महाराष्ट्र की तर्ज पर राजस्थान में भी बनने वाला है सख्त कानून, जानिए कैसे लगेगी माफिया पर लगाम

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महाराष्ट्र की तर्ज पर राजस्थान में भी बनने वाला है सख्त कानून, जानिए कैसे लगेगी माफिया पर लगाम

महाराष्ट्र की तर्ज पर राजस्थान में भी बनने वाला है सख्त कानून, जानिए कैसे लगेगी माफिया पर लगाम


जयपुर: प्रदेश में संगठित अपराधों पर लगाम लगाने के CM अशोक गहलोत सख्त कानून लाने वाले हैं। बुधवार 1 मार्च को विधानसभा में मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में यह महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया। इस बैठक में महाराष्ट्र की तर्ज पर बनाए जा रहे दि राजस्थान कंट्रोल ऑफ ऑर्गनाइज्ड क्राइम बिल 2023 का अनुमोदन किया गया। इस नए कानून में संपति कुर्क, उम्रकैद और फांसी तक के प्रावधान जोड़े जा रहे हैं। अपराधों की सुनवाई के लिए विशेष न्यायालय के गठन के साथ संगठित अपराध से अर्जित संपति को कुर्क किए जाने के प्रावधान भी जोड़े जा रहे हैं। साथ ही अग्रिम जमानत का प्रावधान खत्म करने और ऐसे गंभीर प्रकरणों की जांच डीएसपी या इनसे ऊपरी रैंक के अधिकारी कर सकेंगे। गवाहों की सुरक्षा के लिए पहचान गोपनीय रखी जाएगी। गोपनीयता भंग करने वालों को एक साल की सजा का प्रावधान करने के साथ आर्थिक जुर्माना भी वसूला जाएगा।

दोषी पाए जाने पर आजीवन कारावास का प्रावधान

अब महाराष्ट्र की तर्ज पर बन रहे इस नए कानून के प्रावधान काफी सख्त किए जा रहे हैं। अपराध के दौरान अगर किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है तो उम्रकैद, एक लाख रुपए का जुर्माना या फांसी की सजा का प्रावधान जोड़ा जा रहा है। आपराधिक षड़यंत्र रचने वाले और आपराधिक गिरोह को शरण देने वालों को 5 साल की सजा और 5 लाख रुपए तक के जुर्माना देना होगा।

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आपराधिक कृत्य से अर्जित संपति पाए जाने पर संपति तो कुर्क होगी ही। साथ ही 10 लाख रुपए तक के जुर्माने और उम्रकैद का प्रावधान किया जा रहा है। अगर कोई लोक सेवक संगठित अपराधों में लिप्त पाया जाता है तो तीन साल की सजा और जुर्माने से दंडित किए जाने के प्रावधान जोड़े जा रहे हैं।

हिंसा फैलाने और धमकी देने पर भी लगेगा एक्ट

नए बनाए जाने वाले कानून में उन अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई की जा सकेगी जिनके खिलाफ पिछले 10 साल में एक से अधिक आरोप पत्र पेश किए गए हों या कोर्ट द्वारा संज्ञान लिया गया हो। अगर किसी ने संगठित गिरोह के सदस्य के रूप में कोई अपराध किया हो जिसकी सजा 3 वर्ष या इससे अधिक हो तो इस एक्ट के तहत कार्रवाई की जा सकेगी। संगठित अपराध गिरोह के सदस्य के रूप में आर्थिक लाभ अर्जित करने के लिए हिंसा या धमकी देने पर भी इस नए कानून के तहत कार्रवाई की जाएगी। ऐसा माना जा रहा है कि इस नए एक्ट के लागू होने के पास माफियाराज पर अंकुश लगेगा। (रिपोर्ट – रामस्वरूप लामरोड़, जयपुर)

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