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माइंस एवं गोपालन मंत्री प्रमोद जैन भाया ने कहा कि राज्य के अथाह खनिज संपदा के पूर्वेक्षण एवं अंवेषण कार्य को गति देने के लिए राजस्थान राज्य खनिज अंवेषण ट्रस्ट सें आरधारभूत संरचना व तकनीकी अपग्रेडशन के लिए आवश्यक संसाधन उपलब्ध कराए जाएंगे। उन्होंने निर्देश दिए कि अंवेषण, खनिज ब्लॉक्स तैयार करने और ऑक्शन के लिए आवश्यकतानुसार अनुभवी संस्थाओं से आउट सोर्सिंग व पीपीपी के माध्यम से कार्य करवाया जाए, ताकि अधिक से अधिक ब्लॉक्स तैयार कर प्रतिस्पर्धी दरें प्राप्त हो सके। उन्होंने कहा कि मुख्यमत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में खनिज खोज व खनन कार्य को गति देने के लिए ही आरएसएमईटी का गठन किया है और उनकी भावना और मंशा के अनुसार विभाग द्वारा खोज व ब्लाक्स के नीलामी कार्य को गति दी जा रही है। अन्य प्रदेशों में खनिजों की संख्या सीमित है, वहीं प्रदेश में 57 प्रकार के खनिजों के खनन का कार्य किया जा रहा है।
मंत्री भाया ने बताया कि आरएसएमईटी से 3 करोड़ 76 लाख रुपए के वित्तीय सहयोग से केन्द्रीय प्रयोगशाला, ड्रिलिंग अनुभाग और जियोफिजिकल, रिमोट संेसिंग व पेट्रोलोजी अनुभागों को आवश्यक संसाधन उपलब्ध कराए जाएंगे। विभागीय प्रयोगशाला का सुदृढ़ीकरण कर एनएबीएल स्तर की बनाया जाएगा। इससे सेंपल्स का विश्लेषण, गहराई तक निर्बाध ड्रिलिंग, माइक्रोस्कोप कैमरे, ग्रेविटी मीटर, मैग्नेटोमीटर सहित आवश्यक नवीनतम उपकरण उपलब्ध हो सकेंगे। उन्होंने इस साल की उपलब्धियों की चर्चा करते हुए रेकार्ड नीलामी और राजस्व अर्जन के लिए विभागीय अधिकारियों को बधाई दी। भाया ने कहा कि बंशीपहाडपुर की तर्ज पर बेरी गंगा और बालसमंद आदि के कार्य को गति दी जाए। खनिज ब्लॉक्स के समय पर तैयार होने व नीलामी से अवैध खनन पर रोक, वैध खनन को बढ़ावा, राज्य सरकार को राजस्व की प्राप्ति और प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रुप से हजारों लोगों को रोजगार मिलता है।
अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस, पेट्रोलियम व एनर्जी डॉ. सुबोध अग्रवाल ने बताया कि आरएसएमईटी के माध्यम से 25 लाख रुपए बांसवाड़ा के कालाखूंटा, तांबेसरा, रुपखेडा में मैग्नीज और पृथीपुरा में लाईमस्टोन व भीलवाड़ा के धूलखेडा जिपिया, कजलोदिया में आयरन ओर व सांकरिया खेडा में गारनेट के ब्लाक्स तैयार किए गए हैं। इन ब्लॉकों से अपफ्रंट पेमेंट के रुप में 225 करोड़ और समग्र रुप से 14,752 करोड़ रुपए की संभावित आय हो सकेगी। अग्रवाल ने बताया कि वर्ष 22-23 में बारां, भीलवाड़ा, जोधपुर, झुन्झुनू उदयपुर, राजसमंद आदि में 8 स्थानों पर आयरन ओर, लाइस्टोन, खनिज खोज के लिए ड्रिलिंग कार्य करवाया जाएगा। अप्रधान खनिज ब्लॉक्स भी इस कोष से ऑक्शन के लिए तैयार करवाए जाएंगे। अवैध खनन, परिवहन और भण्डारण के खिलाफ सख्ती से कार्यवाही के साथ ही राजस्व बढ़ाने के कारगर प्रयासों का ही परिणाम है कि इस साल रेकार्ड राजस्व अर्जन होने जा रहा है।