साधना के समय अगर आपको भी नींद आती है तो इसके कई कारण हो सकते हैं. लेकिन इसके उपाय से पहले हम ये जान लेते हैं कि साधना क्या होती है? साधना का शाब्दिक अर्थ होता है कि किसी लक्ष्य की प्राप्ति के लिए किया जाने वाला कार्य. लेकिन अगर मोटे तौर पर देखें तो यह अध्यात्मिक क्रिया है. यह एक धार्मिक और अध्यात्मिक अनुशासन है जैसे – पूजा , योग , ध्यान , जप इत्यादि. लगभग प्रत्येक धर्म में लक्ष्यों को पाने के लिए अपने अपने धर्म के आधार पर अनेंक तरह की साधनाएं की जाती है. ऋषि पतंजली ने अपने योगसूत्र में योग-साधना में 14 तरह के विघ्न बताएं हैं.
सद्गुरू के अनुसार सबसे पहले हमें ये देखना होगा कि निंद का कारण क्य है? जब हम बीमार होते हैं या हमारे स्वास्थ्य में कोई कमी आती है, तो शरीर को थकान महसूस होती है तथा हमें नींद ज्यादा आती है दूसरा भोजन की वजह से भी नींद आ सकती है. जब भोजन को ज्यादा पका लेते हैं, तो उसकी प्राण शक्ति नष्ट हो जाती है. इसके कारण शरीर में आलस्य उत्पन्न हो जाता है. अगर कच्ची और ताजी चींजें खाएं तो दूसरे फायदों के अलावा एक लाभ तुरंत होगा कि आपकी नींद काफी कम हो जाएगी.
अगर आप सुबह जल्दी उठकर योग साधना करते हैं. तो साधना में ध्यान लगेगा तथा नींद की समस्या से भी छुटकारा मिलेगा क्योंकि यह समय ब्रह्म महूर्त का होता है जब प्रकृति भी साधना में आपका सहयोग करेगी. इसके अलावा अगर स्नान करने के बाद आप साधना करते हैं, तो भी साधना के समय नींद आने से रोकने में फायदा मिलेगा.
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जब किसी भी काम में हमारा मन नहीं लगता या हम कभी किसी काम से लाभ ना मिलने पर हतास हो जाते हैं तो भी नींद की समस्या आती है. जब भी साधना शुरू करें. सबसे पहले अपने मन में दृढ़ निश्चय करें कि मेरा पूरा फोकस साधना या योग पर ही केंद्रीत करना है.
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