क्यों है भगवान राम का रंग नीला और कृष्ण का रंग काला?

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क्यों है भगवान राम का रंग नीला और कृष्ण का रंग काला?

जिन भगवानो  पर आप को इतनी श्रद्धा है, इतना विश्वास है क्या उनके रंग रूप के बारे में कभी आप ने विचारा किया है? वैसे माना जाता है भगवान को किसी ने नहीं देखा है मगर भगवान का जो रंग रूप हमारे धर्म से हमे जानने को मिला है वो ऐसा क्यों है? उनके रंग में इतनी विषमता क्यों है? आइए जानते है क्यों है भगवान राम का रंग नीला और कृष्ण का रंग काला ?

भगवान श्रीराम का जन्म दिन में हुआ था, जबकि भगवान श्रीकृष्ण का जन्म आधी रात के समय हुआ था। दिन में आसमान का रंग नीला होता है और रात में काला हमारे ऋषि-मुनियों और विद्वानों ने दोनों ही परिस्थितियों में भगवान को आकाश के रंग से प्रतीकात्मक तरीके से दर्शाने के लिए काले और नीले रंग का बताया है।

हिन्दू धर्म अनुसार नीला रंग आत्मा का मूल रंग माना जाता है। कहते हैं कि जब कोई जल ज्यादा गहराई लिए हुए हो तो वह नीला दिखाई देने लगता है। नीलवर्ण विशाल, व्यापकता और अनन्तता का द्योतक है। आकाश का रंग नीला है, वैसे ही अनन्त महासागर का रंग भी नीला है।

कुछ विद्वान तर्क देते हैं कि राम के नीले वर्ण और कृष्ण के काले रंग के पीछे एक दार्शनिक रहस्य है। भगवानों का यह रंग उनके व्यक्तित्व को दर्शाता है। दरअसल इसके पीछे भाव है कि भगवान का व्यक्तित्व अनंत है। उसकी कोई सीमा नहीं है, वे अनंत है।

श्रीराम : कुछ ग्रंथों अनुसार भगवान श्रीराम भी नीलवर्ण के थे। इसीलिए उन्हें नीलाम्बुज, मेघवर्ण, नीलमणि, गगनसदृश आदि उपमाएं दी जाती हैं। क्या वाकई भगवान राम नीले रंग के थे, किसी इंसान का नीला रंग कैसे हो सकता है?

श्रीकृष्ण : भगवान श्रीकृष्ण को भी नील वर्ण का माना जाता है। उनके नीले रंग को श्याम वर्ण कहते थे। श्याम रंग अर्थात कुछ-कुछ काला और कुछ-कुछ नीला। दरअसल उनकी त्वचा का रंग मेघ श्यामल  था। अर्थात काला, नीला और सफेद मिश्रित रंग। श्याम वर्ण के होने के कारण कुछ कवियों ने उनको काला रंग का मान लिया।