mutual fund: मल्टी असेट फंड्स निवेशकों के लिए अच्छा विकल्प
भारतीय शेयर बाजार ( Indian stock market ) इस समय 61 हजार के आस-पास कारोबार कर रहा है। हालांकि पिछले चार दिनों से इसमें काफी उतार-चढ़ाव दिख रहा है। पिछले कुछ महीने से बाजार के जानकार कहते हैं कि असेट अलोकेशन को लेकर निवेशकों ( market experts ) को सचेत रहना चाहिए। ऐसे में मल्टी असेट फंड्स ( Multi Asset Funds ) निवेशकों के लिए एक अच्छा विकल्प लेकर आता है।
जयपुर। भारतीय शेयर बाजार इस समय 61 हजार के आस-पास कारोबार कर रहा है। हालांकि पिछले चार दिनों से इसमें काफी उतार-चढ़ाव दिख रहा है। पिछले कुछ महीने से बाजार के जानकार कहते हैं कि असेट अलोकेशन को लेकर निवेशकों को सचेत रहना चाहिए। ऐसे में मल्टी असेट फंड्स निवेशकों के लिए एक अच्छा विकल्प लेकर आता है। ब्रिजवाटर एसोसिएट के फाउंडर रे डालियो का कहना है कि सबसे महत्वपूर्ण यह है कि असेट अलोकेशन को लेकर आपके पास एक मिली-जुली रणनीति होनी चाहिए। निवेशकों का एक बैलेंस्ड, ढांचागत पोर्टफोलियो होना चाहिए। एक ऐसा पोर्टफोलियो हो जो अलग-अलग माहौल में अच्छा प्रदर्शन करे। यानी पैसा कई सेक्टर्स और कई स्टॉक में निवेश किया जाए। अर्थलाभ डॉटकॉम के आंकड़े बताते हैं कि आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल मल्टी असेट फंड के अलावा एक्सिस के ट्रिपल एडवांटेज फंड ने एक साल में 41.26 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। दो साल में इसने 22.23 प्रतिशत और पांच साल में 13.34 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। एचडीएफसी मल्टी असेट फंड ने एक साल में 31.02 प्रतिशत, दो साल में 21.01 और पांच साल में 11.11 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। एसबीआई मल्टी असेट फंड ने एक साल में 22.78 प्रतिशत का, दो साल में 14.88 और पांच साल में 9.89 प्रतिशत का रिटर्न दिया है।
यूटीआई मल्टी असेट फंड ने एक साल में 21.11, दो साल में 14.10 और पांच साल में 8.19 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। सेबी के नियमों के मुताबिक, मल्टी असेट फंड को कम से कम 10 प्रतिशत का निवेश तीन या ज्यादा असेट क्लास में करना चाहिए। जहां तक आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल की बात है तो यह फंड 10 से 80 प्रतिशत निवेश इक्विटी में, 10 से 35 प्रतिशत निवेश डेट में और 10 से 35 प्रतिशत निवेश गोल्ड ईटीएफ में और 0 से 10 प्रतिशत निवेश रियल इस्टेट इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (रिट) और इंफ्रा इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (इनविट्स) में करता है।
दरअसल ,मिक्स असेट क्लास में निवेश करने से इस कैटेगरी में अच्छा प्रदर्शन फंड हाउस कर पाते हैं। मल्टी असेट की कैटेगरी और अन्य फंड्स की तुलना में आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल का रिटर्न बेहतर रहा है। आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल का मल्टी असेट फंड 2002 अक्टूबर में शुरू किया गया था। इसकी नेट असेट्स वैल्यू करीबन 39 गुना बढ़ी है। इसका मतलब यह हुआ कि 10 रुपए का निवेश 19 सालों में 390 रुपए हो गया। अगर किसी ने एसआईपी के जरिए 10 हजार रुपए महीने निवेश किया होगा, तो यह रकम 1.57 करोड़ रुपए इस समय हो गई है, जबकि कुल निवेश केवल 22.8 लाख रुपए ही रहा।
अर्थलाभ डॉटकॉम के मुताबिक, इस स्कीम ने 5 और 10 साल में कभी निगेटिव रिटर्न नहीं दिया है। सितंबर 2021 तक आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल की स्कीम ने 63.6 प्रतिशत निवेश इक्विटी में किया। इस पोर्टफोलियो के टॉप 4 सेक्टर में ऑटो, पावर, टेलीकॉम और मेटल्स शामिल हैं। बाजार के वर्तमान माहौल में यह स्कीम इक्विटी में 10 से 80 प्रतिशत का निवेश करती है, जबकि सामान्य माहौल में इसे 65 से 75 प्रतिशत तक कर दिया जाता है।
भारतीय शेयर बाजार ( Indian stock market ) इस समय 61 हजार के आस-पास कारोबार कर रहा है। हालांकि पिछले चार दिनों से इसमें काफी उतार-चढ़ाव दिख रहा है। पिछले कुछ महीने से बाजार के जानकार कहते हैं कि असेट अलोकेशन को लेकर निवेशकों ( market experts ) को सचेत रहना चाहिए। ऐसे में मल्टी असेट फंड्स ( Multi Asset Funds ) निवेशकों के लिए एक अच्छा विकल्प लेकर आता है।
जयपुर। भारतीय शेयर बाजार इस समय 61 हजार के आस-पास कारोबार कर रहा है। हालांकि पिछले चार दिनों से इसमें काफी उतार-चढ़ाव दिख रहा है। पिछले कुछ महीने से बाजार के जानकार कहते हैं कि असेट अलोकेशन को लेकर निवेशकों को सचेत रहना चाहिए। ऐसे में मल्टी असेट फंड्स निवेशकों के लिए एक अच्छा विकल्प लेकर आता है। ब्रिजवाटर एसोसिएट के फाउंडर रे डालियो का कहना है कि सबसे महत्वपूर्ण यह है कि असेट अलोकेशन को लेकर आपके पास एक मिली-जुली रणनीति होनी चाहिए। निवेशकों का एक बैलेंस्ड, ढांचागत पोर्टफोलियो होना चाहिए। एक ऐसा पोर्टफोलियो हो जो अलग-अलग माहौल में अच्छा प्रदर्शन करे। यानी पैसा कई सेक्टर्स और कई स्टॉक में निवेश किया जाए। अर्थलाभ डॉटकॉम के आंकड़े बताते हैं कि आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल मल्टी असेट फंड के अलावा एक्सिस के ट्रिपल एडवांटेज फंड ने एक साल में 41.26 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। दो साल में इसने 22.23 प्रतिशत और पांच साल में 13.34 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। एचडीएफसी मल्टी असेट फंड ने एक साल में 31.02 प्रतिशत, दो साल में 21.01 और पांच साल में 11.11 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। एसबीआई मल्टी असेट फंड ने एक साल में 22.78 प्रतिशत का, दो साल में 14.88 और पांच साल में 9.89 प्रतिशत का रिटर्न दिया है।
यूटीआई मल्टी असेट फंड ने एक साल में 21.11, दो साल में 14.10 और पांच साल में 8.19 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। सेबी के नियमों के मुताबिक, मल्टी असेट फंड को कम से कम 10 प्रतिशत का निवेश तीन या ज्यादा असेट क्लास में करना चाहिए। जहां तक आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल की बात है तो यह फंड 10 से 80 प्रतिशत निवेश इक्विटी में, 10 से 35 प्रतिशत निवेश डेट में और 10 से 35 प्रतिशत निवेश गोल्ड ईटीएफ में और 0 से 10 प्रतिशत निवेश रियल इस्टेट इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (रिट) और इंफ्रा इन्वेस्टमेंट ट्रस्ट (इनविट्स) में करता है।
दरअसल ,मिक्स असेट क्लास में निवेश करने से इस कैटेगरी में अच्छा प्रदर्शन फंड हाउस कर पाते हैं। मल्टी असेट की कैटेगरी और अन्य फंड्स की तुलना में आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल का रिटर्न बेहतर रहा है। आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल का मल्टी असेट फंड 2002 अक्टूबर में शुरू किया गया था। इसकी नेट असेट्स वैल्यू करीबन 39 गुना बढ़ी है। इसका मतलब यह हुआ कि 10 रुपए का निवेश 19 सालों में 390 रुपए हो गया। अगर किसी ने एसआईपी के जरिए 10 हजार रुपए महीने निवेश किया होगा, तो यह रकम 1.57 करोड़ रुपए इस समय हो गई है, जबकि कुल निवेश केवल 22.8 लाख रुपए ही रहा।
अर्थलाभ डॉटकॉम के मुताबिक, इस स्कीम ने 5 और 10 साल में कभी निगेटिव रिटर्न नहीं दिया है। सितंबर 2021 तक आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल की स्कीम ने 63.6 प्रतिशत निवेश इक्विटी में किया। इस पोर्टफोलियो के टॉप 4 सेक्टर में ऑटो, पावर, टेलीकॉम और मेटल्स शामिल हैं। बाजार के वर्तमान माहौल में यह स्कीम इक्विटी में 10 से 80 प्रतिशत का निवेश करती है, जबकि सामान्य माहौल में इसे 65 से 75 प्रतिशत तक कर दिया जाता है।