Eknath Shinde : शिवसेना को MVA के चंगुल से बाहर निकालने के लिए कर रहा लड़ाई… तोड़फोड़ और बवाल पर एकनाथ शिंदे ने की अपील

114

Eknath Shinde : शिवसेना को MVA के चंगुल से बाहर निकालने के लिए कर रहा लड़ाई… तोड़फोड़ और बवाल पर एकनाथ शिंदे ने की अपील

मुंबई : शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे का शिवसेना से बगावत पर एक और बयान सामने आया है। शनिवार देर शाम उन्होंने कहा कि शिवसेना कार्यकर्ताओं को समझना चाहिए कि वह पार्टी को महा विकास आघाड़ी (एमवीए) के चंगुल से बाहर निकालने के लिए संघर्ष रहे हैं। शिंदे ने यह अपील पार्टी अध्यक्ष एवं महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के समर्थक कार्यकर्ताओं की ओर से उनके नेतृत्व वाले बागी विधायकों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने, उनके बैनरों को हटाने, कुछ जगहों पर पथराव करने और पुणे में एक विधायक के कार्यालय में तोड़फोड़ करने के बाद की है।

शिंदे ने ट्वीट कर कहा, ‘मेरे प्रिय शिवसेना के कार्यकर्ताओं, एमवीए की साजिश को समझने की कोशिश करें। मैं शिवसेना और शिवसेना कार्यकर्ताओं को एमवीए के चंगुल से बाहर निकालने के लिए लड़ रहा हूं।’ उन्होंने कहा, ‘मैं इस लड़ाई को शिवसेना कार्यकर्ताओं के हित में समर्पित करता हूं।’

पांच शिवसेना समर्थक गिरफ्तार
शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे के बेटे और कल्याण सीट से लोकसभा सदस्य श्रीकांत शिंदे के कार्यालय पर पथराव करने के आरोप में ठाणे जिले में शनिवार को शिवसेना के कम से कम पांच समर्थकों को हिरासत में लिया गया। पुलिस ने इसकी जानकारी दी। यह घटना सांसद के उल्हासनगर स्थित गोल मैदान कार्यालय में दोपहर 1 बजे हुई और इसका एक विडियो सोशल मीडिया पर सामने आया है। वीडियो में कुछ लोगों को श्रीकांत शिंदे के उल्हासनगर कार्यालय पर पथराव करते और एक बोर्ड को नुकसान पहुंचाते हुए देखा गया। वे उद्धव ठाकरे के समर्थन में नारेबाजी कर रहे थे।

हुईं कई घटनाएं
वीडियो में चार पुलिसकर्मी आठ से दस लोगों के समूह का पीछा करते हुए देखे जा सकते हैं। इसके अलावा, नवी मुंबई में एकनाथ शिंदे के पोस्टर पर कालिख पोत दी गई। नागपुर और नासिक से भी इसी तरह की घटनाओं की सूचना मिली है। इस बीच, मुंबई के कुर्ला इलाके के नेहरूनगर में विधायक मंगेश कुडालकर के कार्यालय में लगे बोर्ड से तोड़फोड़ करने के आरोप में शिवसेना के कुछ पदाधिकारियों सहित कम से कम 20 समर्थकों को शुक्रवार को हिरासत में लिया गया। शिवसेना कार्यकर्ताओं के बढ़ते आक्रोश के मद्देनजर मुंबई पुलिस ने शहर स्थित विभिन्न राजनीतिक दलों और नेताओं के कार्यालयों और उनके आवास पर पुलिस बल तैनात कर दिया है। साथ ही 10 जुलाई तक के लिए धारा 144 लगा दी गई है, जिसका मतलब है कि एक जगह पर पांच से ज्यादा लोग नहीं जुट सकेंगे।

बागी बोले- हमारे परिवार को कुछ हुआ तो सीएम जिम्मेदार होंगे
एकनाथ शिंदे ने शनिवार को आरोप लगाया कि महाराष्ट्र सरकार ने पार्टी के 38 बागी विधायकों के आवास और उनके परिवारों की सुरक्षा वापस ले ली है। साथ ही, शिंदे ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध की भावना से की गई कार्रवाई बताया। हालांकि, गृहमंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने इन आरोपों से इनकार किया है। शिंदे ने दावा किया कि जिन नेताओं के आवास की सुरक्षा वापस ली गई है, उनमें मेरा आवास भी शामिल है।

बागी विधायकों के साथ गुवाहाटी में डेरा डाले हुए शिंदे ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और गृह मंत्री दिलीप वलसे पाटिल को संबोधित एक पत्र ट्वीट किया। पत्र पर शिंदे और अन्य विधायकों के हस्ताक्षर हैं। पत्र में विधायकों ने कहा है कि अगर उनके परिवार के लोगों को कुछ हुआ तो मुख्यमंत्री ठाकरे और सत्तारूढ़ महा विकास आघाड़ी (एमवीए) गठबंधन के नेता उसके लिए जिम्मेदार होंगे। वहीं, गृहमंत्री पाटिल ने कहा कि मुख्यमंत्री और गृह विभाग ने राज्य के किसी विधायक की सुरक्षा वापस लेने का कोई आदेश जारी नहीं किया है। ट्वीट किए गए पत्र पर हस्ताक्षर करने वाले विधायकों में एकनाटन शिंदे, गुलाबराव पाटिल, सदा सरवनकर, दादा भूसे, शंभूराज देसाई, दीपक केसरकर, भरत गोगावले, प्रताप सरनाईक, योगेश कदम, श्रीनिवास वंगा, लता सोनवणे, संजय शिरसत, तानाजी सावंत और दिलीप लांडे शामिल हैं।

राजनीति की और खबर देखने के लिए यहाँ क्लिक करे – राजनीति
News