16000 लड़कियों को क़ैद करके खुद को कृष्ण बता रहा था ये अय्याश बाबा

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दिल्ली के रोहिणी इलाके में आध्यात्मिक विश्वविद्यालय के नाम पर अय्याशी का अड्डा चला रहे ढोंगी बाबा वीरेंद्र देव दीक्षित के खिलाफ केस की सुनवाई करते वक़्त दिल्ली हाई कोर्ट बिफर पड़ा. कोर्ट को जब रोहिणी के विजय विहार इलाके में स्थित विश्वविद्यालय में छापेमारी करने वाली पुलिस ने वहां कम उम्र की लड़कियों को पिंजड़ों में रखने की बात बताई तो हाई कोर्ट कह उठा कि ‘हम किस युग में जी रहे हैं.’

गौरतलब है कि हाई कोर्ट ने बाबा के वकील से आज बाबा के बारे में जानकारी मांगी थी, लेकिन वकील ने कोर्ट को बताया कि बाबा कोर्ट में पेश नहीं होना चाहता. बाबा के वकील ने कोर्ट से यह भी कहा कि वह कोर्ट में बाबा का नहीं बल्कि सिर्फ आश्रम का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं.

वहीं याचिकाकर्ता के वकील ने कोर्ट को बताया कि लड़कियों से उनके ही परिजनों के खिलाफ जबरन पत्र लिखवाए गए थे. इस पर हाइकोर्ट ने कहा, “200 से अधिक लड़कियों को अपने जानवरों की तरह बंधक बनाकर रखा हुआ है. यह किस तरह की आध्यात्मिक क्लास दी जा रही है. एक या 2 मामलों में लड़कियां परिजनों के खिलाफ शिकायत कर सकती हैं, सभी लड़कियां ऐसा कैसे कर सकती हैं?

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विश्वविद्यालय पर छापेमारी के दौरान मौजूद रहीं दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाती जयहिंद ने जब कोर्ट को बताया कि छापेमारी के दौरान उन्होंने देखा कि सिर्फ कम उम्र की लड़कियों को ही बाबा के सामने सरेंडर करना होता है, पुरुषों को नहीं. इस पर कोर्ट ने कहा कि हम पहली बार ऐसा देख रहे हैं कि सिर्फ कम उम्र की लड़कियों को पिंजड़े में बंधक बनाकर रखा जा रहा है और उन्हें गोपियों की तरह ट्रीट किया जा रहा है. और यहां पर सिर्फ लड़कियों को रखा जा रहा है, पुरुषों को नहीं, हम किस युग में जी रहे हैं?

स्वाती ने बताया कि चाइल्ड वेलफेयर कमिटी ने गुरुवार को छापेमारी के दौरान विश्वविद्यालय से 41 नाबालिग बच्चियों को मुक्त कराया. उन्हें बाल ग्राम शेल्टर में शिफ्ट किया गया है. स्वाती ने कोर्ट से कहा कि दिल्ली में बाबा के सभी और आश्रम पर तुरंत छापे डाले जाने चाहिए. स्वाति ने यह भी बताया कि मुक्त कराई गईं लड़कियां बीमार हैं और इस वक़्त कुछ बताने की स्थति में नहीं हैं.

कोर्ट ने आध्यात्मिक विश्वविद्यालय से जुड़े दीपक डिसिल्वा और दीपक थॉमस को कोर्ट मे पेश करने के दिल्ली पुलिस को निर्देश दिए. इसके अलावा कोर्ट ने दिल्ली में मौजूद आध्यात्मिक विश्वविद्यालय की 8 ब्रांचों पर छापेमारी के लिए एक टीम का गठन किया है. इस टीम में CBI  नहीं होगी, बल्कि महिला कल्याण समिति और कोर्ट द्वारा नियुक्त वकील होंगे.

गौरतलब है कि ढोंगी बाबा वीरेंद्र देव के खिलाफ कुल 11 FIR दर्ज हैं, जिनमें से 4 FIR दिल्ली के विजय विहार थाने में जबकि अन्य 7 FIR उत्तर प्रदेश और राजस्थान में दर्ज हैं. विजय विहार थाने में बाबा के खिलाफ रेप के 3 और खुदकुशी के लिए उकसाने के आरोप में एक केस दर्ज है. बाबा पर धमकी देने के आरोप में धारा 506 के तहत भी केस दर्ज है.