‘उपेंद्र कुशवाहा’ ‘फर्स्ट फ्रंट’… जेडीयू के भीतर ‘रार’ और बीजेपी का वार, कैसे निकालेंगे नीतीश कुमार इन समस्याओं का समाधान

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‘उपेंद्र कुशवाहा’ ‘फर्स्ट फ्रंट’… जेडीयू के भीतर ‘रार’ और बीजेपी का वार, कैसे निकालेंगे नीतीश कुमार इन समस्याओं का समाधान

‘उपेंद्र कुशवाहा’ ‘फर्स्ट फ्रंट’… जेडीयू के भीतर ‘रार’ और बीजेपी का वार, कैसे निकालेंगे नीतीश कुमार इन समस्याओं का समाधान


Nitish Kumar Latest News: अगस्त 2022 में राष्ट्रीय जनता दल के साथ मिलकर बिहार में महागठबंधन का निर्माण करने वाले नीतीश कुमार ने तब यह नहीं सोचा होगा कि 2023 के शुरुआती महीने से ही उन्हें कई तरह के मुश्किलात का सामना करना पड़ेगा। अब तो उपेंद्र कुशवाहा ने ही मोर्चा खोल दिया है।

 

नीलकमल, पटना: बिहार में महागठबंधन सरकार के गठन के बाद से ही कई ऐसी घटनाएं हुई है जिसने महागठबंधन सरकार के शासन पर उंगली उठाने का काम किया है। पूर्ण शराबबंदी वाले राज्य बिहार के छपरा और सिवान में जहरीली शराब की वजह से सैकड़ों लोगों की जान चली गई। बक्सर में आधी रात घरों में घुसकर किसान और उनके परिजनों की पुलिस ने जमकर पिटाई की। नौकरी मांगने वाले और प्रश्न पत्र लीक होने का विरोध करने वाले छात्रों पर बर्बरता पूर्ण लाठीचार्ज किया गया। हिंदुओं के पवित्र ग्रंथ रामचरितमानस का अपमान किया गया। भगवान राम को लेकर भी आपत्तिजनक टिप्पणी की गई। इसके अलावा भी कई ऐसी घटनाएं है जिसमें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की परेशानी बढ़ा दी है। इसमें से एक है जनता दल यूनाइटेड संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा के बागी तेवर।

नीतीश ने कहा- उपेंद्र कुशवाहा को जहां जाना है जल्दी जाएं

जेडीयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा इन दिनों पार्टी नेतृत्व से बेहद नाराज हैं। हालांकि वह कह रहे हैं कि वे नीतीश कुमार को मजबूत करने के लिए उनके साथ खड़े हैं। लेकिन उपेंद्र कुशवाहा यह भी कहते हैं कि पार्टी के भीतर के नेता ही नीतीश कुमार और जनता दल यूनाइटेड को कमजोर करने में लगे हुए हैं। उपेंद्र कुशवाहा के इस बयान के बाद नीतीश कुमार ने पहले कहा कि पार्टी में कई लोग आते हैं और चले जाते हैं। अब तो मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने खुलकर या कह दिया है कि उपेंद्र कुशवाहा को जहां जाना है वहां वह जल्दी चले जाएं। मुख्यमंत्री ने कहा कि जनता दल यूनाइटेड पहले से भी ज्यादा मजबूत हो चुका है और किसी के जाने से पार्टी को कोई फर्क नहीं पड़ने वाला।
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परेशानियों से घिरे नीतीश कुमार क्या बना पाएंगे ‘फर्स्ट फ्रंट’?

2024 लोकसभा चुनाव में केंद्र की सत्ता से मोदी सरकार को हटाने के लिए नीतीश कुमार विपक्षी दलों को एकजुट करने का प्रयास शुरू कर चुके हैं। आपको याद दिला दें कि जब तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव बिहार पहुंचे थे तब नीतीश कुमार ने कहा था कि विपक्षी दलों को एकजुट कर देश को भाजपा मुक्त बनाएंगे। उस वक्त जब नीतीश कुमार से पूछा गया था कि ममता बनर्जी भी तीसरा फ्रंट बनाने को लेकर गंभीर है। तब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा था कि उनका फ्रंट मेन फ्रंट यानी फर्स्ट फ्रंट बनेगा। अब जबकि केसीआर ने नीतीश कुमार को दरकिनार कर अलग फ्रंट का निर्माण कर लिया है। ऐसे में सवाल उठना लाजमी है कि अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ‘फर्स्ट फ्रंट’ (मेन फ्रंट) का क्या होगा ? आपको यह भी बता दें कि नीतीश कुमार ने यह जरूर कहा है कि बिहार विधानमंडल के बजट सत्र के बाद वह भारत भ्रमण पर निकलेंगे। लेकिन केसीआर के जाने के बाद उन्होंने कभी भी मेन फ्रंट या फर्स्ट फ्रंट की बात नहीं कही है।
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जेडीयू के अंदर मचे घमासान से कैसे निकलेंगे नीतीश कुमार

जेडीयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने कहा है कि जेडीयू के कई बड़े नेता बीजेपी के बड़े नेताओं के संपर्क में हैं। हालांकि उन्होंने नाम का खुलासा नहीं किया लेकिन पार्टी के भीतर उपेंद्र कुशवाहा से बड़े नेताओं में नीतीश कुमार और ललन सिंह को देखा जाता है। उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि जेडीयू के अन्य नेताओं से भी बिना कैमरे के बात किया जाए तो वह पार्टी के भीतर चल रहे आक्रोश के विषय में जरूर बताएंगे। अब सवाल यह उठता है कि आरजेडी नेताओं की ओर से लगातार दिए जा रहे विवादास्पद बयान और अपनी ही पार्टी के भीतर उपेंद्र कुशवाहा के बताए जा रहे घमासान से नीतीश कुमार कैसे निपटेंगे। तो क्या यह माना जाए कि नीतीश कुमार ने इसलिए यह कह दिया कि उपेंद्र कुशवाहा को जहां जाना है वह जल्दी चले जाएं ?
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बीजेपी के छोटे से लेकर बड़े नेता तक है नीतीश पर हमलावर

वैसे तो बिहार में महागठबंधन सरकार बनने के बाद से ही बीजेपी के नेता महागठबंधन के अलावा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर कई तरह के आरोप लगा रहे हैं। लेकिन हाल में आरजेडी नेताओं के बयान, जहरीली शराब से हुई मौत की घटना, उपेंद्र कुशवाहा के बागी तेवर के बाद से बीजेपी का हमला और भी तेज हो चुका है। बीजेपी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने तो नीतीश कुमार को यह भी नसीहत दे दी की उन्हें आरजेडी के साथ मिलकर सरकार चलाने पर पुनर्विचार करना चाहिए। बीजेपी के कई नेता नीतीश कुमार को ‘लाचार’ ‘बेचारा’ ‘लालू यादव की गोद में बैठने वाला’ तुष्टिकरण की राजनीति की वजह से हिंदुओं की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला तक बता रहे हैं।
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उपेंद्र कुशवाहा के बागी तेवर पर क्या कहा नेताओं ने

उपेंद्र कुशवाहा के यह कहे जाने के बाद की पार्टी कमजोर हो रही है। जेडीयू सांसद संतोष कुशवाहा ने कहा कि पार्टी कमजोर नहीं हो रही बल्कि आज की तारीख में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ लव-कुश समाज चट्टान की तरह खड़ा है। वहीं उपेंद्र कुशवाहा के बयान पर आरजेडी प्रवक्ता एजाज अहमद ने कहा कि बिहार का महागठबंधन देश में परिवर्तन का कारण बनेगा और यह मोदी सरकार को हटाने के लिए मील का पत्थर साबित होगा। इधर बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि नीतीश कुमार के नेतृत्व में चलने वाली महागठबंधन सरकार, बिहार के लोगों को भ्रम में डालकर अपनी सत्ता लोलुपता के लिए भ्रष्टाचार और अपराध को बढ़ावा दे रही है। उन्होंने कहा कि आरजेडी और जेडीयू के बीच प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री बनने के लिए समझौता किया गया था। यह गठबंधन पूरी तरह से ‘ठगबंधन’ है। इस गठबंधन को जनता के लिए नहीं बल्कि जेडीयू और आरजेडी ने महज अपने स्वार्थ की पूर्ति के लिए बनाया है।

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