अब राजस्थान में पुलिस चलाएगी रडार गन, रहिए सावधान नहीं तो हो सकता है ऐसा | Traffic Police New Plan: Speed Interceptor Vehicle Will Take Pictures And Made E-Challan | News 4 Social

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अब राजस्थान में पुलिस चलाएगी रडार गन, रहिए सावधान नहीं तो हो सकता है ऐसा | Traffic Police New Plan: Speed Interceptor Vehicle Will Take Pictures And Made E-Challan | News 4 Social

अब राजस्थान में पुलिस चलाएगी रडार गन, रहिए सावधान नहीं तो हो सकता है ऐसा | Traffic Police New Plan: Speed Interceptor Vehicle Will Take Pictures And Made E-Challan | News 4 Social

Interceptor Vehicle : शहर में तेज गति से वाहन चलाने वाले सावधान! यातायात पुलिस अब वाहन की गति के साथ अंदर की जाने वाली मस्ती पर भी नजर रख रही है। आंखों को चौंधिया देने वाली लाइट भी धोखा नहीं दे सकती।

देवेन्द्र शर्मा शास्त्री/जयपुर. Rajasthan Traffic Police: शहर में तेज गति से वाहन चलाने वाले सावधान! यातायात पुलिस अब वाहन की गति के साथ अंदर की जाने वाली मस्ती पर भी नजर रख रही है। आंखों को चौंधिया देने वाली लाइट भी धोखा नहीं दे सकती। एक किलोमीटर पहले से पुलिस वाहन की गति के साथ अंदर चल रही गतिविधि रेकॉर्ड कर लेगी। इसके लिए यातायात पुलिस के पास डिजिटल मीटर वाली इंटरसेप्टर गाडि़यां और स्पीड रडार गन आ गई है। शहर में चार इंटरसेप्टर वाहनों को अब रात को भी तैनात किया जाने लगा है। करीब एक दर्जन स्पीड रडार गन भी उपलब्ध करवाई गई हैं।

रडार गन के साथ एचडी कैमरा
नए इंटरसेप्टर वाहन में स्पीड रडार गन के साथ उच्च गुणवत्ता वाले हाई डेफिनेशन कैमरा, ध्वनि प्रदूषण मापक यंत्र, काली फिल्म रीडर मीटर, जीपीएस और ब्रेथ एनेलाइजर भी लगा है। इससे वाहन की गति नापने के साथ वाहन के भीतर का भी फोटो लिया जा सकता है। ओवर स्पीड वाहनों के चालान के साथ इंटरसेप्टर से बिना सीट बेल्ट, हेलमेट व काली फिल्म का ई-चालान करने के साथ भीतर की गतिविधियों को भी रेकार्ड किया जा सकता है। स्पीड रडार गन से दिन में 250 और रात के समय में 100 मीटर की दूरी से वाहन की नंबर प्लेट की पहचान की जा सकती है।

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खरीदी थी 25 हाईटेक इंटरसेप्टर
प्रदेश में पिछले माह 25 हाईटेक इंटरसेप्टर खरीदी गई थीं। इनमें से चार जयपुर आयुक्तालय क्षेत्र में तैनात की गई हैं। दो-दो अजमेर, जयपुर ग्रामीण, सीकर, एक-एक भीलवाड़ा नागौर, बाड़मेर, भरतपुर, बीकानेर, पाली, अलवर, झुंझुनूं, जोधपुर ग्रामीण, झालावाड़ सिरोही और कोटा शहर को दी गई है। इनसे ई-चालान किए जा रहे हैं।

 

पहले रात को नहीं हो पाते थे चालान
यातायात पुलिस के पास पहले से 67 इंटरसेप्टर गाडि़यां हैं। लेकिन ये गाडि़यां रात को वाहनों की नंबर प्लेट पढ़ने में सक्षम नहीं हैं। ऐसे में इन वाहनों की रात के समय तैनाती नहीं की जाती थी।

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