लखनऊ में 4 बार ट्रेन पलटाने की साजिश: पहले रॉड-लकड़ी रखा और अब लोहे का दरवाजा, 5 संदिग्ध पुलिस की रडार पर – Lucknow News

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लखनऊ में 4 बार ट्रेन पलटाने की साजिश:  पहले रॉड-लकड़ी रखा और अब लोहे का दरवाजा, 5 संदिग्ध पुलिस की रडार पर – Lucknow News

लखनऊ में 4 बार ट्रेन पलटाने की साजिश: पहले रॉड-लकड़ी रखा और अब लोहे का दरवाजा, 5 संदिग्ध पुलिस की रडार पर – Lucknow News

“लोहे का दरवाजा इतना बड़ा था कि बड़ी घटना हो सकती थी। ट्रैक के बीचों बीच दरवाजा रखा गया था। बड़ी बात यह है कि उस समय कोई सवारी गाड़ी नहीं थी, वरना बड़ी दुर्घटना हो जाती।कई लोगों को जान से हाथ धोना पड़ता।”

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यह कहना है लखनऊ-दिल्ली रेलवे लाइन के इंजीनियरिंग गेट नंबर 199C पर तैनात गेटमैन विशाल कुमार का। विशाल ने बताया कि ट्रैक पर सोमवार की रात लगभग 3 से 4 बजे के बीच लोहे का दरवाजा रखा गया था। उस समय मेरी ड्यूटी रात में नहीं थी। अभिषेक कुमार की थी। उस समय एक मालगाड़ी उस ट्रैक से गुजर रही थी। ड्राइवर ने देखा कि ट्रैक पर लोहे का दरवाजा रखा है। उसने इमरजेंसी ब्रेक लगाई। ब्रेक लगाते-लगाते गाड़ी दरवाजे पर चढ़ गई।

लखनऊ मुख्यालय से लगभग 35 किलो मीटर दूर चौधरी खेड़ा गांव के पास सोमवार की रात ट्रेन पलटाने की साजिश की गई। बक्कास उतरेठिया स्टेशन के पास रेलवे ट्रैक पर लोहे का दरवाजा रखा गया। पटरियों में लगने वाली क्लिप भी निकली हुई थी। हफ्ते भर के भीतर यह दूसरी घटना है, जो लखनऊ के इस रूट पर हुई है। महीने भर की बात करें, तो यह चौथी घटना है।

इंजीनियरिंग गेट नंबर 199C पर तैनात विशाल कुमार।

दैनिक NEWS4SOCIALटीम लखनऊ से 35 किमी दूर उस जगह पहुंची, जहां रेलवे ट्रैक पर लोहे का दरवाजा रखा गया था। घटना की पड़ताल की। लोगों से बातचीत की। पढ़िए पूरी रिपोर्ट…

मंगलवार की सुबह 3:42 मिनट पर बख्शी का तालाब और उटरिया स्टेशन के बीच डाउन लाइन के किलोमीटर संख्या 1039/12-14 के बीच रेलवे ट्रैक से मालगाड़ी गुजर रही थी। मालगाड़ी के ड्राइवर ने देखा कि उतरेठिया स्टेशन से 3 किमी आगे चौधरी खेड़ा के पास के ट्रैक पर एक लोहे का दरवाजा रखा है। ड्राइवर ने इमरजेंसी ब्रेक लगाकर ट्रेन को रोक दिया। उसके बाद इसकी सूचना उतरेठिया स्टेशन मास्टर को दी। सूचना पर आरपीएफ के जवानों के साथ रेलवे अधिकारी मौके पर पहुंचे। गेट को हटाकर ट्रेन को रवाना किया।

गेट नंबर 199C से आधा किलोमीटर दूर ट्रैक पर रखा गया था लोहे का दरवाजा।

मालगाड़ी के ड्राइवर ने फोन करके सूचना दी

दैनिक NEWS4SOCIALकी टीम जब चौधरी खेड़ा गांव के पास स्थित उसे जगह पर पहुंची जहां पर लोहे का दरवाजा रख के ट्रेन को पलटाने की कोशिश की गई थी। तब देखा कि रेलवे ट्रैक के एक तरफ डामर रोड है और दूसरी तरफ ट्रैक के बगल में ही गांव है। गांव यादव बाहुल्य है। वहां की आबादी लगभग 2000 है।

यूटीआर इंचार्ज अनिल कुमार पांडेय ने बताया कि मंगलवार सुबह 3:42 बजे उतरेठिया रेलवे स्टेशन से मालगाड़ी गुजरी। थोड़ी देर बाद मालगाड़ी के ड्राइवर ने फोन करके सूचना दी कि ट्रैक पर लोहे का गेट रखा है।

सूचना पर वह अपने साथ गैंगमैन दुर्गेश कुमार के साथ मौके पर पहुंचे। घटनास्थल का निरीक्षण किया। ट्रैक पर लोहे का गेट रखा था। मालगाड़ी संख्या DN-CGS के ट्रेन मैनेजर मनीष त्रिपाठी और गेट नंबर 199C पर तैनात गेटमैन अभिषेक कुमार की सहायता से दरवाजा ट्रैक से हटाया गया।

गेटमैन बोला- पुलिस ने सबसे पूछताछ की

सबसे पहले हमने क्रॉसिंग नंबर इंजीनियरिंग 199C पर ड्यूटी में लगे विशाल कुमार से बात की। विशाल की ड्यूटी सुबह की होती है। मंगलवार की सुबह जब विशाल अपनी ड्यूटी पर आए, तो उस समय आरपीएफ, पुलिस और इंटेलिजेंस के लोग रेलवे ट्रैक की तरफ गश्त कर लोगों से पूछताछ कर रहे थे।

विश्वनाथ बोले – कभी ऐसा कुछ नहीं हुआ।

चौधरी खेड़ा निवासी विश्वनाथ बोले – इससे पहले कभी घटना नहीं हुई

विश्वनाथ यादव ने बताया कि हमारी पूरी उम्र इसी गांव में बीत गई। हम यही चौधरी खेड़ा के ही रहने वाले हैं। जब यह घटना हुई तो रात को हम सो रहे थे। अगले दिन सुबह जब पुलिस आई, तो हम लोग को पता चला कि इस तरह की घटना हुई है। पुलिस ने बताया कि रेलवे ट्रैक पर दरवाजा रखा गया था। पता नहीं किसने रखा और कौन ले जा रहा था, यह नहीं जानते हैं। यहां पर इससे पहले कभी कोई घटना नहीं हुई है।

चौधरी खेड़ा गांव के निवासी सत्य प्रकाश ने दी जानकारी।

पुलिस ने आसपास के सीसीटीवी कैमरा को भी तलाशा

वही रेलवे ट्रैक के के बगल में आम के बगीचे में बैठे सत्य प्रकाश से जब हमने इस घटना को लेकर पूछा, तो उन्होंने बताया कि हम चौधरी खेड़ा के ही रहने वाले हैं। यहां पर पुलिस की टीम आई थी। हम लोगों से पूछताछ की। यहां पर लगे सीसीटीवी कैमरे को भी देखा। पुलिस वालों ने हमसे बस इतना ही पूछा कि यहां से कौन आदमी आया था? कौन यहां से गया था? सीसीटीवी कैमरा देख रहे थे। आज से पहले कभी इस तरह की कोई घटना नहीं हुई और ना ही कोई अनजान व्यक्ति नजर आया।

रेलवे यूटीआर इंचार्ज बोले – मालगाड़ी गुजरने के कारण दरवाजा टूट गया था

रेलवे यूटीआर इंचार्ज अनिल कुमार पांडेय ने बताया कि अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ सुशांत गोल्फ सिटी थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाई है। FIR में यह लिखवाया कि किस तरीके से एक बड़ी साजिश रची गई थी।

अनिल कुमार पांडेय से जब हमने फोन पर बात की, तो उन्होंने बताया कि जैसे ही मालगाड़ी के ड्राइवर ने हमें सूचना दी, हम वहां पहुंचे। तब तक एक ट्रेन (DN-CGS) वहां से गुजर चुकी थी और ट्रैक के ऊपर से पेंड्रोल क्लिप भी निकली थी। गाड़ी गुजरने के कारण दरवाजा टूट गया था। उसके टुकड़े अप और डाउन लाइन के बीच और डाउन लाइन के उत्तरी छोर पर बिखरे थे।

सुनसान जगह के बीच में रखा गया था लोहे का दरवाजा।

सुनसान जगह है, मुख्य मार्ग से तकरीबन साढ़े किलोमीटर अंदर

हम लखनऊ-दिल्ली रेलवे ट्रैक पर स्थित पोल नंबर 1039/12-14 पर पहुंचे। यही वह स्पॉट है, जहां ट्रेन को की साजिश रची गई। इस स्पॉट पर पहुंचकर दो बातें साफ हो गईं। पहली- यहां इतनी रात मे चौधरी खेड़ा गांव वालों के अलावा यूं ही किसी के आने का ताल्लुक नहीं दिखता। दूसरी – साजिश रचने वाले को इस ट्रैक से गुजरने वाली सभी गाड़ियों की जानकारी मालूम थी।

दरअसल, यह स्पाट एकदम सुनसान जगह पर है। पास में एक तरफ कुछ दूरी पर बाग है, दूसरी ओर सुनसान सड़क है। जहां पर रात की बात तो छोड़िए दिन में भी कोई नजर नहीं आता है। इस जगह तक पहुंचने के लिए अपने साधन का इस्तेमाल किया ज सकता है। इससे साफ है कि साजिशकर्ताओं ने पूरी प्लानिंग के तहत से घटना को अंजाम देने की कोशिश की।

डीसीपी साउथ निपुण अग्रवाल ने घटना के बारे में जानकारी दी।

5 संदिग्धों की मिली जानकारी

डीसीपी साउथ निपुण अग्रवाल ने बताया कि पुलिस आफ और इंटेलीजेंस की टीम ने दरवाजा रखे जाने की जांच की है। आसपास के लोगों से पूछताछ की गई है। 5 संदिग्धों के बारे में जानकारी मिली है। इंटेलिजेंस की टीम के साथ ही हमारी पूरी टीम तलाश कर रही है। जल्द ही वह हमारे गिरफ्त में होंगे।

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