भवन तैयार, छोटे कामों के पूरा नहीं होने से अटका है एग्जीबिशन सेंटर | Building ready, exhibition center stuck due to non-completion of small | Patrika News

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भवन तैयार, छोटे कामों के पूरा नहीं होने से अटका है एग्जीबिशन सेंटर | Building ready, exhibition center stuck due to non-completion of small | Patrika News

भवन तैयार, छोटे कामों के पूरा नहीं होने से अटका है एग्जीबिशन सेंटर | Building ready, exhibition center stuck due to non-completion of small | Patrika News

प्रदेश के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग (एमएसएमई) ने इस प्रोजेक्ट के लिए 2 करोड़ 66 लाख रुपए स्वीकृत किए हैं। इसमें ढाई करोड़ रुपए का आवंटन हो चुका है। अगर निर्माण की बात करें तो अब तक दो करोड़ 18 लाख रुपए के कार्य हुए हैं। बाकी की राशि के काम होना बाकी हैं। इसमें एक बड़ा हॉल और कार्यालय के अलावा बाउंड्रीवॉल, लाइट और गेट शामिल है। प्रोजेक्ट में कुछ और निर्माणों को शामिल किया गया था। वे अधूरे होने से मामला बीच में रुका हुआ है।

शहर में अभी ऐसा स्थान नहीं है, जहां उद्यमी या व्यापारी अपने उत्पादों का प्रदर्शन करने के लिए कार्यक्रम कर सकें। इसलिए एमएसएमई विभाग ने दो साल पहले प्रदेश के कुछ जिलों में एग्जीविशन सेंटर खोलने की योजना बनाई थी। शहर में माढ़ोताल क्षेत्र में इसका निर्माण किया गया है। मनमोहन नगर अस्पताल से लगे इस सेंटर में इतनी जगह है कि बड़ा कार्यक्रम भी आसानी से हो सकता है। इसकी दरें भी इस तरह तय की जाएंगी कि उपयोग करने में उद्यमियों को आसानी हो।

यह है स्थिति
●मनमोहन नगर माढ़ोताल में सेंटर का निर्माण।
●स्थानीय उत्पादों को प्रदर्शित करने की सुविधा।
●दो करोड़ 66 लाख रुपए प्रोजेक्ट के लिए स्वीकृत।
●अब तक दो करोड़ 50 लाख रुपए की राशि आवंटित।
●दो करोड़ 18 लाख रुपए के निर्माण कार्य हुए पूरे।

एग्जीबिशन सेंटर तैयार हो चुका है। भवन और बाउंड्रीवॉल बन गए हैं। अभी कुछ हिस्से में बाउंड्रीवॉल का निर्माण होना है। पार्किंग स्थल पर पेवर ब्लॉक और समतलीकरण भी होना है। निर्माण एजेंसी को इन कामों को पूरा करने पत्र लिखा है।

विनीत रजक, महाप्रबंधक जिला व्यापार एवं उद्योग केंद्र

ज्यादातर निर्माण कार्य हो चुका है। उद्योग विभाग चाहे तो इसका उपयोग करना शुरू कर सकता है। जहां तक शेष कार्यों की बात है तो जल्द ही इसका टेंडर किया जाएगा। आगामी दो माह में सभी कामों को पूरा करवाने का प्रयास करेंगे।

आरके राजनेगी, कार्यपालन यंत्री, एमपी हाउसिंग बोर्ड

सेंटर की रहेगी बड़ी उपयोगिता

जिले में रिछाई, अधारताल, उमरिया-डुंगरिया और हरगढ़ सहित चार औद्योगिक केंद्र संचालित हैं। इनमें 550 से ज्यादा छोटे और बडे़ उद्योग चल रहे हैं। इसी प्रकार निजी भूमि या भवनों में 15 हजार से अधिक इकाइयां स्थापित हैं। फर्नीचर, गारमेंट, कूलर, आलमारी, टिंबर और बैग का काम व्यापक पैमाने पर होता है। करोड़ों के टर्नओवर के साथ ही हजारों हाथों को काम भी मिला है। विडंबना यह है कि इन सभी उत्पादों का उत्पादन तो होता है, लेकिन स्थानीय स्तर पर उनकी खासियत को प्रदर्शित करने के लिए रियायती दरों पर मिलने वाला स्थान नहीं है। एग्जीबिशन सेंटर का निर्माण इसी इरादे से किया गया है।

ये निर्माण कार्य अधूरे

इस प्रोजेक्ट में प्रदर्शनी लगाने के लिए आने वाले आयोजकों के लिए एक पार्किंग एरिया विकसित किया जाना है। इसके लिए परिसर में पर्याप्त जगह है, लेकिन चिन्हित स्थान पर अभी तक पेवर ब्लॉक नहीं लगाए हैं। कच्ची मिट्टी के कारण वाहनों के जमीन में धंसने की आशंका बनी रहती है। 100 फीट हिस्से में बाउंड्रीवॉल अधूरी पड़ी है। जमीन का समतलीकरण और हॉल के पीछे ग्रिल लगना है। इन कामों के पूरा नहीं होने से उद्योग विभाग ने इसे अपने स्वामित्व में लेने से इनकार कर दिया है।



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