पत्रिका स्पेशल: यूपी के 20 जिलों में बाढ़ का अलर्ट, गंगा यमुना और सरयू खतरे के निशाने पर, लाखों लोग होंगे बेघर | Flood Alert in UP Ganga Yamuna Saryu Increasing danger zone | Patrika News

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पत्रिका स्पेशल: यूपी के 20 जिलों में बाढ़ का अलर्ट, गंगा यमुना और सरयू खतरे के निशाने पर, लाखों लोग होंगे बेघर | Flood Alert in UP Ganga Yamuna Saryu Increasing danger zone | Patrika News

पत्रिका स्पेशल: यूपी के 20 जिलों में बाढ़ का अलर्ट, गंगा यमुना और सरयू खतरे के निशाने पर, लाखों लोग होंगे बेघर | Flood Alert in UP Ganga Yamuna Saryu Increasing danger zone | Patrika News

कानपुर बैराज से छोड़ा जा रहा पानी उत्तराखंड में वर्षा के चलते नरोरा बांध से 45 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। कानपुर बैराज में भी जल छोड़ा जा रहा है। इससे गंगा का जलस्तर आने वाले दिनों में बढ़ने की संभावना जताई गई है। इसको लेकर नदियों के तटीय इलाकों में अलर्ट जारी कर दिया गया है। सिंचाई विभाग बाढ़ खंड के अधिशासी अभियंता बृजेश कुमार ने बताया कि नदियों के किनारे वाले क्षेत्रों में सतर्कता के निर्देश दे दिए गए हैं। बंधों की निगरानी भी कराई जा रही है। शनिवार को गंगा का जल स्तर सात सेमी और यमुना का जल स्तर 23 सेमी बढ़ा है। आने वाले दिनों में जलस्तर और भी बढ़ने की संभावना है।

प्रयागराज में जलस्तर बढ़ने की संभावना प्रयागराज में बाढ़ का खतरा तेजी से उत्पन्न हो रहा है। गंगा-यमुना का पानी तेजी से बढ़ रहा है। दरअसल, मध्य प्रदेश में अधिक वर्षा होने से वहां कई क्षेत्रों में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। इसके कारण केन और बेतवा नदियों पर बने बांधों से लगातार पानी छोड़ा जा रहा है। बेतवा नदी पर बने माताटीला बांध से 30 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। केन नदी के बांध से भी 20 हजार क्यूसेक पानी छोड़ दिया गया है। केन और बेतवा यमुना नदी में मिलती हैं। इसलिए इन नदियों के पानी से यमुना का जलस्‍तर बढ़ने की संभावना जताई गई है।

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खतरे के निशान के बेहद करीब पहुंचा जलस्तर गंगा और यमुना नदी में बढ़ते जलस्तर की वजह से जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर दिया है। प्रभावित क्षेत्रों में आपदा प्रबंधन टीमों को सक्रिय रहने के लिए कहा गया है। इसके साथ ही बाढ़ चौकियों के माध्यम से 24 घंटे दोनों नदियों के जलस्तर की निगरानी की जा रही है। गंगा का जलस्तर फिलहाल 177.46 है, जबकि खतरे का निशान का मीटर 178.78 है। इसी तरह यमुना का जलस्तर 195.56 है, जबकि खतरे के निशान का मीटर 200.60 है।

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घाघरा नदी के बाढ़ से डरे लोग बाराबंकी के गोंडा और बहराइच से बहने वाली घाघरा नदी का पानी पिछले कुछ दिनों में लगातार बढ़ने लगा। नदी का जलस्तर बढ़ने से लोग ऊंचे स्थानों की ओर पलायन करने को मजबूर हुए। वहीं, बाढ़ की समस्या को देखते हुए क्षतिग्रस्त बंधों को दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए हैं।

बिहार में बाढ़ ने दी दस्तक बिहार में नदियों के जलस्तर में उतार-चढ़ाव जारी है। लेकिन कोसी सीमांचल के कई जिले बाढ़ की तबाही को झेलने के लिए मजबूर हैं। किशनगंज में 6 से अधिक सड़क व दो पुल का एप्रोच ध्वस्त हो गया है। अररिया व किशनगंज में 4 दर्जन से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में आए हैं।

महाराष्ट्र के 28 जिलों में तबाही भारी बारिश से महाराष्ट्र की स्थिति खराब है। वहां के कई जिलों में बाढ़ की स्थिति बनी हुई है। महाराष्ट्र के कुल 28 जिले भारी बारिश के चलते बाढ़ से प्रभावित हैं। इनमें पुणे, सतारा, नासिक, सोलापुर, जलगांव, अहमदनगर, बीड़, लातूर, वाशिम, यवतमाल, धुले, जालना, अकोला, बुलढाणा, भंडारा, नागपुर, नंदुरबार, मुंबई उपनगर, पालघर, ठाणे, नांदेड़, अमरावती, वर्धा, रत्नागिरी, सिंधुदुर्ग, गढ़चिरौली, सांगली, चंद्रपुर जिले शामिल हैं।

गुजरात में नहीं थमा बाढ़-बारिश का कहर गुजरात में कुछ दिनों की राहत के बाद मनसून फिर आफत बनकर बरसा है। डांग और अरावली में भारी बारिश के बाद एक बार फिर बाढ़ के हालात हैं। गुजरात के बनासकांठा जिले में मूसलाधार बारिश से दांता के पास नदी में आए उफान से एक युवक की जान जोखिम में फंस गई। नडीयाद के बस स्टेशन में भी बरसात से जलभराव होने से मुसाफिर परेशान रहे। पिछले दो-तीन दिनों से बारिश रुकी हुई थी लेकिन मंगलवार फिर कई इलाकों में भारी बारिश ने जन जीवन को अस्तव्यस्त कर दिया।



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