बारिश, बाढ़ और खतरे का निशानः गंगा, गंडक, कोसी, महानंदा… बिहार में नदियों का उफान डरा रहा
हाइलाइट्स:
- बिहार में बारिश और बाढ़ का अपडेट जानिए
- बारिश, बाढ़ और खतरे का निशान
- गंगा, गंडक, कोसी, महानंदा… बिहार में नदियों का उफान डरा रहा
- अगले कुछ दिनों तक गंगा में जलस्तर बढ़ने के आसार
पटना:
बिहार में लगातार एक हफ्ते से बारिश जारी है। उत्तरी बिहार और सीमांचल क्षेत्र में गंडक, बूढ़ी गंडक, कमला बालन, कोसी, महानंदा, परमान नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं, पटना में गंगा नदी का जलस्तर भी पिछले 24 घंटे में खतरे के निशान से 2.67 मीटर ऊपर पहुंच गया है। पिछले 24 घंटों में पटना जिले में कम से कम 45 मिमी बारिश दर्ज की गई, जबकि बिहार के 11 जिलों में औसत 25 मिमी बारिश दर्ज की गई।
बक्सर से भागलपुर तक गंगा का जलस्तर बढ़ा
बक्सर से भागलपुर जिले के कहलगांव तक गंगा नदी का जलस्तर बढ़ गया है। पटना के अलावा मुंगेर में जलस्तर खतरे के निशान से 1.16 मीटर और भागलपुर में 1.10 मीटर बढ़ गया। पटना के दीघा घाट में जलस्तर खतरे के निशान से महज 86 सेंटीमीटर नीचे दर्ज किया गया। गंगा नदी के अलावा गोपालगंज, मुजफ्फरपुर और वैशाली जिलों में गंडक नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।
सड़कों पर रहने को मजबूर बाढ़ पीड़ित
वीरपुर और सहरसा में कोसी नदी का जलस्तर खतरे के निशान से क्रमश: 43 और 9 सेंटीमीटर ऊपर दर्ज किया गया। सीमांचल क्षेत्र के पूर्णिया और कटिहार जिलों में महानंदा नदी खतरे के निशान से ऊपर है। अररिया जिले के जय नगर और परमन नदी में भी कमला बालन खतरे के निशान से ऊपर है। उत्तरी बिहार और सीमांचल क्षेत्र के अधिकांश हिस्सों में बाढ़ जैसे हालात के कारण ग्रामीण सड़कों पर रहने को मजबूर हैं।
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SDRF के एक अधिकारी के अनुसार, निचले इलाकों में रहने वाले कई ग्रामीणों ने अपना घर छोड़ दिया है और सड़क पर विभिन्न स्थानों पर शरण ली है। पश्चिम चंपारण जिले के 13 प्रखंडों की करीब 1.5 लाख आबादी बाढ़ से प्रभावित है। गोपालगंज के छह और तीन प्रखंडों के रिहायशी इलाकों में पानी घुस गया। एसडीआरएफ के एक अधिकारी ने कहा ‘ राज्य सरकार बाढ़ की घोषणा तभी करती है, जब 72 घंटे तक पानी एक स्थान पर रहता है। जल संसाधन विभाग की टीमें प्रभावित इलाकों की स्थिति पर नजर रख रही हैं और उसके अनुसार कार्रवाई करेंगी।’
इन जिलों में ज्यादा बारिश
समस्तीपुर के रोसड़ा में 107 मिमी और समस्तीपुर में 88 मिमी बारिश हुई है। वहीं हाजीपुर में 73 तो पटना के मनेर में 51 मिमी बरसात हुई है। पुनपुन का जलस्तर सोमवार को 32 सेंटीमीटर चढ़ा है। श्रीपालपुर में यह नदी खतरे के निशान से सिर्फ एक मीटर नीचे बह रही है। वहीं गंगा पटना के दीघा घाट में रविवार को 2.67 मीटर चढ़ी थी। सोमवार को ये 1.80 मीटर नीचे उतर गई। यहां अब यह नदी लाल निशान से 2.71 मीटर नीचे चली गई है।
पटना में जलस्तर में मामूली बढ़ोतरी
गांधी घाट में जलस्तर में मामूली बढ़ोतरी हुई है और वहां गंगा खतरे के लाल निशान से लगभग डेढ़ मीटर नीचे है। वही हथीदह में गंगा 51 सेमी बढ़कर लाल निशान से 1.66 मीटर नीचे है तो मुंगेर में डेढ़ मीटर चढ़कर यह नदी लाल निशान से पौने तीन मीटर नीचे है। भागलपुर में भी गंगा लगभग एक मीटर बढ़ी है लेकिन वहां अभी भी 2.75 मीटर नीचे है।
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सात जिलों में हल्की से मध्यम बारिश के आसार
सोमवार को सात जिलों- पटना, नालंदा, अरवल, जहानाबाद, वैशाली, भोजपुर और सारण में घने बादल छाए रहे। मौसम विभाग ने इन सात जिलों में हल्की से मध्यम वर्षा की भविष्यवाणी की है।
क्या कहना है जल संसाधन विभाग का
जल संसाधन विभाग के सूत्रों के मुताबिक ‘इन जिलों से पानी गंगा में बहेगा, जो स्वाभाविक रूप से मात्रा में वृद्धि को बनाए रखेगा। यहां तक कि पिछले 24 घंटों में सोमवार सुबह तक, गंगा बेसिन के दो जिलों में ज्यादा वर्षा हुई। खगड़िया में 77 मिमी तो समस्तीपुर में 65 मिमी बारिश हुई। अगले 24 घंटों में, कहलगांव तक गंगा का जलस्तर थोड़ा और ऊपर जाने की उम्मीद है।’
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