छोटी उत्तर पुस्तिका में भ्रष्टाचार का बड़ा ‘सवाल’ | DAVV | Patrika News

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छोटी उत्तर पुस्तिका में भ्रष्टाचार का बड़ा ‘सवाल’ | DAVV | Patrika News

छोटी उत्तर पुस्तिका में भ्रष्टाचार का बड़ा ‘सवाल’ | DAVV | Patrika News

इंदौरPublished: May 20, 2023 08:25:44 pm

डीएवीवी में करप्शन की कॉपी, 5 मिमी छोटी हो गई उत्तर पुस्तिकाएं, कागज भी क्वालिटी भी खराब

छोटी उत्तर पुस्तिका में भ्रष्टाचार का बड़ा ‘सवाल’

इंदौर. देवी अहिल्या यूनिवर्सिटी की परीक्षा देने वाले विद्यार्थी शायद ज्यादा खुश हों, क्योंकि वे उत्तर लिखकर जल्दी कॉपी भर सकेंगे। दरअसल, हुआ यह है कि यूनिवर्सिटी की उत्तर पुस्तिकाओं का आकार छोटा कर दिया गया है।
यह बदलाव किसी नियम या घोषणा के तहत नहीं, बल्कि भ्रष्टाचार के अघोषित समझौते के तहत हुआ है। अधिक दाम चुकाकर यूनिवर्सिटी ने तुरत-फुरत में छोटी कॉपियां खरीद लीं। इनके कागज की गुणवत्ता भी खराब कर दी गई। ये उत्तर पुस्तिकाएं भ्रष्टाचार के सवाल पूछ रही हैं और गड़बड़ी में शामिल जिम्मेदार मुस्कुराते हुए कह रहे हैं कि अगली बार ध्यान रखा जाएगा।
यूनिवर्सिटी की अपनी ङ्क्षप्रङ्क्षटग प्रेस होने के बावजूद बाजार से रेडीमेड कॉपियां खरीदने का प्रस्ताव शुरुआत से ही विवादों में रहा है। ऐनवक्त तक यूनिवर्सिटी ने कॉपी के लिए कागज नहीं खरीदा और परीक्षाओं के लिए कॉपी कम होने का हवाला देते हुए कार्यपरिषद से रेडीमेड कॉपियां खरीदने का प्रस्ताव मंजूर करा लिया। रेडीमेड कॉपियां खरीदने पर गोपनीयता को लेकर तो सवाल उठ ही रहे हैं। अब कॉपियों की साइज ने भी भ्रष्टाचार का बड़ा खुलासा किया है। दरअसल, एजेंसी ने जो कॉपियां यूनिवर्सिटी को भेजी हैं, उनकी लंबाई निर्धारित साइज से 5 मिलीमीटर कम है।
1.67 करोड़ की 20 लाख कॉपी
32 पेज की एक उत्तर पुस्तिका की दर 8.37 रुपए निर्धारित है। यूनिवर्सिटी ऐसी 20 लाख उत्तर पुस्तिकाएं खरीद रही है। यानी इसके लिए 1 करोड़ 67 लाख 40 हजार का भुगतान किया जाएगा। अनुबंध के तहत इन उत्तर पुस्तिका की लंबाई 22 सेमी और चौड़ाई 28 सेमी होना चाहिए। एजेंसी ने 22 सेमी की जगह 21.5 सेमी लंबाई वाली उत्तर पुस्तिकाएं भिजवा दीं। यानी 20 लाख उत्तर पुस्तिकाओं के लिए यूनिवर्सिटी करीब 7 लाख 60 हजार रुपए अतिरिक्त भुगतान करेगी।
साइंस स्ट्रीम वालों को होगी दिक्कत
उत्तर पुस्तिकाओं की साइज के साथ ही कागज की क्वालिटी से भी समझौता किया गया है। बीएसआइ मानक पूर्ण करने वाला वर्जिन पेपर पल्प युक्त 60 जीएसएम का पेपर इस्तेमाल होना था। लेकिन, इसकी तुलना में हल्की क्वालिटी का पेपर इस्तेमाल हुआ है। इस पर स्कैच पेन या जेल पैन से लिखने पर पीछे का पेज पूरी तरह खराब हो रहा है। इस कारण खासतौर से साइंस स्ट्रीम के उन विद्यार्थियों को दिक्कत होगी, जो स्कैच पैन से ड्राइंग बनाते हैं।
भ्रष्टाचार का खुलासा
कॉपियों के अनुपात को देखकर 5 मिलीमीटर भले ही बड़ा आंकड़ा नजर नहीं आ रहा हो पर कॉपियों के लिए चुकाई जाने वाली राशि के अनुपात में देखें तो सिर्फ इतनी सी छंटाई की आड़ में लाखों रुपए के भ्रष्टाचार का खुलासा हो रहा है।
ऐसे समझें गड़बड़ी
अनुबंध के तहत इन उत्तर पुस्तिका की लंबाई 22 सेमी और चौड़ाई 28 सेमी होना चाहिए।
एजेंसी ने 22 सेमी की जगह 21.5 सेमी लंबाई वाली करीब २० लाख उत्तर पुस्तिकाएं भिजवा दीं।

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