Monsoon Arrival News : कोरोना काल में आई अच्छी खबर, इस साल समय से पहले भिगोने आ रहा मॉनसून h3>
नई दिल्ली
कोरोना काल में मॉनसून को लेकर अच्छी खबर है। केरल में दक्षिण पश्चिम मॉनसून समय से पहले दस्तक दे सकता है। इसके यहां 31 मई को पहुंचने के आसार हैं। आमतौर पर राज्य में मॉनसून एक जून को आता है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। विभाग की ओर से बताया गया, ‘इस वर्ष दक्षिण पश्चिम मॉनसून केरल में 31 मई को पहुंच सकता है।’
भारतीय मानसून क्षेत्र में मानसून की शुरुआती बारिश दक्षिण अंडमान सागर से होती है। उसके बाद मानसूनी हवाएं उत्तर पश्चिम दिशा में बंगाल की खाड़ी की ओर बढ़ती हैं। मानसून की नई सामान्य तारीखों के मुताबिक, दक्षिण पश्चिम मानसून 22 मई के आसपास अंडमान सागर में पहुंचेगा। विभाग ने इस वर्ष मानसून सामान्य रहने का अनुमान जताया है।
छत्तीसगढ़ में 10 जून को पहुंचेगा मॉनसून
छत्तीसगढ़ के जगदलपुर में दक्षिण पश्चिम मॉनसून 10 जून को पहुंचेगा। रायपुर में इसके 15 जून को पहुंचने के आसार हैं। अंबिकापुर में यह 21 जून को पहुंचेगा। रायपुर के मौसम केंद्र में वैज्ञानिक एचपी चंद्रा ने यह जानकारी दी।
‘ताैकते’ काे लेकर टेंशन
इस बीच अरब सागर में बन रहे चक्रवात ‘तौकते’ का खतरा तैयार हाे रहा है। इससे निपटने के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) ने 53 दलों को तैयार किया है। एनडीआरएफ के महानिदेशक एस एन प्रधान ने शुक्रवार को इस बारे में एक ट्वीट किया। इसमें उन्हाेंने कहा कि केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, गुजरात और महाराष्ट्र के तटीय क्षेत्रों में इन दलों को तैनात किया जा रहा है।
उन्होंने बताया कि इन 53 दलों में से 24 दलों को पहले ही तैनात कर दिया गया है। जबकि शेष को तैयार रहने को कहा गया है। एनडीआरएफ के एक दल में करीब 40 कर्मी होते हैं। उनके पास पेड़ और खंभे काटने के औजार, नौकाएं, मूलभूत दवाएं और अन्य राहत एवं बचाव सामान होता है।
आईएमडी ने जारी की चेतावनी
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) और इन तटीय राज्यों की ओर से जारी किए कुछ परामर्शों के अनुसार दक्षिण अरब सागर और लक्षद्वीप इलाके में बृहस्पतिवार को दबाव का क्षेत्र बन गया है। आईएमडी ने अपनी चेतावनी रिपोर्ट में कहा, ‘यह शनिवार सुबह तक इसी क्षेत्र में गहरे दबाव के क्षेत्र में बदल जाएगा। उसके बाद अगले 24 घंटों में चक्रवाती तूफान का रूप ले लेगा।’
उसने बताया कि इसके उत्तर-उत्तर पश्चिम गुजरात और पाकिस्तानी तटों की ओर बढ़ने की संभावना है। आईएमडी ने बताया कि यह 18 मई की शाम तक गुजरात तट के नजदीक पहुंच सकता है। इस चक्रवात को ‘तौकते’ नाम म्यांमार ने दिया है। यह भारतीय तट पर इस साल पहला चक्रवाती तूफान होगा।
कोरोना काल में मॉनसून को लेकर अच्छी खबर है। केरल में दक्षिण पश्चिम मॉनसून समय से पहले दस्तक दे सकता है। इसके यहां 31 मई को पहुंचने के आसार हैं। आमतौर पर राज्य में मॉनसून एक जून को आता है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। विभाग की ओर से बताया गया, ‘इस वर्ष दक्षिण पश्चिम मॉनसून केरल में 31 मई को पहुंच सकता है।’
भारतीय मानसून क्षेत्र में मानसून की शुरुआती बारिश दक्षिण अंडमान सागर से होती है। उसके बाद मानसूनी हवाएं उत्तर पश्चिम दिशा में बंगाल की खाड़ी की ओर बढ़ती हैं। मानसून की नई सामान्य तारीखों के मुताबिक, दक्षिण पश्चिम मानसून 22 मई के आसपास अंडमान सागर में पहुंचेगा। विभाग ने इस वर्ष मानसून सामान्य रहने का अनुमान जताया है।
छत्तीसगढ़ में 10 जून को पहुंचेगा मॉनसून
छत्तीसगढ़ के जगदलपुर में दक्षिण पश्चिम मॉनसून 10 जून को पहुंचेगा। रायपुर में इसके 15 जून को पहुंचने के आसार हैं। अंबिकापुर में यह 21 जून को पहुंचेगा। रायपुर के मौसम केंद्र में वैज्ञानिक एचपी चंद्रा ने यह जानकारी दी।
‘ताैकते’ काे लेकर टेंशन
इस बीच अरब सागर में बन रहे चक्रवात ‘तौकते’ का खतरा तैयार हाे रहा है। इससे निपटने के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) ने 53 दलों को तैयार किया है। एनडीआरएफ के महानिदेशक एस एन प्रधान ने शुक्रवार को इस बारे में एक ट्वीट किया। इसमें उन्हाेंने कहा कि केरल, कर्नाटक, तमिलनाडु, गुजरात और महाराष्ट्र के तटीय क्षेत्रों में इन दलों को तैनात किया जा रहा है।
उन्होंने बताया कि इन 53 दलों में से 24 दलों को पहले ही तैनात कर दिया गया है। जबकि शेष को तैयार रहने को कहा गया है। एनडीआरएफ के एक दल में करीब 40 कर्मी होते हैं। उनके पास पेड़ और खंभे काटने के औजार, नौकाएं, मूलभूत दवाएं और अन्य राहत एवं बचाव सामान होता है।
आईएमडी ने जारी की चेतावनी
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) और इन तटीय राज्यों की ओर से जारी किए कुछ परामर्शों के अनुसार दक्षिण अरब सागर और लक्षद्वीप इलाके में बृहस्पतिवार को दबाव का क्षेत्र बन गया है। आईएमडी ने अपनी चेतावनी रिपोर्ट में कहा, ‘यह शनिवार सुबह तक इसी क्षेत्र में गहरे दबाव के क्षेत्र में बदल जाएगा। उसके बाद अगले 24 घंटों में चक्रवाती तूफान का रूप ले लेगा।’
उसने बताया कि इसके उत्तर-उत्तर पश्चिम गुजरात और पाकिस्तानी तटों की ओर बढ़ने की संभावना है। आईएमडी ने बताया कि यह 18 मई की शाम तक गुजरात तट के नजदीक पहुंच सकता है। इस चक्रवात को ‘तौकते’ नाम म्यांमार ने दिया है। यह भारतीय तट पर इस साल पहला चक्रवाती तूफान होगा।