बहनजी, आपकी फाइलों के बारे में देश जानता है…नई संसद के विवाद में BJP के पाले में खड़ी माया पर बरसी कांग्रेस h3>
अभय सिंह, लखनऊः देश की नई संसद के उद्घाटन समारोह का कार्यक्रम इस वक्त राजनैतिक मुद्दा बन गया है। इस समारोह में राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू को ना बुलाने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस, सपा, आप समेत कई विपक्षी दलों ने बीजेपी के खिलाफ मोर्च खोल दिया है इसके साथ ही उद्घाटन समारोह का भी बहिष्कार कर दिया है। उधर बसपा सुप्रीमो मायावती ने नए संसद के उद्घाटन समारोह पर बीजेपी को समर्थन देकर विपक्षी दलों को करारा झटका दे दिया है। इसको लेकर कांग्रेस ने मायावती पर पलटवार कर दिया है।
आपकी फाइलों के बारे में देश जानता है- कांग्रेस प्रवक्ता
यूपी कांग्रेस के प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने बसपा सुप्रीमो पर निशाना साधते हुए कहा कि बहनजी आपकी फ़ाइलो के बारे में देश जानता है। दुर्भाग्य है कि आप अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है, लेकिन जब जब आवाज उठाने का मौका मिलता है तब तब आप भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस के गोल में साथ खड़ी हो जाती है। समाज इस बात को समझ चुका है आने वाले समय में समाज जवाब देगा। वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने बताया कि ऐसा पहली बार नहीं हुआ जब मायावती ने बीजेपी को समर्थन किया है। इससे पहले तमाम अवसर, जब हाथरस में दलित बेटी को देर रात ढाई बजे जलाया गया तब बहनजी की आवाज नहीं निकली।
दलितों के अत्याचार पर बहनजी की आवाज नहीं निकलती- अंशु
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि देश व प्रदेश में सबसे ज्यादा दलितों पर अत्याचार हो रहे लेकिन मायावती व बसपा की आवाज नहीं निकलती है। उन्होंने कहा कि बहनजी बार-बार अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है, लेकिन जब नए संसद का भूमि पूजन हो रहा था तब तत्कालीन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को नहीं बुलाया गया, उस वक्त भी मायावती की आवाज नहीं निकली थी। आज देश की महामहिम आदिवासी महिला है उनको नहीं बुलाया जा रहा है।
सीएम, गवर्नर बुलाए जा रहे तो राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति क्यो नहीं- कांग्रेस
कांग्रेस प्रवक्ता ने पूछा कि देश जानना चाहता है कि जब सभी राज्यों के मुख्यमंत्री, राज्यपाल बुलाए जा रहे, तमाम नेता बुलाए जा रहे हैं तो लोकतंत्र के मंदिर संसद के उद्घाटन में देश की सर्वोच्च प्रथम नागरिक राष्ट्रपति व उपराष्ट्रपति को क्यों नहीं बुलाया जा रहा है। वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने मायावती पर निशाना साधते हुए कहा कि बहनजी आपकी फ़ाइलो के बारे में देश जानता है। दुर्भाग्य है कि आप अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है लेकिन जब जब उठाने का मौका मिलता है तब तब आप भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस के साथ खड़ी हो जाती है। समाज इस बात को समझ चुका है आने वाले समय में समाज जवाब देगा।
मायावती ने ट्वीट कर बीजेपी को दिया था समर्थन
बता दें, ब्रहस्पतिवार को बसपा सुप्रीमो मायावती ने इसको लेकर तीन ट्वीट किए थे। अपने ट्वीट के जरिये मायावती ने कहा कि केंद्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका समर्थन किया है। 28 मई को संसद के नए भवन के उद्घाटन को भी बसपा इसी संदर्भ में देखते हुए इसका स्वागत करती है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा नए संसद का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर बहिष्कार अनुचित है। उन्होंने कहा कि सरकार ने इसको बनाया है इसलिए उसके उद्घाटन का उसे हक है। इसको आदिवासी महिला सम्मान से जोड़ना भी अनुचित है।
व्यस्तता के कारण समारोह में नहीं शामिल होंगी मायावती
वहीं मायावती ने राष्ट्रपति चुनाव में द्रोपदी मुर्मू के खिलाफ उम्मीदवार खड़ा करने को लेकर विपक्षी दलों खासकर कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि यह उन्हें निर्विरोध न चुनकर उनके विरुद्ध उम्मीदवार खड़ा करते वक्त सोचना चाहिए था। मायावती ने आगे कहा कि, देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम अर्थात नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनायें। किन्तु पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी।
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आपकी फाइलों के बारे में देश जानता है- कांग्रेस प्रवक्ता
यूपी कांग्रेस के प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने बसपा सुप्रीमो पर निशाना साधते हुए कहा कि बहनजी आपकी फ़ाइलो के बारे में देश जानता है। दुर्भाग्य है कि आप अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है, लेकिन जब जब आवाज उठाने का मौका मिलता है तब तब आप भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस के गोल में साथ खड़ी हो जाती है। समाज इस बात को समझ चुका है आने वाले समय में समाज जवाब देगा। वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने बताया कि ऐसा पहली बार नहीं हुआ जब मायावती ने बीजेपी को समर्थन किया है। इससे पहले तमाम अवसर, जब हाथरस में दलित बेटी को देर रात ढाई बजे जलाया गया तब बहनजी की आवाज नहीं निकली।
दलितों के अत्याचार पर बहनजी की आवाज नहीं निकलती- अंशु
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि देश व प्रदेश में सबसे ज्यादा दलितों पर अत्याचार हो रहे लेकिन मायावती व बसपा की आवाज नहीं निकलती है। उन्होंने कहा कि बहनजी बार-बार अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है, लेकिन जब नए संसद का भूमि पूजन हो रहा था तब तत्कालीन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को नहीं बुलाया गया, उस वक्त भी मायावती की आवाज नहीं निकली थी। आज देश की महामहिम आदिवासी महिला है उनको नहीं बुलाया जा रहा है।
सीएम, गवर्नर बुलाए जा रहे तो राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति क्यो नहीं- कांग्रेस
कांग्रेस प्रवक्ता ने पूछा कि देश जानना चाहता है कि जब सभी राज्यों के मुख्यमंत्री, राज्यपाल बुलाए जा रहे, तमाम नेता बुलाए जा रहे हैं तो लोकतंत्र के मंदिर संसद के उद्घाटन में देश की सर्वोच्च प्रथम नागरिक राष्ट्रपति व उपराष्ट्रपति को क्यों नहीं बुलाया जा रहा है। वहीं कांग्रेस प्रवक्ता ने मायावती पर निशाना साधते हुए कहा कि बहनजी आपकी फ़ाइलो के बारे में देश जानता है। दुर्भाग्य है कि आप अपने आपको दलितों का नेता तो कहती है लेकिन जब जब उठाने का मौका मिलता है तब तब आप भारतीय जनता पार्टी और आरएसएस के साथ खड़ी हो जाती है। समाज इस बात को समझ चुका है आने वाले समय में समाज जवाब देगा।
मायावती ने ट्वीट कर बीजेपी को दिया था समर्थन
बता दें, ब्रहस्पतिवार को बसपा सुप्रीमो मायावती ने इसको लेकर तीन ट्वीट किए थे। अपने ट्वीट के जरिये मायावती ने कहा कि केंद्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका समर्थन किया है। 28 मई को संसद के नए भवन के उद्घाटन को भी बसपा इसी संदर्भ में देखते हुए इसका स्वागत करती है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू जी द्वारा नए संसद का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर बहिष्कार अनुचित है। उन्होंने कहा कि सरकार ने इसको बनाया है इसलिए उसके उद्घाटन का उसे हक है। इसको आदिवासी महिला सम्मान से जोड़ना भी अनुचित है।
व्यस्तता के कारण समारोह में नहीं शामिल होंगी मायावती
वहीं मायावती ने राष्ट्रपति चुनाव में द्रोपदी मुर्मू के खिलाफ उम्मीदवार खड़ा करने को लेकर विपक्षी दलों खासकर कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि यह उन्हें निर्विरोध न चुनकर उनके विरुद्ध उम्मीदवार खड़ा करते वक्त सोचना चाहिए था। मायावती ने आगे कहा कि, देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम अर्थात नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनायें। किन्तु पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी।
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