सीसीएसयू में संघ पर सवाल, कट्टरपंथी-आतंकी संगठनों से जोड़ा नाम: दूसरे सवाल में बताया राजनीति का उदय, प्रश्न पत्र बनाने वाली एचओडी डिबार – Meerut News

15
सीसीएसयू में संघ पर सवाल, कट्टरपंथी-आतंकी संगठनों से जोड़ा नाम:  दूसरे सवाल में बताया राजनीति का उदय, प्रश्न पत्र बनाने वाली एचओडी डिबार – Meerut News

सीसीएसयू में संघ पर सवाल, कट्टरपंथी-आतंकी संगठनों से जोड़ा नाम: दूसरे सवाल में बताया राजनीति का उदय, प्रश्न पत्र बनाने वाली एचओडी डिबार – Meerut News

मेरठ की सीसीएसयू यूनिवर्सिटी के एमए राजनीति विज्ञान के पेपर में आए दो प्रश्नों पर बवाल मच गया है। एबीवीपी का कहना है कि दोनों पश्नों में आरएसएस पर सवाल उठाए गए हैं। एबीवीपी के पदाधिकारियों ने शुक्रवार को इस पर विरोध जताते हुए प्रश्न पत्र बनाने वाले श

.

शुक्रवार शाम को इस मामले में कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला ने प्रश्न पत्र तैयार करने वाली एचओडी प्रो. सीमा पंवार से जवाब मांगा। प्रो. सीमा पंवार ने कहा कि उनकी मंशा किसी को दुख पहुंचाना नहीं था। वे अपनी गलती मानती हैं। कुलपति ने उनको हमेशा के लिए परीक्षा और मूल्यांकन कार्यों से डिबार कर दिया है। प्रो. सीमा पंवार राष्ट्रीय कवि हरिओम पंवार के भाई की पत्नी हैं।

सीसीएसयू कैंपस और कॉलेजों में आजकल परीक्षाएं चल रही हैं। 2 अप्रैल को कॉलेजों में एमए राजनीति विज्ञान का पेपर था। इस पेपर में दो सवालों पर बवाल मच गया। प्रश्न पत्र में 87वें नंबर पर एक सवाल पूछा गया। इसमें प्रश्न था कि निम्न में से किसे परमाणु समूह नहीं माना जाएगा। इसके उत्तर के चार विकल्प दिए गए थे। इनमें नक्सली समूह, जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट, राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और दल खालसा के नाम दिए गए।

प्रश्न 87 में ये पूछा गया सवाल।

दूसरा प्रश्न 93 नंबर पर पूछा गया। इसमें लिखा था कि सुमेल कीजिए। इसके उत्तर में विकल्प दिए गए कि पिछड़ों की राजनीत का उदय, शिवसेना, दलितों की राजनीति का उदय, राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ, धार्मिक एवं जातीय पहचान राजनीति का उदय, बहुजन समाज पार्टी, क्षेत्रीय पहचान की राजनीति का उदय और मंडल आयोग।

इसके अलावा प्रश्न 87 में RSS को कट्टरपंथी-आतंकी संगठनों के साथ जोड़ने पर विरोध हुआ। इन दोनों प्रश्नों पर शुक्रवार को एबीवीपी के पदाधिकारियों ने विरोध जता दिया।

प्रश्न 93 में ये पूछा गया सवाल।

एबीवीपी कार्यकर्ताओं ने एमए (व्यक्तिगत) राजनीतिक विज्ञान की कोड संख्या G-471 की वार्षिक परीक्षा के बहुविकल्पीय प्रश्न पत्र में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संदर्भ में तथ्यहीन व अनुचित प्रश्न पूछे जाने पर चौ. चरण सिंह विश्वविद्यालय में कुल्रसचिव का घेराव करते हुए ज्ञापन दिया। बताया कि 2 अप्रैल 2025 को राजनीति विज्ञान की अंतिम वर्ष की परीक्षा में प्रश्न क्रमांक 93 में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को एक धार्मिक एवं जातीय राजनीति के विचार के उदय का कारण होने का विकल्प उपलब्ध कराया गया। कार्यकर्ताओं ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ लगभग 100 वर्षों से एक अराजनीतिक, सामाजिक, संस्कृतिक, राष्ट्रीय एकता व समानता के आधार पर राष्ट्रीय हित में समर्पण करने वाला संगठन है। ऐसे तथ्यहीन, अनुचित प्रश्न को पूछा जाना परीक्षक की राष्ट्र-विरोधी मानसिकता को दर्शाते हुए विद्यार्थियों के मध्य संघ की छवि को खराब करने व एक गलत नैरेटिव प्रस्तुत करने का काम किया। विद्यार्थी परिषद के बढ़ते हुए हंगामा को देखते हुए विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा तुरंत कार्रवाई में परीक्षक से स्पष्टीकरण मांगते हुए परीक्षा से डिबार करने का पत्र जारी कर दिया गया। ज्ञापन देने वालों में विकास गोला, आर्य, अनुज बैसला, अनुभव, मोहित, वरुण राणा, हर्ष ठाकुर, शिवम गुप्ता, अंश परिवार आदि मौजूद रहे।

विद्यार्थियों को भ्रमित न करते हुए सही प्रश्न पूछा जाना परीक्षक का दायित्व

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के महानगर अध्यक्ष डॉ. धर्मेंद्र सिंह

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के महानगर अध्यक्ष डॉ. धर्मेंद्र सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का कार्य व्यक्ति निर्माण से राष्ट्र निर्माण का है। यह संगठन भारतीय संस्कृति और नागरिक समाज के मूल्यों को बनाए रखने के आदर्शों को बढ़ावा देता है। परीक्षकों द्वारा प्रश्न पत्र तैयार करते समय सभी तथ्यों को ध्यान में रखकर ही कार्य करना चाहिए। विद्यार्थियों को भ्रमित न करते हुए सही प्रश्न पूछा जाना एक परीक्षक का दायित्व है।

हमेशा के लिए परीक्षा और मूल्यांकन कार्यों से किया डिबार

सीसीएसयू के रजिस्ट्रार धीरेंद्र कुमार वर्मा का कहना है कि प्रश्न पत्र बनाने वाली शिक्षिका को कुलपति ने हमेशा के लिए परीक्षा और मूल्यांकन कार्यों से डिबार कर दिया है। शिक्षिका ने इसके लिए गलती मानी है।

|

​​​​

उत्तर प्रदेश की और खबर देखने के लिए यहाँ क्लिक करे – Uttar Pradesh News