Shringar Gauri: श्रृंगार गौरी के पक्षकारों की आपसी लड़ाई पहुंची थाने, पैसे के लेनदेन में धमकी देने का मुकदमा दर्ज

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Shringar Gauri: श्रृंगार गौरी के पक्षकारों की आपसी लड़ाई पहुंची थाने, पैसे के लेनदेन में धमकी देने का मुकदमा दर्ज

Shringar Gauri: श्रृंगार गौरी के पक्षकारों की आपसी लड़ाई पहुंची थाने, पैसे के लेनदेन में धमकी देने का मुकदमा दर्ज


वाराणसी: देश में बहुचर्चित श्रृंगार गौरी नियमित दर्शन मामले में हिंदू पक्षकारों का आपसी झगड़ा अब पैसे के लेनदेन और धमकी देने तक आ गया है। श्रृंगार गौरी नियमित दर्शन मामले के हिंदू पक्ष के एक पैरोकार ने मुख्य वादिनि राखी सिंह के पैरोकार और विश्व वैदिक सनातन संघ के अध्यक्ष पर फ्लैट के नाम पर पैसे लेने और पैसे की वापसी की बात पर धमकी देने का आरोप लगाया है।

श्रृंगार गौरी नियमित दर्शन मामले की वादिनि लक्ष्मी देवी के पति और पैरोकार सोहन लाल आर्य ने वाराणसी के लक्सा थाने में मुकदमा दर्ज कराया है। आरोप के मुताबिक, नोएडा में फ्लैट दिलाने के नाम पर सोहन लाल आर्य से जितेंद्र सिंह बिसेन ने तीन लाख रुपये लिए और जब सोहन लाल आर्य ने पैसे वापस मांगे तो उल्टा धमकी दी गई। इससे पहले भी हिंदू पक्षकारों की आपसी लड़ाई अदालत में सामने आ चुकी है।

तीन धाराओं में मुकदमा दर्ज

श्रृंगार गौरी नियमित दर्शन मामले में कुल पांच महिलाओं राखी सिंह, रेखा पाठक, मंजू व्यास, लक्ष्मी देवी और सीता साहू याचिकाकर्ता थीं। इसी मामले में अदालती आदेश के बाद ज्ञानवापी परिसर का सर्वे किया गया था। मामले के राष्ट्रीय पटल पर चर्चा होने के साथ ही इन पांच महिलाओं के पैरोकार आपस में क्रेडिट लेने की होड़ में उलझने लगे। राखी सिंह के पैरोकार जितेंद्र सिंह बिसेन एक तरफ तो दूसरी ओर अन्य चार महिलाओं के पैरोकार हो गए। इन दोनों धड़ों के बीच आपसी खींचतान इतनी बढ़ गई कि अब मामला पैसे के लेनदेन और धमकी के आरोप तक पहुंच गया है।

वादिनि लक्ष्मी देवी के पति और पैरोकार सोहन लाल आर्य ने लक्सा थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई है। एनबीटी ऑनलाइन से बातचीत में सोहन लाल आर्य ने बताया कि श्रृंगार गौरी मामले में जितेंद्र सिंह बिसेन से संपर्क हुआ जिसके बाद हम लोग साथ में केस की पैरवी कर रहे थे। इसी बीच 2021 में जितेंद्र सिंह बिसेन ने नोएडा में अपने किसी परिचित का फ्लैट खरीदने का ऑफर दिया। भविष्य में केस के सिलसिले में दिल्ली आना जाना हो सकता है, ये सोचकर मैंने हामी भर दी और तीन लाख रुपये आरटीजीएस के माध्यम से दे दिए, लेकिन तीन लाख की रकम देने के बावजूद अभी तक फ्लैट नहीं दिया गया है और अब जब हम अपना पैसा वापस मांग रहे है तो हमें धमकी दी जा रही है। वहीं इन आरोप पर जितेंद्र सिंह बिसेन से कहा कि वो आरोप का अध्ययन कर रहे हैं।

अदालत में भी हिंदू पक्षकार हैं आमने सामने

श्रृंगार गौरी नियमित दर्शन मामला बेहद चर्चित रहा है। इसी मामले में पूरे ज्ञानवापी परिसर का सर्वे कराया गया था। जिसके बाद हिंदू पक्षकार मामले का श्रेय लेने के लिए आपस में ही भिड़ गए। चार महिला वादिनि एक तरफ हो गए तो अन्य चार महिलाएं एक तरफ हो गई हैं। दोनों पक्ष ने अपने-अपने वकील भी अलग कर लिए। इतना ही नहीं, एक ही मामले में दोनों हिंदू पक्षकार अलग-अलग बहस भी अदालत में करने लगे। इसी श्रृंगार गौरी से जुड़े कार्बन डेटिंग कराने के मामले में एक ओर चार महिलाएं है तो इनका विरोध मुख्य वादिनि राखी सिंह अदालत में करने लगी हैं। जिसका नतीजा ये हुआ कि कार्बन डेटिंग की मांग वाराणसी की अदालत से खारिज हो गई। अब कार्बन डेटिंग के मामले में भी हिंदू पक्षकार ही एक-दूसरे के आमने सामने हैं । वहीं, ज्ञानवापी के पैरोकार अंजुमन इंतजामिया कमेटी अदालती लड़ाई में दोनों पक्षों की लड़ाई को बस खामोशी से देख रही है।
रिपोर्ट- अभिषेक कुमार झा

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