Exit Polls में पिछड़े अखिलेश यादव का क्या है प्लान, लड़ाई, क्रांति और आंदोलन की बातें क्यों? h3>
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों को लेकर आए तमाम एग्जिट पोल्स में पिछड़ती दिख रही सपा ने अब काउंटिंग से पहले धांधली का आरोप लगाया है। खुद सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कई गंभीर आरोप लगाए तो उन्होंने इसे लोकतंत्र की आखिरी लड़ाई बताते हुए क्रांति से बदलाव की बात कही है। उन्होंने किसान आंदोलन का उदाहरण देकर युवाओं से लोकतंत्र का प्रहरी बनने को कहा है। ऐसे में सवाल यह भी उठता है कि यदि चुनाव परिणाम सपा के अनुकूल नहीं आए तो क्या पार्टी इसे अस्वीकार करते हुए विरोध करने का प्लान बना रही है?
अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, ”आज से,अभी से हर युवा, हर मतदाता अगले 3 दिन तक मत की रक्षा के लिए मतगणना केंद्र की किलेबंदी कर दे और ढोल-मंजीरा लेकर आजादी के अफसाने गाए। किसानों की तरह उनके लिए भी लोकतंत्र के लंगर लगेंगे और दुनिया देखेगी लोकतंत्र को कैसे बचाया जाता है। राजनीति बाहुबल के आगे जनबल झुकेगा नहीं।”
यह भी पढ़ें: पराजय के डर से नौटंकी बंद करो, अखिलेश के आरोपों पर केशव प्रसाद का हमला
आज से,अभी से हर युवा, हर मतदाता अगले 3 दिन तक मत की रक्षा के लिए मतगणना केंद्र की क़िलेबंदी कर दे और ढोल-मंजीरा लेकर आज़ादी के अफ़साने गाए। किसानों की तरह उनके लिए भी लोकतंत्र के लंगर लगेंगे व दुनिया देखेगी लोकतंत्र को कैसे बचाया जाता है।
राजनीति बाहुबल के आगे जनबल झुकेगा नहीं। pic.twitter.com/HoRz56H36c
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 8, 2022
एक अन्य ट्वीट में अखिलेश यादव ने कहा, ”वाराणसी में EVM पकड़े जाने का समाचार उप्र की हर विधानसभा को चौकन्ना रहने का संदेश दे रहा है। मतगणना में धांधली की कोशिश को नाकाम करने के लिए सपा-गठबंधन के सभी प्रत्याशी और समर्थक अपने-अपने कैमरों के साथ तैयार रहें। युवा लोकतंत्र व भविष्य की रक्षा के लिए मतगणना में सिपाही बने!”
‘आखिरी लड़ाई, आजादी जैसी लड़नी होगी जंग’
सुभासपा प्रमुख ओपी राजभर के साथ लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए अखिलेश यादव ने कहा, ”यह लोकतंत्र का आखिरी चुनाव है। इसके बाद तो जिस तरह आजादी के लिए लड़ाई लड़ी गई थी, उसी तरह आपको और हमें क्रांति करनी पड़ेगी। मैं तो अपने नौजवानों से अपील करूंगा कि जहां किसान इतने साल बैठे रहे तब सरकार झुकी, कम से कम तीन दिन लोकतंत्र के प्रहरी बनकर ईवीएम बचाएं।”
राकेश टिकैत ने भी कहा था- ट्रैक्टर-बिस्तर के संग लगाएं लंगर
एक साल से अधिक समय तक चले किसान आंदोलन का चेहरा रहे भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने भी इस चुनाव में बीजेपी की खिलाफत की है। दबी जुबान में वह सपा गठबंधन का समर्थन भी करते रहे। पिछले दिनों उन्होंने भी काउंटिंग में गड़बड़ी की आशंका जताते हुए किसानों से अपील की थी कि ट्रैक्टर और बिस्तर के साथ काउंटिंग सेटर्स के बाहर डेरा डाल दें।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों को लेकर आए तमाम एग्जिट पोल्स में पिछड़ती दिख रही सपा ने अब काउंटिंग से पहले धांधली का आरोप लगाया है। खुद सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके कई गंभीर आरोप लगाए तो उन्होंने इसे लोकतंत्र की आखिरी लड़ाई बताते हुए क्रांति से बदलाव की बात कही है। उन्होंने किसान आंदोलन का उदाहरण देकर युवाओं से लोकतंत्र का प्रहरी बनने को कहा है। ऐसे में सवाल यह भी उठता है कि यदि चुनाव परिणाम सपा के अनुकूल नहीं आए तो क्या पार्टी इसे अस्वीकार करते हुए विरोध करने का प्लान बना रही है?
अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, ”आज से,अभी से हर युवा, हर मतदाता अगले 3 दिन तक मत की रक्षा के लिए मतगणना केंद्र की किलेबंदी कर दे और ढोल-मंजीरा लेकर आजादी के अफसाने गाए। किसानों की तरह उनके लिए भी लोकतंत्र के लंगर लगेंगे और दुनिया देखेगी लोकतंत्र को कैसे बचाया जाता है। राजनीति बाहुबल के आगे जनबल झुकेगा नहीं।”
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आज से,अभी से हर युवा, हर मतदाता अगले 3 दिन तक मत की रक्षा के लिए मतगणना केंद्र की क़िलेबंदी कर दे और ढोल-मंजीरा लेकर आज़ादी के अफ़साने गाए। किसानों की तरह उनके लिए भी लोकतंत्र के लंगर लगेंगे व दुनिया देखेगी लोकतंत्र को कैसे बचाया जाता है।
राजनीति बाहुबल के आगे जनबल झुकेगा नहीं। pic.twitter.com/HoRz56H36c
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 8, 2022
एक अन्य ट्वीट में अखिलेश यादव ने कहा, ”वाराणसी में EVM पकड़े जाने का समाचार उप्र की हर विधानसभा को चौकन्ना रहने का संदेश दे रहा है। मतगणना में धांधली की कोशिश को नाकाम करने के लिए सपा-गठबंधन के सभी प्रत्याशी और समर्थक अपने-अपने कैमरों के साथ तैयार रहें। युवा लोकतंत्र व भविष्य की रक्षा के लिए मतगणना में सिपाही बने!”
‘आखिरी लड़ाई, आजादी जैसी लड़नी होगी जंग’
सुभासपा प्रमुख ओपी राजभर के साथ लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए अखिलेश यादव ने कहा, ”यह लोकतंत्र का आखिरी चुनाव है। इसके बाद तो जिस तरह आजादी के लिए लड़ाई लड़ी गई थी, उसी तरह आपको और हमें क्रांति करनी पड़ेगी। मैं तो अपने नौजवानों से अपील करूंगा कि जहां किसान इतने साल बैठे रहे तब सरकार झुकी, कम से कम तीन दिन लोकतंत्र के प्रहरी बनकर ईवीएम बचाएं।”
राकेश टिकैत ने भी कहा था- ट्रैक्टर-बिस्तर के संग लगाएं लंगर
एक साल से अधिक समय तक चले किसान आंदोलन का चेहरा रहे भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने भी इस चुनाव में बीजेपी की खिलाफत की है। दबी जुबान में वह सपा गठबंधन का समर्थन भी करते रहे। पिछले दिनों उन्होंने भी काउंटिंग में गड़बड़ी की आशंका जताते हुए किसानों से अपील की थी कि ट्रैक्टर और बिस्तर के साथ काउंटिंग सेटर्स के बाहर डेरा डाल दें।