ऑफिस से काम करने वाले कर्मचारियों को सता रही WFH की याद!

139
ऑफिस से काम करने वाले कर्मचारियों को सता रही WFH की याद!

ऑफिस से काम करने वाले कर्मचारियों को सता रही WFH की याद!

नई दिल्ली: कोरोना महामारी (Covid-19 pandemic) के मामलों में कमी के साथ ही कंपनियों के ऑफिस फिर से खुल गए हैं। लेकिन करीब दो साल घर में रहकर काम करने वाले लोगों को अब ऑफिस रास नहीं आ रहा है। उन्हें रह-रहकर घर की याद आ रही है। एक स्टडी के मुताबिक वर्क फ्रॉम होम जॉब्स के एप्लिकेशन में मार्च में पिछले महीने की तुलना में 100 फीसदी से ज्यादा तेजी आई है। हालांकि फरवरी में वर्क फ्रॉम होम जॉब्स के लिए पोस्टिंग्स 141 फीसदी से घटकर 69 फीसदी रह गई है।

ग्लोबल एम्प्लॉयमेंट प्लेटफॉर्म मॉन्स्टर (Monster) के वर्क फ्रॉम होम जॉब ट्रेंड्स के डेटा के मुताबिक अधिकांश कंपनियों ने हाइब्रिड मॉडल अपनाया है। यानी कंपनी के कुछ कर्मचारी घर से और कुछ ऑफिस से काम कर रहे हैं। लेकिन अब भी ऐसे वर्कर्स की बड़ी संख्या है जो घर से काम करना चाहते हैं। कोरोना काल में अधिकांश कंपनियों के कर्मचारियों ने करीब दो साल तक घर से काम किया था और उन्हें अब यह मॉडल रास आ गया है। Monster.com के सीईओ शेखर गरीसा ने कहा कि इस संदर्भ में क्रांतिकारी बदलाव आया है। आज अगर कर्मचारी ऑनसाइट वर्क चूज कर रहे हैं तो इसके कई कारण हैं। इस व्यवस्था ने उनको एक तरह से काम करने की आजादी दी है। इससे उनकी प्रॉडक्टिविटी बढ़ी है और वे अपने काम को लेकर ज्यादा संतुष्ट हैं।

हाइब्रिड मॉडल
डेटा के मुताबिक जनवरी, 2022 में वर्क फ्रॉम होम जॉब एप्लिकेशंस में 137 फीसदी इजाफा हुआ था जो मार्च में घटकर 103 फीसदी रह गया। लेकिन वर्क फ्रॉम होम के लिए जॉब ट्रेंड्स में बदलाव कई दूसरे कारणों पर भी निर्भर है। गरीसा ने कहा कि अधिकांश वर्कर्स घर से काम करना चाहते हैं लेकिन कंपनियों के लिए हाइब्रिड मॉडल ज्यादा मुफीद लगता है। कई कंपनियों ने हाइब्रिड वर्क कल्चर अपनाया है जो भविष्य का ट्रेंड बनकर उभरा है।

कोविड के मामलों में गिरावट को देखते हुए हिंदुस्तान युनिलीवर (Hindustan Unilever) ने हाइब्रिड कल्चर अपनाया है। कंपनी के एक प्रवक्ता ने कहा कि हमने अपने लोगों को हफ्ते में कम से कम तीन दिन ऑफिस आने को कहा है। हमें इसका अच्छा रिस्पॉन्स मिला है। जिन लोगों को ऑफिस आने में दिक्कत है, उनके पास घर से काम करने का विकल्प है।

WFH: चंडीगढ़, जयपुर जैसे छोटे शहरों तक पहुंच रही हैं मोटी सैलरी वाली जॉब, आपके लिए भी बन सकते हैं मौके, जानिए क्या है वजह?
फायदे और नुकसान
एसेसमेंट टेक्नोलॉजी प्रोवाइडर Mercer-Mettl के सीईओ सिद्धार्थ गुप्ता ने कहा कि ऑफिस जाने से क्रिएटिविटी बढ़ती है जबकि घर के काम करने से समय बचता है। इसी तरह घर में आप किसी विषय के बारे में गहराई से सोच सकते हैं जबकि ऑफिस में ऐसा माहौल नहीं है। इस तरह दोनों के अपने फायदे और नुकसान हैं। कई कंपनियों ने अब भी अपने कर्मचारियों को कहीं से भी काम करने का विकल्प दे रखा है। ट्रेवल टेक फर्म Sabre भी उनमें शामिल है। कंपनी ने एक ग्लोबल डब्ल्यूएफए प्रोग्राम शुरू किया है जिससे कर्मचारी अपनी पसंद की जगह से काम कर सकते हैं।

कारोबार जगत के 20 से अधिक सेक्टर से जुड़े बेहतरीन आर्टिकल और उद्योग से जुड़ी गहन जानकारी के लिए आप इकनॉमिक टाइम्स की स्टोरीज पढ़ सकते हैं। इकनॉमिक टाइम्स की ज्ञानवर्धक जानकारी पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।

राजनीति की और खबर देखने के लिए यहाँ क्लिक करे – राजनीति
News