कांग्रेस पार्टी के भीतर लोकसभा चुनाव में मिली क़रारी हार को लेकर जवाबदेही और आत्ममंथन का दौर लगातार जारी है। राजस्थान की 25 सीटों पर हुई शर्मनाक पराजय के बाद, अब पार्टी के अंदर कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष को मुख्यमंत्री बनाने की मांग उठ रही है। कांग्रेस सचिव सुशील आसोपा ने कहा ‘’पिछले साल हुए विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद, अगर सचिन पायलट को सीएम बना दिया जाता तो लोकसभा चुनाव के परिणाम अलग होते’’।
कांग्रेस सचिव सुशील आसोपा ने फेसबुक पर एक पोस्ट किया है जिसमें उन्होंने लिखा है ‘’ राजस्थान में कहीं चले जाओ, एक ही आवाज आती है कांग्रेस अगर सचिन पायलट को 5 साल की मेहनत के प्रतिफल में मुख्यमंत्री बनाती तो आज राजस्थान में लोकसभा के परिणाम कुछ और होते। लोग कहते हैं कि पायलट की 5 साल तक के परिश्रम के कारण ही वो माहौल बना जिससे कांग्रेस के विधायक जीते क्योंकि युवाओं को लगता था कि इस बार पायलट को मौका मिलेगा। राजस्थान में कहीं चले जाओ, एक ही आवाज आती है कांग्रेस अगर सचिन पायलट को 5 साल की मेहनत के प्रतिफल में मुख्यमंत्री बनाती तो आज राजस्थान में लोकसभा के परिणाम कुछ और होते। लोग कहते हैं कि पायलट की 5 साल तक की अथक मेहनत के कारण ही वो माहौल बना जिससे कांग्रेस के विधायक जीते क्योंकि युवाओं को लगता था कि इस बार पायलट को मौका मिलेगा।’’
बता दें कि राजस्थान में 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी और तीजों के बाद, कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने की मांग की थी। कांग्रेस पार्टी ने सचिन पायलट को उप-मुख्यमंत्री पद देकर उनके कार्यकर्ताओं के गुस्से को ठंडा करने की कोशिश की थी। बता दें कि विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 200 में 100 मिली थी जोकि बहुमत से एक सीट कम थी। मगर बीएसपी व अन्य पार्टियों के विधायकों के साथ गठबंधन करके सरकार बना ली।
राजस्थान में लोकसभा चुनाव 2019 प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष और उप-मुख्यमंत्री सचिन पायलट की अगुआई में लड़ा गया मगर कांग्रेस पार्टी यहां एक भी सीट जीतने में नाक़ाम रही। वहीं कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने चुनाव की हार पर राजस्थान सीएम अशोक गहलोत से नाराज़गी जताई थी और कहा था उन्हें पुत्र-हित ऊपर पार्टी-हित रखना चाहिए था।