Agnipath Scheme Violence: अग्निपथ इतना ही अच्छा तो MP-MLA के बच्चों के लिए अनिवार्य क्यों नहीं कर देते, मनीष सिसोदिया ने कसा तंज h3>
नई दिल्ली: केंद्र सरकार की नई सेना भर्ती स्कीम (Agneepath Scheme) को लेकर बिहार, हरियाणा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश समेत देश के कई हिस्सों में पिछले तीन दिनों से भारी बवाल देखने को मिल रहा है। कई जगहों पर प्रदर्शनकारियों ने ट्रेनों को आग के हवाले कर दिया। वहीं सड़कों पर भी जमकर सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया जा रहा है। उधर इस मामले को लेकर सियासत भी काफी गरमा गई है। केंद्र सरकार पर विपक्षी दलों को हमला लगातार जारी है।
इसी कड़ी में शनिवार को दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने केंद्र सरकार पर हमला बोला है। मनीष सिसोदिया ने ट्वीट करते हुए लिखा, ‘ अग्निपथ योजना अगर इतनी ही अच्छी है तो नियम बना दो कि देश भर में हर MLA और MP के बच्चे 17 साल के होते ही सबसे पहले इस योजना के तहत 4 साल की नौकरी करेंगे।’
यूजर्स ने दिखाया आईना
मनीष सिसोदिया के ट्वीट पर रिप्लाई करते हुए एक यूजर्स ने सिसोदिया को उनका पुराना बयान याद दिला दिया। यूजर्स ने एक चैनल के इंटरव्यू को रिप्लाई में ट्वीट किया। इस इंटरव्यू में एंकर ने सिसोदिया से पूछा कि दिल्ली के सरकारी स्कूल अच्छे हैं तो ख़ुद शिक्षा मंत्री, CM अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूल में क्यूं पढ़ा रहे? इसके जवाब में सिसोदिया ने कहा कि ये कोई पैरामीटर है क्या? स्कूल तभी सफल माना जाएगा जब मंत्री का बेटा वहां पढ़ेगा?’
सरकार की इस घोषणा से भी शांत नहीं हुए प्रदर्शनकारी
आज गृह मंत्रालय ने केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPF) और असम राइफल्स में 10 प्रतिशत पदों को ‘अग्निवीरों’ के लिए आरक्षित करने की घोषणा की। गृह मंत्रालय ने सीएपीएफ और असम राइफल्स में भर्ती के लिए ‘अग्निवीरों’ को ऊपरी आयु सीमा में छूट दिए जाने की भी घोषणा की। गृह मंत्रालय के कार्यालय ने एक ट्वीट में कहा, ‘गृह मंत्रालय ने सीएपीएफ और असम राइफल्स में भर्ती के लिए ‘अग्निवीरों’ को निर्धारित ऊपरी आयु सीमा में तीन साल की छूट देने का भी फैसला किया है। इसके अलावा, ‘अग्निवीरों’ के पहले बैच को निर्धारित ऊपरी आयु सीमा में पांच वर्ष की छूट दी जाएगी।’ सरकार की घोषणा और समझाने के बाद भी विरोध प्रदर्शन शांत नहीं हुआ है।
छात्रों को चार साल बाद बेरोजगारी का डर सता रहा है
छात्र चार साल के लिए सेना में भर्ती वाली योजना से गुस्से में हैं। उनका कहना है कि चार साल की नौकरी के बाद 25 प्रतिशत छात्रों को तो नौकरी मिल जाएगी, लेकिन 75 फीसदी लोग बेरोजगार हो जाएंगे। कई राज्यों ने पुलिस भर्ती में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की घोषणा की है, लेकिन बवाल थमता नजर नहीं आ रहा है।
राजनीति की और खबर देखने के लिए यहाँ क्लिक करे – राजनीति
News
यूजर्स ने दिखाया आईना
मनीष सिसोदिया के ट्वीट पर रिप्लाई करते हुए एक यूजर्स ने सिसोदिया को उनका पुराना बयान याद दिला दिया। यूजर्स ने एक चैनल के इंटरव्यू को रिप्लाई में ट्वीट किया। इस इंटरव्यू में एंकर ने सिसोदिया से पूछा कि दिल्ली के सरकारी स्कूल अच्छे हैं तो ख़ुद शिक्षा मंत्री, CM अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूल में क्यूं पढ़ा रहे? इसके जवाब में सिसोदिया ने कहा कि ये कोई पैरामीटर है क्या? स्कूल तभी सफल माना जाएगा जब मंत्री का बेटा वहां पढ़ेगा?’
सरकार की इस घोषणा से भी शांत नहीं हुए प्रदर्शनकारी
आज गृह मंत्रालय ने केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPF) और असम राइफल्स में 10 प्रतिशत पदों को ‘अग्निवीरों’ के लिए आरक्षित करने की घोषणा की। गृह मंत्रालय ने सीएपीएफ और असम राइफल्स में भर्ती के लिए ‘अग्निवीरों’ को ऊपरी आयु सीमा में छूट दिए जाने की भी घोषणा की। गृह मंत्रालय के कार्यालय ने एक ट्वीट में कहा, ‘गृह मंत्रालय ने सीएपीएफ और असम राइफल्स में भर्ती के लिए ‘अग्निवीरों’ को निर्धारित ऊपरी आयु सीमा में तीन साल की छूट देने का भी फैसला किया है। इसके अलावा, ‘अग्निवीरों’ के पहले बैच को निर्धारित ऊपरी आयु सीमा में पांच वर्ष की छूट दी जाएगी।’ सरकार की घोषणा और समझाने के बाद भी विरोध प्रदर्शन शांत नहीं हुआ है।
छात्रों को चार साल बाद बेरोजगारी का डर सता रहा है
छात्र चार साल के लिए सेना में भर्ती वाली योजना से गुस्से में हैं। उनका कहना है कि चार साल की नौकरी के बाद 25 प्रतिशत छात्रों को तो नौकरी मिल जाएगी, लेकिन 75 फीसदी लोग बेरोजगार हो जाएंगे। कई राज्यों ने पुलिस भर्ती में अग्निवीरों को प्राथमिकता देने की घोषणा की है, लेकिन बवाल थमता नजर नहीं आ रहा है।
News