Kuldeep Sen: छोटे से सैलून से IPL तक का सफर, नाई के बेटे ने पहले ही मैच में किया कमाल, RR वाले कुलदीप सेन की पूरी कहानी

492
Kuldeep Sen: छोटे से सैलून से IPL तक का सफर, नाई के बेटे ने पहले ही मैच में किया कमाल, RR वाले कुलदीप सेन की पूरी कहानी


Kuldeep Sen: छोटे से सैलून से IPL तक का सफर, नाई के बेटे ने पहले ही मैच में किया कमाल, RR वाले कुलदीप सेन की पूरी कहानी

नई दिल्ली: मध्यप्रदेश के शहर रीवा में रविवार रात से जश्न का माहौल है, जो अबतक बदस्तूर जारी है। सुबह से ही सिरमौर चौराहे की उस छोटी सी सैलून की दुकान पर लोगों की भीड़ जुटी है, जहां कुलदीप सेन (Who is Kuldeep Sen) का बचपन बीता। कुलदीप सेन यानी वह अनजान पेसर, जिसने अपने पहले ही आईपीएल मैच में लखनऊ सुपरजायंट्स के खिलाफ आखिरी ओवर में राजस्थान रॉयल्स (Lucknow Supergiants vs Rajasthan Royals) को जीत दिला दी।

लोगों की हजामत से चलता था परिवार

रामपाल सेन और गीता सेन के पांच बच्चों (तीन भाइयों में सबसे बड़े) में से तीसरे कुलदीप ने लगभग एक दशक पहले विंध्य क्रिकेट अकादमी (वीसीए) क्लब में क्रिकेट खेलना शुरू किया था। पिता रामपाल सेन शहर के सिरमौर चौराहे में सैलून की दुकान चलाते है। छोटे सी दुकान से जितनी भी कमाई होती, वो बच्चों की पढ़ाई-लिखाई में ही खर्च हो जाती, ऐसे में कुलदीप का क्रिकेट खेलना पिता के लिए किसी जबरदस्ती वाले खर्चे से कम नहीं था, लेकिन बेटे को आगे बढ़ता देख रामपाल ने भी ठान लिया कि बेटे को सपने को पूरा करके ही दम लेंगे। यह पिता के संघर्ष की ही दास्तां है कि कुलदीप और क्रिकेट के बीच में कभी कोई बाधा नहीं आई।


राजस्थान रॉयल्स ने 20 लाख में खरीदा

फरवरी में हुए मेगा ऑक्शन में रीवा के कुलदीप सेन को राजस्थान रॉयल्स ने 20 लाख के बेस प्राइज में अपना साथ जोड़ा था। अब चौथे मैच में जब उन्हें पहली बार मौका मिला तो इस मीडियम पेसर ने टीम को पॉइंट्स टेबल में टॉप पर पहुंचा दिया। 28 अक्टूबर 1996 को हरिहरपुर में गांव में जन्में कुलदीप को रीवा डिवीजन के कोच एरिल एंथोनी ने तैयार किया। समय के साथ कुलदीप की बॉलिंग और धारदार होती चली गई। डिविजनल मुकाबलों में जबरदस्त प्रदर्शन का इनाम उन्हें नवंबर 2018 में मध्यप्रदेश की रणजी टीम में जगह के साथ मिला।

अकादमी ने माफ कर दी थी फीस
रीवा क्रिकेट अकादमी के कोच एरिल एंथोनी ने बताया कि 2018 से लगातार कुलदीप को ट्रेनिंग दे रहे हैं। वाह दाएं हाथ के मध्यम तेज गेंदबाज है। क्रिकेट के प्रति काफी लग्न है। देर तक प्रैक्टिस करना, समय से अकादमी पहुंचना उसकी आदत में शुमार है। घर की आर्थिक स्थिति जानने के बाद एरिल एंथोनी ने अकादमी फीस माफ कर दी थी।

रविचंद्रन अश्विन आईपीएल के इतिहास में रिटायर्ड आउट होने वाले पहले खिलाड़ी बने, टीम के लिए लिया यह रणनीतिक फैसला
140 KM/H की रफ्तार से गेंदबाजी करने की ताकत
कुलदीप सेन को पेस से खेलना पसंद हैं। वह 140 किलोमीटर की रफ्तार से गेंदबाजी करने की ताकत रखते हैं तो स्लोअर का भी अच्छा इस्तेमाल करते हैं। आखिरी ओवर में वह लगातार यॉर्कर के लिए भी जा रहे थे। आउट साइड ऑफ स्टंप पर फुल गेदों से स्टोइनिस पार नहीं पा पाए। अपने लंबे कद का भी उन्हें खूब फायदा मिलता है। मध्यप्रदेश टीम का हिस्सा रहते हुए एक मैच में मुंबई के खिलाफ पांच विकेट लेकर उन्होंने सभी का ध्यान खींचा था। कुलदीप ने रणजी में अब तक 14 मुकाबलों में 43 विकेट लेकर अपनी अलग छाप छोड़ी है।

आखिरी ओवर में बचाए 15 रन
शुरुआत में जल्दी विकेट गंवाने के बावजूद सीजन का पहला मैच खेल रहे मार्कस स्टोइनिस (38* रन, 17 गेंद) ने लखनऊ को मुकाबले में बनाए रखा। आखिरी 12 गेंद पर जीत के लिए लखनऊ को 34 रन की दरकार थी और 19वां ओवर करने आए प्रसिद्ध कृष्णा पर 19 रन बटोरकर स्टोइनिस ने मैच को रोमांचक बना दिया। तभी कप्तान संजू सैमसन ने बड़ा दांव चला और डेब्यूटेंट युवा पेसर कुलदीप सेन को गेंद थमाई। एमपी के इस खिलाड़ी ने अंतिम ओवर में स्टोनिस को 15 रन नहीं बनाने दिए। कुलदीप ने दूसरी, तीसरी और चौथी गेंद डॉट निकाल कर मैच का नतीजा तय कर दिया।



Source link