका के इनपुट मिले थे। खुफिया एजेंसी की इस सूचना के बाद मध्यप्रदेश सरकार सतर्क हो गई थी। इसके मद्देनजर प्रदेश के 40 जिलों में निषेधाज्ञा लागू कर दी गई। दो दिनों तक इंटरनेट सेवाएं बंद की गईं और दो माह तक धारा 144 लागू की गई।

पुराने भोपाल में भी एकत्र हुए लोग
राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) और नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में जमीअत उलमा-ए-हिंद के तत्वावधान में कई लोग एकत्रित हो गए थे। जुमे की नमाज के बाद दोपहर में तरजुमे वाली मस्जिद में सभा आयोजित की गई। संस्था के पदाधिकारियों ने कहा कि इस दौरान दिल्ली स्थित जामिया मिलिया के विद्यार्थियों पर लाठी चार्ज की निंदा भी की जाएगी। हालांकि यहां एकत्रित लोगों ने थोड़ी देर तक नारेबाजी की और इसके बाद सभी लोग शांतिपूर्वक अपने-अपने घर रवाना हो गए। कहीं कोई अप्रिय घटना नहीं घटी।

सोशल मीडिया पर नजर
मध्यप्रदेश पुलिस की एक विशेष टीम ने सोशल मीडिया पर भी नजर रखना शुरु कर दिया। लोगों को स्पष्ट चेतावनी दी गई कि धारा 144 के चलते सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट या भड़काऊ पोस्ट डालने वाले व्यक्ति पर तुरंत कार्रवाई की जाएगी। इस बात को लेकर सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों को भी सतर्क रहने के लिए कहा गया।

अफसरों की छुट्टियां रद्द
पुलिस प्रशासन ने मैदानी इलाकों में काम करने वाले पुलिसकर्मी, अधिकारी और कर्मचारियों की छुट्टी रद्द कर थीं। उन्हें तत्काल काम पर बुला लिया गया था। इतना ही नहीं, पुलिस प्रशासन ने सार्वजनिक स्थानों पर संदिग्ध व्यक्तियों और उनकी गतिविधियों पर गहराई से नजर रखना शुरु किया।

भोपाल में दो माह लगी रही थी धारा 144
तब भोपाल में दो माह तक धारा 144 लगी रही थी। नागरिकता कानून संशोधन कानून (CAA) के लिए तत्कालीन कलेक्टर तरुण पिथोड़े ने जिले में धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी। यह आदेश ऐहतियातन जारी किया गया था। हालांकि इस दौरान पारिवारिक सदस्यों, विवाह समारोह, बारात और शव यात्रा, शासकीय कार्यालयों, चिकित्सालय, शिक्षण संस्थाओं, होटल, दुकान, उद्योग और सार्वजनिक सेवाओं पर ये आदेश प्रभावी नहीं किया गया था।

मध्यप्रदेश की और खबर पढ़ने के लिए यहाँ क्लिक करे – Madhya Pradesh News