मप्र की बड़ी खबर : हाईकोर्ट ने दिए नर्सिंग काउंसिल की रजिस्ट्रार को तत्काल निलंबित करने के आदेश | High court orders immediate suspend of Nursing Council registrar | Patrika News

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मप्र की बड़ी खबर : हाईकोर्ट ने दिए नर्सिंग काउंसिल की रजिस्ट्रार को तत्काल निलंबित करने के आदेश | High court orders immediate suspend of Nursing Council registrar | Patrika News

मप्र की बड़ी खबर : हाईकोर्ट ने दिए नर्सिंग काउंसिल की रजिस्ट्रार को तत्काल निलंबित करने के आदेश | High court orders immediate suspend of Nursing Council registrar | Patrika News

187 कॉलेजों को नहीं दी मान्यता
लॉ स्टूडेंट्स एसोसिएशन मध्य प्रदेश के अध्यक्ष एडवोकेट विशाल बघेल की जनहित याचिका पर मंगलवार को हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। मप्र नर्सिंग काउंसिल की ओर से उपमहाधिवक्ता स्वप्निल गांगुली ने काउंसिल की रजिस्ट्रार सुनीता शिंजू का शपथ पत्र पेश किया। उन्होंने कोर्ट को बताया कि गत वर्ष 2020-21 में खुले हुए 453 कॉलेजों में से 94 नर्सिंग कॉलेजों को इस वर्ष मान्यता नवीनीकरण की अनुमति नहीं दी गई है। कॉलेजों में पढ़ रहे छात्रों को भी अन्यत्र स्थानांतरित किया जा रहा है। इसके अलावा अनियमितता के चलते अन्य 93 नर्सिंग कॉलेजों की मान्यता 22 अगस्त को निलंबित की गई । यह भी बताया गया कि वर्ष 2021-22 में मध्य प्रदेश में सिर्फ 49 नए नर्सिंग कॉलेज खोले गए हैं। इनके पास उपलब्ध संसाधन व अन्य अहर्ताओं का पर्याप्त निरीक्षण एवं सत्यापन करने के उपरांत नियमनुसार ही अनुमति जारी की गई है ।

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नए कॉलेजों में भी अनियमितताएं
याचिकाकर्ता एसोसिएशन ने रजिस्ट्रार के शपथ पत्र को झूठा बताते हुए कोर्ट में एक आवेदन पेश किया। वर्ष 2021-22 में खोले गए 49 में से 10 नर्सिंग कॉलेजों का उदाहरण पेश कर बताया गया कि नए खुले कॉलेजों में भास्कर कॉलेज ऑफ नर्सिंग ग्वालियर, जेएसएस कॉलेज ऑफ नर्सिंग भोपाल, रत्न ज्योति नर्सिंग कॉलेज ग्वालियर सहित पिछले वर्ष मान्यता नवीनीकृत किए गए स्नेह इंस्टीटयूट ऑफ नर्सिंग भोपाल तथा वैष्णवी नर्सिंग कॉलेज, भोपाल को डुप्लीकेट फैकल्टी होने के बाबजूद अनुमति जारी की गई।

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पांच कॉलेजों के फोटो पेश किए
पोल खोलने के लिए कोर्ट में नर्सिंग कॉलेजों की फोटो पेश की गई। इसमें क्राइस्ट ज्योति कॉलेज ऑफ नर्सिंग सीधी, जेएसएस नर्सिंग कॉलेज ग्वालियर, अपैक्स नर्सिंग कॉलेज भोपाल, फ्लोरेंस नाइटेंगल कॉलेज ऑफ नर्सिंग भोपाल व आरकेएस कॉलेज ऑफ़ नर्सिंग भोपाल शामिल थे। फोटो के जरिए कोर्ट को बताया गया कि काउंसिल के रिकॉर्ड में उपलब्ध कॉलेजों के भवन , लैब आदि के ब्यौरे से स्पष्ट है कि अनुपयुक्त भवनों में तथा फर्जी रूप से इंजीनियरिंग व बीएड कॉलेजों के भवन को किराए पर दिखाकर, बैनर तानकर नर्सिंग कॉलेज बताया गया। इस वर्ष भी रेवड़ी की तरह नियम विरुद्ध मान्यता बांटी गई। अधिवक्ता आलोक वागरेचा के तर्कों और प्रस्तुत साक्ष्यों को गंभीरता से लेते हुए कोर्ट ने नर्सिंग काउंसिल की रजिस्ट्रार सुनीता शिंजू को तत्काल निलंबित करने के निर्देश शासन को दिए।

जबलपुर के 7 नर्सिंग कॉलेज निलंबित
हाईकोर्ट के निर्देश पर जबलपुर के जिन सात नर्सिंग कालेजों की मान्यता निलंबित की गई है, उनमें ज्ञानदीप इंस्टीट्यूट आफ नर्सिंग, एमएम स्कूल आफ नर्सिंग, महात्मा गांधी इंस्टीट्यूट आफ नर्सिंग, प्रेमवती कालेज आफ नर्सिंग, संजीवन इंस्टीट्यूट आफ नर्सिंग, स्मिता कालेज आफ नर्सिंग व विजयश्री एजुकेशनल इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंस जबलपुर शामिल हैं।



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