वोडाफोन आइडिया सुधार उपायों पर दिशानिर्देश जारी होने के बाद कोष जुटाने को बोर्ड की मंजूरी लेगी

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वोडाफोन आइडिया सुधार उपायों पर दिशानिर्देश जारी होने के बाद कोष जुटाने को बोर्ड की मंजूरी लेगी

नयी दिल्ली, 22 सितंबर (भाषा) वोडाफोन आइडिया के एक शीर्ष अधिकारी ने बुधवार को कहा कि दूरसंचार क्षेत्र के सुधार उपायों पर सरकार की तरफ से विस्तृत दिशानिर्देश जारी किये जाने के बाद कंपनी कोष जुटाने के लिये नये सिरे से निदेशक मंडल की मंजूरी लेगी। कंपनी के प्रवर्तकों को कोष जुटाने के इस दौर में भागीदारी का मौका मिलेगा।

वोडाफोन आइडिया के प्रबंध निदेशक और सीईओ रविंदर टक्कर ने पीटीआई- भाषा से कहा कि कंपनी कारोबार में निवेश बढ़ाने और बाजार में प्रतिस्पर्धा में उतरने के लिये तैयारी कर रही है।

उन्होंने कहा कि जब सरकार की तरफ से वास्तविक दिशानिर्देश जारी कर दिये जायेंगे, उसके बाद ही कंपनी अपनी कारोबार योजना को उसके मुताबिक आगे बढ़ायेगी।

टक्कर ने कहा, ‘‘हमें उम्मीद है कि दिशानिर्देश अगले कुछ दिनों में आ जाएगे। उसके आधार पर, कितने कोष की जरूरत है, किस प्रकार के वित्त पोषण की आवश्यकता है, ये चीजें सामने आएंगी।’’

उन्होंने कहा, ‘‘स्पष्ट तौर पर तब हम मामले को मंजूरी के लिये निदेशक मंडल के पास ले जाएंगे। मुझे लगता है कि सरकार की तरफ से पैकेज को लेकर ब्योरा और दिशानिर्देश आने के साथ ये चीजें आने वाले दिनों और कुछ सप्ताह में शुरू होगी।’’

उल्लेखनीय है कि वोडाफोन आइडिया निदेशक मंडल ने 25,000 करोड़ रुपये तक कोष जुटाने की मंजूरी दी थी। लेकिन कंपनी अब तक किसी भी निवेशक के नाम को अंतिम रूप नहीं दे सकी।

इससे पहले, कंपनी प्रवर्तकों… आदित्य बिड़ला समूह और वोडाफोन…ने कंपनी में और निवेश करने से मना कर दिया था। सरकार की तरफ से दूरसंचार क्षेत्र में सुधारों को आगे बढ़ाने की घोषणा के बाद दोनों प्रवर्तकों ने अपने रुख स्पष्ट नहीं किये हैं।

यह पूछे जाने पर कि क्या कंपनी से निवेशकों ने सपंर्क किया है, टक्कर ने कहा कि उन्हें निदेशक मंडल की मंजूरी के बाद कोष जुटाने की प्रक्रिया में शामिल होने का अवसर मिलेगा। लेकिन उससे पहले सरकार के सुधारों को लेकर जवाब की जरूरत है, जिसे निवेशकों ने उठाया था।

उन्होंने कहा, ‘‘…हम कोष जुटाने की प्रक्रिया में कई महीनों से शामिल रहें हैं। इस प्रक्रिया के साथ हमारे सामने कुछ चीजें सामने आयी हैं। निवेशकों की भारत में निवेश में काफी रूचि है। उनकी रूचि हमारे क्षेत्र में है।’’

उल्लेखनीय है कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले सप्ताह दबाव में फंसे दूरसंचार क्षेत्र के लिये बड़े सुधार पैकेज को मंजूरी दी। इस पैकेज में सांविधिक बकाये के भुगतान से चार साल की मोहलत, दुलर्भ रेडियो तरंगों को साझा करने की अनुमति, सकल समायोजित राजस्व (एजीआर) की परिभाषा में बदलाव तथा स्वत: मार्ग से 100 प्रतिशत प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की अनुमति शामिल हैं।

उन्होंने कहा कि सरकार के सुधार उपायों से उद्योग को भरोसा मिला है कि शुल्क दरें बढ़ सकती हैं।

टक्कर ने कहा, ‘‘इसमें कोई संदेह नहीं है कि वोडाफोन आइडिया बाजार में मजबूती से बनी रहेगी और प्रतिस्पर्धा में शामिल होगी। यह तीन कंपनियों वाला बाजार बनने जा रहा है।’’

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