राहुल गांधी के सदन से निष्कासन का षड़यंत्र पहले ही रच लिया गया था, कोर्ट का नतीजा तो एक बहाना है,जानिए अशोक गहलोत ने और क्या कहा…
PM मोदी और मोहन भागवत ने बढ़ाई अमृतपाल की हिम्मत ! अशोक गहलोत ने कहा धर्म के नाम पर लोगों को खुश करना आसान
पहले सुनवाई रोकना और फिर विड्रो करना, षड़यंत्र ही तो है
अशोक गहलोत ने कहा कि कर्नाटक में राहुल गांधी ने नीरव मोदी और ललित मोदी के साथ नरेन्द्र मोदी का नाम लेकर जो बयान दिया। उस बयान के दो साल बाद गुजरात के एक विधायक ने राहुल गांधी के खिलाफ केस दर्ज करा दिया। जब कोर्ट में सुनवाई चल रही थी तो फैसला आने से पहले ही केस दर्ज कराने वाले सुनवाई रोकने की अर्जी लगा दी थी। फिर उस अर्जी को वापस विड्रो कर लिया और जिससे फैसला देने की छूट मिल गई। जब सूरत कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया तो राहुल गांधी को अधिकतम सजा दी गई जो कि दो साल की जेल होती है। देश के इतिहास में आज तक मानहानि के किसी केस में किसी भी व्यक्ति को दो साल की जेल नहीं हुई। अशोक गहलोत ने कहा कि कोर्ट द्वारा न्यूनतम के स्थान पर अधिकतम सजा देना और उसके अगले ही दिन संसद द्वारा राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता रद्द करना षड़यंत्र नहीं तो और क्या है।
रामनवमी पर करंट से झुलसे अखाड़ेबाजों की मौत को लेकर चक्का जाम,जुलुस की परमिशन फिर भी लाइट बंद नहीं की गई
बोलने देते ही नहीं और कह रहे हैं कि माफी मांगो
अशोक गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी जब सदन में बोलते हैं तो उनका माइक म्यूट कर दिया जाता है। पिछले दिनों लंदन में उन्होंने इस बारे में ये बातें कही कि उन्होंने बोलने नहीं दिया जाता तो बीजेपी ने हंगामा मचा दिया। संसद में सत्ता पक्ष लगातार यह कहते हुए सदन नहीं चलने दे रहे कि राहुल गांधी माफी मांगे। गहलोत ने कहा कि सदन में राहुल गांधी को पहले बोलने तो देते। उन पर लगे आरोपों का वे जवाब देते। लेकिन सत्ता पक्ष के सदस्य राहुल गांधी का जवाब सुनना ही नहीं चाहते और माफी मांगो, माफी मांगो करते हुए चिल्ला रहे हैं। इससे साफ जाहिर होता है कि राहुल गांधी के खिलाफ केन्द्र सरकार ने पूरा षड़यंत्र पहले ही रच दिया था। एक तरफ तो राहुल गांधी पर आरोप लगाए जा रहे हैं और दूसरी तरफ उनका जवाब सुनने को तैयार नहीं हो रहे। यह षड़यंत्र नहीं तो और क्या है।
Ashok Gehlot on Right to health: राजस्थान की मेडिकल सुविधाओं का जिक्र कर गहलोत ने विरोधियों को क्या संदेश दिया?
बीजेपी हमारी चिंता क्यों कर रही है – गहलोत
मानहानि के मामले में सूरत की कोर्ट ने 23 मार्च को राहुल गांधी को दोषी ठहराते हुए दो साल की सजा सुनाई थी। एक सप्ताह बाद भी कांग्रेस ने इस सजा के खिलाफ ऊपरी अदालत में अपील नहीं की। इसे लेकर बीजेपी के नेता सवाल उठा रहे हैं कि कांग्रेस इस फैसले को चुनौती क्यों नहीं देती। इस सवाल पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि हमारी चिंता बीजेपी क्यों कर रही है। कांग्रेस को क्या करना है, यह कांग्रेस तय कर लेगी। गहलोत ने कहा कि सूरत कोर्ट का फैसला गुजराती भाषा में है और करीब 200 पेज का है। कांग्रेस की लीगल टीम उसका एग्जामिन करके आगे की कार्रवाई करेगी। रिपोर्ट – रामस्वरूप लामरोड़
Rajsamand News: आमेट में दिखा पैंथर का मूवमेंट