‘स्कैम 2003: द तेलगी स्टोरी’ के गगन देव रियार की दो टूक- प्रतीक गांधी से तुलना का दबाव नहीं था h3>
‘सोन चिड़िया’ और ‘अ सूटेबल बॉय’ जैसे प्रॉजेक्ट में दिखे एक्टर गगन देव रियार इन दिनों चर्चा में हैं, सीरीज ‘स्कैम: द तेलगी स्टोरी’ को लेकर। इस सीरीज में स्टैंप पेपर घोटाले के मास्टर माइंड अब्दुल करीम तेलगी का किरदार निभाकर तारीफें बटोर रहें गगन से हमने की एक खास बातचीत, आइये जानते हैं कि उन्होंने क्या राज खोले हैं।
डायरेक्टर हंसल मेहता की साल 2020 में आई सीरीज ‘स्कैम 1992’ ने ओटीटी जगत में धमाल मचा दिया था। सीरीज को जमकर तारीफें मिली थीं और उतनी ही वाहवाही बटोरी थी, सीरीज में हर्षद मेहता का किरदार निभाने वाले एक्टर प्रतीक गांधी को। अब हंसल स्कैम की अगली कड़ी ‘द तेलगी स्टोरी’ लेकर आए हैं, जिसमें एक्टर गगन देव रियार अब्दुल करीम तेलगी की मुख्य भूमिका में हैं। ऐसे में, दोनों की तुलना होना लाजमी है। हालांकि, गगन को भी अपनी बेहतरीन एक्टिंग के लिए तारीफें भी मिल रही हैं, लेकिन गगन के मुताबिक, उन्होंने कभी भी ‘स्कैम 1992’ के हीरो प्रतीक गांधी से तुलना का दबाव महसूस नहीं किया।
प्रतीक गांधी से तुलना होने का नहीं था दबाव
Gagan Dev Riar कहते हैं, ‘बतौर एक्टर मैंने कभी इस चीज का दबाव नहीं लिया है कि कोई दूसरा एक्टर किस तरह का काम करता है, उल्टा उससे सीखने की कोशिश की है। प्रतीक गांधी बहुत ही बढ़िया एक्टर हैं। उन्होंने हर्षद मेहता का रोल बहुत ही बढ़िया किया था, लेकिन मैं अब्दुल करीम तेलगी के रोल में हूं। दोनों रोल अलग हैं, दोनों कहानियां अलग हैं, तो मैंने उसका कोई प्रेशर नहीं लिया। मैंने सिर्फ अपने काम पर फोकस किया।’
थिएटर मेरा पहला प्यार
गगन देव रियार
थिएटर में करीब डेढ़ दशक से सक्रिय गगन पर्दे पर ‘सोन चिड़िया’ और ‘अ सूटेबल बॉय’ जैसे इक्के-दुक्के प्रोजेक्ट में ही आए हैं। पर्दे पर कम काम करने के बाबत उन्होंने बताया, ‘मैं थिएटर बहुत करता हूं। मेरा पहला प्यार हमेशा थिएटर रहा है। ऐसे में, थिएटर और स्क्रीन में बैलेंस बनाना बहुत मुश्किल होता है। एक बार आपने थिएटर के लिए बुकिंग कर दी है, शो अनाउंस कर दिया है, तब कोई शूटिंग के लिए कहता है, तो मैनेज करना संभव नहीं होता। मैंने हमेशा थिएटर को तरजीह दी, इसलिए कई प्रोजेक्ट मेरे हाथ से निकले। स्कैम को भी मैनेज करना भी मेरे लिए बहुत चैलेंजिंग था। फिर, मैं सिलेक्टिव काम ही करता हूं। मैं एक समय में एक ही काम करता हूं।’
अब्दुल करीम तेलगी के ह्यूमन साइड को समझा
तेलगी एक बड़ा घोटालेबाज था, लेकिन गगन के मुताबिक, उन्होंने उसका ह्यूमन साइड समझने की कोशिश की। उसके नेगेटिव पक्ष के चक्कर में ज्यादा नहीं पड़े। ऐसा अक्सर होता है कि जब किसी नेगेटिव किरदार पर फिल्म या सीरीज बनती है, तो कहीं न कहीं उसे हीरो की तरह की पेश किया जाता है।
Interview: ‘स्कैम 2003’ के राइटर संजय सिंह ने सुनाई तेलगी से मुलाकात की कहानी, शीना बोरा केस पर बनेगी अगली सीरीज
‘कोई शैतान पैदा नहीं होता’
गगन देव रियार और प्रतीक गांधी
इस बारे में राय पूछने पर गगन का कहना था, ‘ऐसा जरूरी नहीं है। अब जो कर्म उसने किए हैं, जो घोटाला किया है वो तो बदल नहीं सकता, वो तो सच ही है। हमने ये दिखाया है कि ये स्कैम कैसे हुआ? उससे उसके परिवार और उस पर क्या असर पड़ा? वो सिर्फ वो दुनिया को ही बेवकूफ नहीं बना रहा, खुद को भी बना रहा है। दूसरे, कोई भी स्कैम एक इंसान अकेले नहीं करता। नाम सिर्फ उसका आता है, पर और भी लोग उसमें इन्वॉल्व थे। हो सकता है कि लोग उससे इंप्रेस हों, लेकिन कोई इंसान पूरी तरह गलत नहीं होता। आप किसी को एक ही पहलू से नहीं देख सकते। वो भी एक इंसान ही था, कोई शैतान नहीं था कि उसको गलत ही मानना चाहिए। बाकी दर्शक खुद फैसला कर सकते हैं।’
डायरेक्टर हंसल मेहता की साल 2020 में आई सीरीज ‘स्कैम 1992’ ने ओटीटी जगत में धमाल मचा दिया था। सीरीज को जमकर तारीफें मिली थीं और उतनी ही वाहवाही बटोरी थी, सीरीज में हर्षद मेहता का किरदार निभाने वाले एक्टर प्रतीक गांधी को। अब हंसल स्कैम की अगली कड़ी ‘द तेलगी स्टोरी’ लेकर आए हैं, जिसमें एक्टर गगन देव रियार अब्दुल करीम तेलगी की मुख्य भूमिका में हैं। ऐसे में, दोनों की तुलना होना लाजमी है। हालांकि, गगन को भी अपनी बेहतरीन एक्टिंग के लिए तारीफें भी मिल रही हैं, लेकिन गगन के मुताबिक, उन्होंने कभी भी ‘स्कैम 1992’ के हीरो प्रतीक गांधी से तुलना का दबाव महसूस नहीं किया।
प्रतीक गांधी से तुलना होने का नहीं था दबाव
Gagan Dev Riar कहते हैं, ‘बतौर एक्टर मैंने कभी इस चीज का दबाव नहीं लिया है कि कोई दूसरा एक्टर किस तरह का काम करता है, उल्टा उससे सीखने की कोशिश की है। प्रतीक गांधी बहुत ही बढ़िया एक्टर हैं। उन्होंने हर्षद मेहता का रोल बहुत ही बढ़िया किया था, लेकिन मैं अब्दुल करीम तेलगी के रोल में हूं। दोनों रोल अलग हैं, दोनों कहानियां अलग हैं, तो मैंने उसका कोई प्रेशर नहीं लिया। मैंने सिर्फ अपने काम पर फोकस किया।’
थिएटर मेरा पहला प्यार
गगन देव रियार
थिएटर में करीब डेढ़ दशक से सक्रिय गगन पर्दे पर ‘सोन चिड़िया’ और ‘अ सूटेबल बॉय’ जैसे इक्के-दुक्के प्रोजेक्ट में ही आए हैं। पर्दे पर कम काम करने के बाबत उन्होंने बताया, ‘मैं थिएटर बहुत करता हूं। मेरा पहला प्यार हमेशा थिएटर रहा है। ऐसे में, थिएटर और स्क्रीन में बैलेंस बनाना बहुत मुश्किल होता है। एक बार आपने थिएटर के लिए बुकिंग कर दी है, शो अनाउंस कर दिया है, तब कोई शूटिंग के लिए कहता है, तो मैनेज करना संभव नहीं होता। मैंने हमेशा थिएटर को तरजीह दी, इसलिए कई प्रोजेक्ट मेरे हाथ से निकले। स्कैम को भी मैनेज करना भी मेरे लिए बहुत चैलेंजिंग था। फिर, मैं सिलेक्टिव काम ही करता हूं। मैं एक समय में एक ही काम करता हूं।’
अब्दुल करीम तेलगी के ह्यूमन साइड को समझा
तेलगी एक बड़ा घोटालेबाज था, लेकिन गगन के मुताबिक, उन्होंने उसका ह्यूमन साइड समझने की कोशिश की। उसके नेगेटिव पक्ष के चक्कर में ज्यादा नहीं पड़े। ऐसा अक्सर होता है कि जब किसी नेगेटिव किरदार पर फिल्म या सीरीज बनती है, तो कहीं न कहीं उसे हीरो की तरह की पेश किया जाता है।
Interview: ‘स्कैम 2003’ के राइटर संजय सिंह ने सुनाई तेलगी से मुलाकात की कहानी, शीना बोरा केस पर बनेगी अगली सीरीज
‘कोई शैतान पैदा नहीं होता’
गगन देव रियार और प्रतीक गांधी
इस बारे में राय पूछने पर गगन का कहना था, ‘ऐसा जरूरी नहीं है। अब जो कर्म उसने किए हैं, जो घोटाला किया है वो तो बदल नहीं सकता, वो तो सच ही है। हमने ये दिखाया है कि ये स्कैम कैसे हुआ? उससे उसके परिवार और उस पर क्या असर पड़ा? वो सिर्फ वो दुनिया को ही बेवकूफ नहीं बना रहा, खुद को भी बना रहा है। दूसरे, कोई भी स्कैम एक इंसान अकेले नहीं करता। नाम सिर्फ उसका आता है, पर और भी लोग उसमें इन्वॉल्व थे। हो सकता है कि लोग उससे इंप्रेस हों, लेकिन कोई इंसान पूरी तरह गलत नहीं होता। आप किसी को एक ही पहलू से नहीं देख सकते। वो भी एक इंसान ही था, कोई शैतान नहीं था कि उसको गलत ही मानना चाहिए। बाकी दर्शक खुद फैसला कर सकते हैं।’