चर्च में भी काले धन ने अपना खाता खोला, सामने आया काले धन का मामला

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काले धन ने देश के हर क्षेत्र में कब्ज़ा कर रखा है. टैक्स से लेकर राजनैतिक पार्टियों के बीच भी काले धन का बोलबाला है. आज ये वक़्त में तो ये काले धन का मुद्दा और भी भयानक रूप ले रहा है. ताज़ा खबर के अनुसार अब तो चर्च भी काले धन के दायरे में आ गया है. भारत में पहली बार चर्च के खिलाफ काले धन का मामला सामने आया है.

Keral Chruch -केरल के एर्णाकुलम में प्रधान पादरी के क्षेत्राधिकार के अंतर्गत हुए जमीन सौदे में गड़बड़ियां पायी गयी हैं. बताया जा रहा है कि जांच के दौरान चर्च के पैनल को  ज़मीन के सौदे में लेनदेन के बीच कई खामियां मिली हैं. चर्च के प्रमुख जॉर्ज एलनचेरी हैं. वहीं फादर पॉल कारेडन क्षेत्राधिकार के प्रवक्ता हैं, जिन्होंने जॉर्ज एलनचेरी के खिलाफ संगीन आरोप लगाए और इसी के तहत उनके खिलाफ जांच रिपोर्ट भी भेजी है. ये रिपोर्ट रोम पहुँच गयी है और जांच के बाद जॉर्ज एलनचेरी  के खिलाफ काले धन का केस दर्ज किया गया है. बता दें कि यह चर्च दुनिया के उन २२ चर्चों में से एक है जो पोप का चुनाव करने की काबिलियत रखते हैं.

इस मुद्दे को लेकर चर्च के प्रवक्ता फादर जिम्मी पूचाकट्टू ने कहा कि ”चर्च प्रमुख अभी कोई बयान नहीं देंगे. वह एक सर्कुलर जारी करेंगे, जिसमें वह अपनी बात रख सकते हैं”  फादर पूचाकट्टू ने कहा कि चर्च प्रमुख के बयान को उनके क्षेत्राधिकार के अंतर्गत आने वाली चर्चों में पढ़ा जाएगा.

2015 में भी हुआ था जमीन सौदा

ये मामला और भी संदेहास्पद इसलिए है क्यूंकि 2015 में एक बार पहले भी जमीन सौदा हुआ था. जमीन सौंदों से हुए नुकसान की जांच करने के लिए के 6 लोगों का एक पैनल बनाया गया था. इसमें पादरी चर्च के अयाजक भी शामिल किए गए थे.

एर्णाकुलम जिले के कई भागों में प्रधान पादरी के क्षेत्राधिकार में आने वाले पांच प्लॉट्स की बिक्री में गड़बड़ियां सामने आई थीं.  बता दें कि प्लॉट्स की बिक्री से प्रधान पादरी को लगभग  27 करोड़ रुपये मिले थे. इसके अलावा जमीन के पिछले सौदे की वजह से भी 9 करोड़ रुपये मिलने की बात बताई गयी है.