Putin Modi Talks: मोदी-बेनेट की अपील पर पिघला ‘दोस्त’ पुतिन का दिल, पर यूक्रेन के सामने रखी ये कड़ी शर्तें h3>
मास्को/नई दिल्ली
भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, इजरायल के पीएम नेफ्ताली बेनेट और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रां से बातचीत के बाद अब रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के रुख में थोड़ा सा बदलाव आता दिख रहा है। पुतिन ने यूक्रेन में शांति का प्रस्ताव तो दिया है लेकिन जेलेंस्की सरकार के सामने कड़ी शर्तें भी रख दी हैं। यूक्रेन की सरकार के इन शर्तों को मानने पर ही पुतिन शांति के लिए तैयार होंगे। इससे पहले पीएम मोदी ने सोमवार को पुतिन और यूक्रेनी राष्ट्रपति से बात की थी और रूसी राष्ट्रपति से अनुरोध किया था कि वह जेलेंस्की से सीधे बातचीत करें।
रूसी राष्ट्रपति कार्यालय के प्रवक्ता ने पुतिन की शर्तों पर सोमवार को कहा कि यूक्रेन को अपनी सेना को खत्म करना होगा, संविधान में बदलाव करना होगा ताकि वह हमेशा के लिए एक तटस्थ देश बन जाए। क्रीमिया को रूस का हिस्सा मानना होगा और लुहांस्क तथा डोनेटस्क को एक अलग देश के रूप में स्वीकार करना होगा। प्रवक्ता दमित्री पेसकोव ने कहा कि रूस ने यूक्रेन को बता दिया है कि अगर कीव की सरकार उनकी शर्तों को मान ले तो वे तत्काल सैन्य अभियान को रोकने के लिए तैयार हैं।
पीएम मोदी ने जेलेंस्की के साथ सीधी बातचीत करने का आग्रह किया
रूस के इन कड़ी शर्तों के बाद माना जा रहा है कि यूक्रेन उन्हें खारिज कर देगा। वह भी तब जब यूक्रेन की सेना रूसी सेना को करारा जवाब दे रही है। यूक्रेन की सेना का दावा है कि उसने उत्तरी पश्चिमी शहर चुहूइव पर फिर से कब्जा कर लिया है। इस दौरान रूसी सेना को भारी नुकसान उठाना पड़ा है। यूक्रेन ने रूस के दो शीर्ष कमांडरों को भी मार गिराने का दावा किया है। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ फोन पर करीब 50 मिनट की बातचीत के दौरान यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लोदिमिर जेलेंस्की के साथ सीधी बातचीत करने का आग्रह किया।
बातचीत के दौरान राष्ट्रपति पुतिन ने प्रधानमंत्री मोदी को यूक्रेनी और रूसी टीमों के बीच वार्ता की स्थिति के बारे में जानकारी दी। मोदी ने यूक्रेन के चार शहरों कीव, खारकीव, सुमी और मारियुपोल में दिन में संघर्ष विराम करने और मानवीय गलियारों को खोलने की रूसी सेना की घोषणा की भी सराहना की। प्रधानमंत्री ने सूमी से भारतीय नागरिकों को जल्द से जल्द सुरक्षित निकालने के महत्व पर जोर दिया, जिस पर पुतिन ने हर संभव सहयोग का आश्वासन दिया। प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, सोमवार को भी, प्रधानमंत्री ने जेलेंस्की से बात की और चल रहे संघर्ष और परिणामी मानवीय संकट के बारे में गहरी चिंता व्यक्त की।
रूस ने बेलारूस से यूक्रेनी शहरों पर मिसाइल हमले शुरू किए
बयान के अनुसार, ‘प्रधानमंत्री मोदी ने हिंसा को तत्काल समाप्त करने के अपने आह्वान को दोहराया और कहा कि भारत हमेशा मुद्दों के शांतिपूर्ण समाधान और दोनों पक्षों के बीच सीधी बातचीत के लिए खड़ा रहा है।’ इस बीच यूक्रेन के सशस्त्र बलों के जनरल स्टाफ ने दावा किया है कि रूस ने बेलारूस के शहरों पर मिसाइल हमले जारी रखे हैं। यूएनआईएएन ने एक बयान में जनरल स्टाफ के हवाले से कहा, ‘दुश्मन ने यूक्रेन के खिलाफ अपना आक्रामक अभियान जारी रखा है। दिन की शुरूआत के बाद से, रूसी ने यूक्रेन में बस्तियों पर मिसाइल और तोपखाने हमले शुरू करना जारी रखा है। आक्रमणकारियों ने बेलारूस गणराज्य के हवाई क्षेत्र के नेटवर्क का उपयोग करना जारी है।’
यूक्रेन के डोनबास में भारी लड़ाई की सूचना: रक्षा मंत्रालय
यूक्रेन की सेना मास्को समर्थित पूर्वी क्षेत्र डोनबास में रूसी सैनिकों के साथ भारी लड़ाई में लगी हुई है। देश के रक्षा मंत्रालय ने सोमवार को इसकी सूचना दी है। यूक्रेइंस्का प्रावदा ने बताया, एक फेसबुक पोस्ट में, उप रक्षा मंत्री हन्ना मलयार ने कहा कि डोनबास के दो विद्रोही शहर जहां रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 24 फरवरी को एक सैन्य अभियान की घोषणा की थी, वहां यूक्रेन के संयुक्त बल अभियान ने डोनेट्स्क और लुहान्स्क में सैन्य इकाइयों का प्रबंधन जारी रखा है। मलयार ने कहा, ‘लुहांस्क के पास, यूक्रेनी रक्षक रूसी कब्जे वाले बलों के साथ भारी लड़ाई में लगी हुई हैं।’

रूस के सैनिक कीव पर कब्जा करने की कोशिश करेंगे
रूस ने राजधानी कीव के पास के गांवों और कस्बों में बड़ी संख्या में सैनिकों को इक्ठ्ठा कर दिया है और अगले कुछ दिनों में मास्को की सेना राजधानी शहर पर कब्जा कर लेगी। ये दावा यूक्रेन के एक शीर्ष अधिकारी ने किया है। यूक्रेन के गृह मंत्री के सलाहकार वादिम डेनिसेंको ने रविवार रात सरकारी यूक्रेनी टीवी से बात करते हुए कहा कि अगले कुछ दिनों में एक महत्वपूर्ण लड़ाई होने की उम्मीद है। सलाहकार ने कहा, ‘रूसी (सैन्य) उपकरण और रूसी सैनिकों की एक बड़ी संख्या कीव में इकट्ठा हो रही है। हम समझते हैं कि कीव के लिए लड़ाई एक महत्वपूर्ण लड़ाई है जो आने वाले दिनों में लड़ी जाएगी।’
पीएम मोदी से बातचीत के बाद पुतिन के रुख में आई नरमी
भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, इजरायल के पीएम नेफ्ताली बेनेट और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रां से बातचीत के बाद अब रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के रुख में थोड़ा सा बदलाव आता दिख रहा है। पुतिन ने यूक्रेन में शांति का प्रस्ताव तो दिया है लेकिन जेलेंस्की सरकार के सामने कड़ी शर्तें भी रख दी हैं। यूक्रेन की सरकार के इन शर्तों को मानने पर ही पुतिन शांति के लिए तैयार होंगे। इससे पहले पीएम मोदी ने सोमवार को पुतिन और यूक्रेनी राष्ट्रपति से बात की थी और रूसी राष्ट्रपति से अनुरोध किया था कि वह जेलेंस्की से सीधे बातचीत करें।
रूसी राष्ट्रपति कार्यालय के प्रवक्ता ने पुतिन की शर्तों पर सोमवार को कहा कि यूक्रेन को अपनी सेना को खत्म करना होगा, संविधान में बदलाव करना होगा ताकि वह हमेशा के लिए एक तटस्थ देश बन जाए। क्रीमिया को रूस का हिस्सा मानना होगा और लुहांस्क तथा डोनेटस्क को एक अलग देश के रूप में स्वीकार करना होगा। प्रवक्ता दमित्री पेसकोव ने कहा कि रूस ने यूक्रेन को बता दिया है कि अगर कीव की सरकार उनकी शर्तों को मान ले तो वे तत्काल सैन्य अभियान को रोकने के लिए तैयार हैं।
पीएम मोदी ने जेलेंस्की के साथ सीधी बातचीत करने का आग्रह किया
रूस के इन कड़ी शर्तों के बाद माना जा रहा है कि यूक्रेन उन्हें खारिज कर देगा। वह भी तब जब यूक्रेन की सेना रूसी सेना को करारा जवाब दे रही है। यूक्रेन की सेना का दावा है कि उसने उत्तरी पश्चिमी शहर चुहूइव पर फिर से कब्जा कर लिया है। इस दौरान रूसी सेना को भारी नुकसान उठाना पड़ा है। यूक्रेन ने रूस के दो शीर्ष कमांडरों को भी मार गिराने का दावा किया है। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ फोन पर करीब 50 मिनट की बातचीत के दौरान यूक्रेन के राष्ट्रपति व्लोदिमिर जेलेंस्की के साथ सीधी बातचीत करने का आग्रह किया।
बातचीत के दौरान राष्ट्रपति पुतिन ने प्रधानमंत्री मोदी को यूक्रेनी और रूसी टीमों के बीच वार्ता की स्थिति के बारे में जानकारी दी। मोदी ने यूक्रेन के चार शहरों कीव, खारकीव, सुमी और मारियुपोल में दिन में संघर्ष विराम करने और मानवीय गलियारों को खोलने की रूसी सेना की घोषणा की भी सराहना की। प्रधानमंत्री ने सूमी से भारतीय नागरिकों को जल्द से जल्द सुरक्षित निकालने के महत्व पर जोर दिया, जिस पर पुतिन ने हर संभव सहयोग का आश्वासन दिया। प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, सोमवार को भी, प्रधानमंत्री ने जेलेंस्की से बात की और चल रहे संघर्ष और परिणामी मानवीय संकट के बारे में गहरी चिंता व्यक्त की।
रूस ने बेलारूस से यूक्रेनी शहरों पर मिसाइल हमले शुरू किए
बयान के अनुसार, ‘प्रधानमंत्री मोदी ने हिंसा को तत्काल समाप्त करने के अपने आह्वान को दोहराया और कहा कि भारत हमेशा मुद्दों के शांतिपूर्ण समाधान और दोनों पक्षों के बीच सीधी बातचीत के लिए खड़ा रहा है।’ इस बीच यूक्रेन के सशस्त्र बलों के जनरल स्टाफ ने दावा किया है कि रूस ने बेलारूस के शहरों पर मिसाइल हमले जारी रखे हैं। यूएनआईएएन ने एक बयान में जनरल स्टाफ के हवाले से कहा, ‘दुश्मन ने यूक्रेन के खिलाफ अपना आक्रामक अभियान जारी रखा है। दिन की शुरूआत के बाद से, रूसी ने यूक्रेन में बस्तियों पर मिसाइल और तोपखाने हमले शुरू करना जारी रखा है। आक्रमणकारियों ने बेलारूस गणराज्य के हवाई क्षेत्र के नेटवर्क का उपयोग करना जारी है।’
यूक्रेन के डोनबास में भारी लड़ाई की सूचना: रक्षा मंत्रालय
यूक्रेन की सेना मास्को समर्थित पूर्वी क्षेत्र डोनबास में रूसी सैनिकों के साथ भारी लड़ाई में लगी हुई है। देश के रक्षा मंत्रालय ने सोमवार को इसकी सूचना दी है। यूक्रेइंस्का प्रावदा ने बताया, एक फेसबुक पोस्ट में, उप रक्षा मंत्री हन्ना मलयार ने कहा कि डोनबास के दो विद्रोही शहर जहां रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 24 फरवरी को एक सैन्य अभियान की घोषणा की थी, वहां यूक्रेन के संयुक्त बल अभियान ने डोनेट्स्क और लुहान्स्क में सैन्य इकाइयों का प्रबंधन जारी रखा है। मलयार ने कहा, ‘लुहांस्क के पास, यूक्रेनी रक्षक रूसी कब्जे वाले बलों के साथ भारी लड़ाई में लगी हुई हैं।’
रूस के सैनिक कीव पर कब्जा करने की कोशिश करेंगे
रूस ने राजधानी कीव के पास के गांवों और कस्बों में बड़ी संख्या में सैनिकों को इक्ठ्ठा कर दिया है और अगले कुछ दिनों में मास्को की सेना राजधानी शहर पर कब्जा कर लेगी। ये दावा यूक्रेन के एक शीर्ष अधिकारी ने किया है। यूक्रेन के गृह मंत्री के सलाहकार वादिम डेनिसेंको ने रविवार रात सरकारी यूक्रेनी टीवी से बात करते हुए कहा कि अगले कुछ दिनों में एक महत्वपूर्ण लड़ाई होने की उम्मीद है। सलाहकार ने कहा, ‘रूसी (सैन्य) उपकरण और रूसी सैनिकों की एक बड़ी संख्या कीव में इकट्ठा हो रही है। हम समझते हैं कि कीव के लिए लड़ाई एक महत्वपूर्ण लड़ाई है जो आने वाले दिनों में लड़ी जाएगी।’
पीएम मोदी से बातचीत के बाद पुतिन के रुख में आई नरमी