Demonetisation: नोटबंदी में जमा किए लाखों रुपये, फरीदाबाद में 400 से अधिक लोगों को IT का नोटिस
नोटबंदी के बाद से 2020 तक सैकड़ों खातों में करोड़ों रुपये जमा हुए। इन सभी खाताधारकों ने न तो इनकम टैक्स जमा किया और न ही इनकम टैक्स रिटर्न फाइल किया। अब तक की जांच में 400 से अधिक खाते सामने आए हैं, जिनमें नोटबंदी के बाद ऐसा हुआ है। ITR फाइल किए बिना ही 50 लाख से एक करोड़ रुपये तक जमा किए गए। इनमें कई ऐसे खाताधारक हैं, जिन्होंने 50 लाख से एक करोड़ रुपये तक संपत्तियां खरीदीं और इस दौरान आयकर विभाग को जानकारी नहीं दी।
500 और एक हज़ार के नोट हुए थे जमा
2016 में पीएम मोदी ने नोटबंदी की घोषणा की थी। उसके बाद 500 और एक हज़ार के नोट का चलन बंद कर दिया गया था। जिन लोगों के पास ऐसे नोट थे, उन्हें बैंक में जमा कराने के लिए कहा गया था। ऐसे में अवैध रूप से धन अर्जित किए हुए लोगों ने बोगस खातों में पैसे जमा करा दिए थे, जिस पर IT विभाग की शुरुआत से ही नज़र थी। इन पर अब कार्रवाई करनी शुरू की गई है। सूत्रों के अनुसार शहर में बड़ी संख्या में ऐसे लोग थे, जिन्होंने मोटी रकम बैंक अधिकारियों से मिलीभगत कर खातों में जमा करा दी। उन्हें इस बात का अहसास नहीं था कि आयकर विभाग उन पर शिकंजा कस सकता है। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि लोगों को काफी समय दिया गया कि वह खुद विभाग में आकर अपनी इनकम का जरिया बताएं। अब विभाग ने ऐसे लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की तैयारी कर ली है।
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कुछ महीनों बाद निकल भी गए पैसे
IT विभाग के अधिकारियों ने बताया कि जिन अकाउंट होल्डर को नोटिस गए हैं, उनके खातों में नोटबंदी के दौरान अचानक मोटी रकम जमा हुई। इसके कुछ वक्त बाद ये रकम निकल भी गई, जिससे शक इनकम टैक्स विभाग को इन खातों पर और भी गहरा गया। इसके साथ ही इन खाताधारकों ने ITR भी फाइल नहीं किया और इस इनकम के बारे में भी नहीं बताया। ऐसे में इन खातों की ट्रैकिंग लगातार की जा रही थी। विभाग के पास ऐसा सिस्टम है कि आपके हर खर्च की ट्रैकिंग करता है। फिर चाहे आप कोई सामान की खरीद फरोख्त कर रहे हों या फिर प्रॉपर्टी अथवा गाड़ियों की। अब कार्रवाई की जा रही है।