बिहार के सहरसा के सदर अस्पताल में टॉर्च की रोशनी में एक सफाईकर्मी ने मरीज़ का ऑपरेशन किया. सड़क दुर्घटना में घायल महिला को सदर अस्पताल लाया गया था, जहां उसका ऑपरेशन होना था.
अस्पताल में न डॉक्टर थे न बिजली, ऐसे में एक सफ़ाई कर्मचारी ने टॉर्च की रोशनी में ऑपरेशन किया. अस्पताल के सिविल सर्जन से जब संपर्क करने की कोशिश की गई तो पता चला कि वो पटना गए हुए हैं.
बताया जा रहा है कि एक महिला सड़क दुर्घटना में घायल हो गई, जिसे इलाज के लिए सहरसा सदर अस्पताल लाया गया. यहां उसका ऑपरेशन होना था और ऑपरेशन थियेटर में बिजली नहीं थी. पूरा अंधेरा था कुछ नज़र नहीं आ रहा था. किसी तरह से मोबाइल और टोर्च के रोशनी में महिला का ऑपरेशन किया गया. इस सारे ऑपरेशन की वीडियो रिकॉर्डिंग की गई. इस दौरान जब डॉक्टर से पूछा गया कि लाइट कब से नहीं है तो उन्होंने बताया कि कल से लाइट नहीं है.
इस पर उनसे पूछा गया कि अस्पताल में लाइट रहनी चाहिए और ऑपरेशन थियेटर में 24 घंटे बिजली रहनी चाहिए लेकिन वहां बिजली नहीं है. इस पर डॉक्टर का नाम पूछा गया तो पता चला कि अस्पताल का सफाई कर्मचारी है और उसका नाम शम्भु मलिक है.