Independence Day 2022: आजादी के बाद पहले एशियाई गेम्स का इतिहास और इससे जुड़ी हर जानकारी | Independence Day 2022 Asian Games 1951 India’s first biggest sports festival after independence | Patrika News

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Independence Day 2022: आजादी के बाद पहले एशियाई गेम्स का इतिहास और इससे जुड़ी हर जानकारी | Independence Day 2022 Asian Games 1951  India’s first biggest sports festival after independence | Patrika News


Independence Day 2022: आजादी के बाद पहले एशियाई गेम्स का इतिहास और इससे जुड़ी हर जानकारी | Independence Day 2022 Asian Games 1951 India’s first biggest sports festival after independence | Patrika News

एशियाई गेम्स की असली शुरूआत

ये बात तो सभी को पता है कि ओलंपिक के बाद सबसे अधिक चर्चा एशियाई खेल की होती है। आजादी से पहले एक समय इस पर रोक लगा दी गई थी। ये रोक दूसरे विश्व युद्ध के कारण लगी। उस समय जापान और चीन के बीच भी काफी विवाद चल रहा था। साल 1948 में लंदन ओलंपिक के दौरान फिर एशियाई गेम्स पर बात उठी थी। इसी साल भारतीय अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति ने इन गेम्स में अन्य देशों को शामिल करने की मांग भी रखी थी।

दूसरे विश्व युद्ध के खत्म होने के बाद धीरे-धीरे इन गेम्स पर विचार किया गया था। कई बैठकें इसे लेकर हुई थी। महाद्वीपीय खेल आयोजन के प्रस्ताव को इसके बाद सभी ने स्वीकार कर लिया था क्योंकि एशियाई देशों का प्रभुत्व इस दौरान बहुत बढ़ गया था। भारत की तरफ से ही इसके लिए अभियान चलाया गया था। इस वजह से भारत एशियाई खेल का पहला मेजबान बन गया था।

वैसे पहले इसका आयोयजन 1950 में होने वाला था। इसकी तैयारी में काफी देरी हो गई और फिर इसे एक साल के लिए स्थगित कर दिया गया था। साल 1951 में भव्य तरीके से इस गेम का आयोजन हुआ और इसके बाद लगातार इस इवेंट में इतिहास रचे गए।

पहला एशियाई खेल में किन देशों ने लिया था हिस्सा

आपको बता दें पहले एशियाई गेम्स में कुल 11 देशों ने हिस्सा लिया था। इसमें अफगानिस्तान, म्यांमार, श्रीलंका, इंडोनेशिया, ईरान, जापान, नेपाल, फिलीपींस, सिंगापुर, थाईलैंड और भारत थे। इस इवेंट में कुल 489 एथलीट मौजूद थे। इन एथलीट्स ने 57 अलग-अलग गेम्स में हिस्सा लिया था। आपको ये जानकर हैरानी होगी कि इस इवेंट में एथलेटिक्स, एक्वेटिक्स (डाइविंग, स्विमिंग और वाटर पोलो), बास्केटबॉल, साइकिलिंग, फुटबॉल और वेटलिफ्टिंग में मेडल इवेंट का आयोजन किया गया था।

एशियाई गेम्स 1951 के उद्धाटन समरोह में भारत के पहले राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद और पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू भी मौजूद थे। इस इवेंट का लोगो भी बहुत तगड़ा था। लोगो एक सूरज बनाया गया था , इसमें 16 किरणों को 11 रिंग्स द्वारा अंकित किया गया था। यह लोगो इस इवेंट में भाग लेने वाले देशों की पहचान थी।

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किस देश ने जीते सबसे ज्यादा पदक?

पहले एशियाई गेम्स में जापान मेडल तालिका में सबसे ऊपर रहा। जापानी एथलीट्स ने शानदार प्रदर्शन किया था। जापान ने 24 स्वर्ण, 21 रजत और 15 कांस्य के साथ कुल 60 पदक हासिल किए थे। वहीं भारत दूसरे नंबर पर रहा था। भारत ने 15 स्वर्ण, 16 रजत और 20 कांस्य के साथ कुल 51 पदक हासिल किए थे।

एक खास बात ये हैं कि सिंगापुर के तैराक नियो च्वी कोक एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीतने वाले पहले एथलीट थे। भारत की तरफ से से एशियाई खेलों में पहला स्वर्ण पदक सचिन नाग ने हासिल किया था। उन्होंने यह कारनामा 100 मीटर फ्रीस्टाइल स्विमिंग इवेंट में जीता।

इन गेम्स में श्रीलंका, इंडोनेशिया , म्यांमार, अफगानिस्तान , नेपाल और थाईलैंड को एक भी स्वर्ण पदक हासिल नहीं हुआ था। पदक तालिका में तीसरे नंबर पर ईरान रहा था। वहीं अंतिम स्थान पर थाईलैंड था। अफगानिस्तान, नेपाल और थाईलैंड एक भी पदक यहां हासिल नहीं कर पाया था।

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