स्टालिन ने राष्ट्रपति कोविंद को पत्र लिखकर की अपील, राजीव गांधी हत्याकांड के 7 दोषियों की सजा माफ करें h3>
चेन्नै
तमिलनाडु के नवनियुक्त मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने गुरुवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को पत्र लिखकर पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के दोषियों की सजा माफ करने की गुहार लगाई है। स्टालिन ने अपने पत्र में कहा है कि राजीव गांधी हत्याकांड में उम्रकैद की सजा पाए सभी सात दोषियों ने बीते तीन दशकों में काफी कठिनाइयां और अनकही पीड़ा झेली है। उन्होंने अपने किए की भारी कीमत चुकाई है।
स्टालिन ने राष्ट्रपति से अनुरोध किया है कि वह राज्य सरकार की सिफारिश को स्वीकार करें तथा सभी 7 दोषियों की उम्रकैद की सजा को माफ करने के लिए उचित आदेश पारित करें और उन्हें तत्काल रिहा करें। बता दें कि पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के मामले में एस नलिनी, संथन, मुरुगन, एजी पेरारीवलन, जयकुमार, रॉबर्ट पयास और पी रविचंद्रन जेल में उम्र कैद की सजा काट रहे हैं।
इसे लेकर स्टालिन ने राष्ट्रपति को लिखे अपने पत्र में कहा है कि बीते तीन दशकों से सभी दोषियों ने काफी पीड़ा झेली है। नलिनी की मौत की सजा को भारतीय संविधान के आर्टिकल 161 के तहत उम्रकैद में बदल दिया गया था। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने मामले के तीन अन्य दोषियों की भी मौत की सजा को उम्रकैद में बदल दिया था। स्टालिन ने कहा कि तमिलनाडु की ज्यादातर पार्टियों का मत है कि सभी 7 दोषियों की बाकी सजा को माफ कर दिया जाए। यह तमिलनाडु की जनता की भी इच्छा है।
स्टालिन ने यह भी कहा कि उन्होंने प्रदेश के राज्यपाल से भी इस संबंध में अनुरोध किया था। बाद में राज्यपाल महोदय ने फैसला दिया कि ऐसा करना पूरी तरह से राष्ट्रपति के अधिकार में है। इसलिए हम राज्य सरकार की इस सिफारिश को आपके (राष्ट्रपति) समक्ष रख रहे हैं। मामले के सातों दोषियों ने बीते तीन दशकों में भारी और अकथनीय कष्ट झेला है और अपने किए की भारी कीमत चुकाई है।
स्टालिन ने कहा कि कोरोना महामारी की मौजूदा परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए अदालतों ने जेलों में भीड़ कम करने की जरूरत पर भी ध्यान दिया है। ऐसे में मैं महामहिम राष्ट्रपति से आग्रह करता हूं कि वह राजीव गांधी हत्याकांड के सभी 7 दोषियों की रिहाई को लेकर प्रदेश सरकार की सिफारिश को स्वीकार करें।
तमिलनाडु के नवनियुक्त मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने गुरुवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को पत्र लिखकर पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के दोषियों की सजा माफ करने की गुहार लगाई है। स्टालिन ने अपने पत्र में कहा है कि राजीव गांधी हत्याकांड में उम्रकैद की सजा पाए सभी सात दोषियों ने बीते तीन दशकों में काफी कठिनाइयां और अनकही पीड़ा झेली है। उन्होंने अपने किए की भारी कीमत चुकाई है।
स्टालिन ने राष्ट्रपति से अनुरोध किया है कि वह राज्य सरकार की सिफारिश को स्वीकार करें तथा सभी 7 दोषियों की उम्रकैद की सजा को माफ करने के लिए उचित आदेश पारित करें और उन्हें तत्काल रिहा करें। बता दें कि पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की हत्या के मामले में एस नलिनी, संथन, मुरुगन, एजी पेरारीवलन, जयकुमार, रॉबर्ट पयास और पी रविचंद्रन जेल में उम्र कैद की सजा काट रहे हैं।
इसे लेकर स्टालिन ने राष्ट्रपति को लिखे अपने पत्र में कहा है कि बीते तीन दशकों से सभी दोषियों ने काफी पीड़ा झेली है। नलिनी की मौत की सजा को भारतीय संविधान के आर्टिकल 161 के तहत उम्रकैद में बदल दिया गया था। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने मामले के तीन अन्य दोषियों की भी मौत की सजा को उम्रकैद में बदल दिया था। स्टालिन ने कहा कि तमिलनाडु की ज्यादातर पार्टियों का मत है कि सभी 7 दोषियों की बाकी सजा को माफ कर दिया जाए। यह तमिलनाडु की जनता की भी इच्छा है।
स्टालिन ने यह भी कहा कि उन्होंने प्रदेश के राज्यपाल से भी इस संबंध में अनुरोध किया था। बाद में राज्यपाल महोदय ने फैसला दिया कि ऐसा करना पूरी तरह से राष्ट्रपति के अधिकार में है। इसलिए हम राज्य सरकार की इस सिफारिश को आपके (राष्ट्रपति) समक्ष रख रहे हैं। मामले के सातों दोषियों ने बीते तीन दशकों में भारी और अकथनीय कष्ट झेला है और अपने किए की भारी कीमत चुकाई है।
स्टालिन ने कहा कि कोरोना महामारी की मौजूदा परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए अदालतों ने जेलों में भीड़ कम करने की जरूरत पर भी ध्यान दिया है। ऐसे में मैं महामहिम राष्ट्रपति से आग्रह करता हूं कि वह राजीव गांधी हत्याकांड के सभी 7 दोषियों की रिहाई को लेकर प्रदेश सरकार की सिफारिश को स्वीकार करें।