कल परेशानी न हो इसके लिए किए गए इंतजाम, देखें रिपब्लिक डे पर क्या रहेगी दिल्ली में व्यवस्था

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कल परेशानी न हो इसके लिए किए गए इंतजाम, देखें रिपब्लिक डे पर क्या रहेगी दिल्ली में व्यवस्था

कल परेशानी न हो इसके लिए किए गए इंतजाम, देखें रिपब्लिक डे पर क्या रहेगी दिल्ली में व्यवस्था

विशेष संवाददाता, नई दिल्ली: गणतंत्र दिवस समारोह में करीब 65 हजार लोग शिरकत करेंगे। परेड स्थल के चैक पॉइंट पर पास व टिकट पर मौजूद क्यूआर कोड स्कैन करने के बाद ही एंट्री मिल सकेगी। सुरक्षा की दृष्टि से ऐसा पहली बार किया जा रहा है। गणतंत्र दिवस के सुरक्षा इंतजामों को लेकर मंगलवार शाम को नई दिल्ली जिले के डीसीपी प्रणव तायल ने यह जानकारी प्रेस ब्रीफिंग में दी। उन्होंने कहा कि क्यूआर कोड स्कैन होते ही विजिटर की पूरी डिटेल सुरक्षाकर्मी के सामने होगी। सिर्फ पास व टिकट धारकों को ही परेड देखने के लिए एंट्री दी जाएगी। परेड स्थल के आसपास दिल्ली पुलिस के करीब 7 हजार जवान तैनात रहेंगे। इसके अलावा एनएसजी कमांडो, अर्धसैनिक बल और अन्य यूनिटों की मुस्तैदी रहेगी। समारोह स्थल व आसपास के इलाके को एंटी ड्रोन सिस्टम से लैस किया जा रहा है। जिसकी कमान डीआरडीओ के हाथो में रहेगी।

जगह-जगह पर लगाए गए हेल्पडेस्क

डीसीपी ने बताया कि कार्यक्रम स्थल पर करीब 150 से अधिक अतिरिक्त हाई डेफिनेशन सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। लोगों को किसी तरह की कोई असुविधा न हो और वे सही एनक्लोजर से दर्शकस्थल के लिए एंट्री ले सकें। इसके लिए जगह-जगह 24 हेल्पडेस्क बनाए गए हैं। 25 जनवरी की रात से ही कनॉट प्लेस व परेड रूट की हाई राइज इमारतों को सील कर दिया जाएगा। सुरक्षा एजेंसियों को जो इनपुट मिले हैं। उसे देखते हुए दिल्ली पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने सख्त सुरक्षा इंतजाम किए हुए हैं।

परेड के दौरान तिलक ब्रिज पर ट्रेनों की आवाजाही भी होगी बंद

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गणतंत्र दिवस परेड के लिए किए जाने वाले सुरक्षा इंतजामों के मद्देनजर 26 जनवरी की सुबह नई दिल्ली के तिलक ब्रिज पर ट्रेनों की आवाजाही भी अस्थायी रूप से बंद रहेगी। नॉर्दर्न रेलवे ने इस संबंध में एडवाइजरी जारी की है। इसमें बताया गया कि 26 जनवरी को सुबह 10:30 बजे से दोपहर 12 बजे तक सेवा प्रभावित रहेगी। इस दौरान 4 ट्रेनें रद्द की जाएंगी। इनमें नई दिल्ली-गाजियाबाद स्पेशल जेसीओ, पलवल-गाजियाबाद-पलवल स्पेशल जेसीओ, पलवल-नई दिल्ली स्पेशल जेसीओ और गाजियाबाद-नई दिल्ली स्पेशल जेसीओ शामिल हैं।

इसके अलावा कुछ ट्रेनों के रूट डायवर्ट किए जाएंगे। नई दिल्ली-गाजियाबाद ईएमयू को नई दिल्ली से पुरानी दिल्ली, शाहदरा और साहिबाबाद के रास्ते चलाया जाएगा। शकूरबस्ती-पलवल ईएमयू को पटेल नगर-सफदरजंग-हजरत निजामुद्दीन के रास्ते चलाया जाएगा। दिल्ली-गाजियाबाद स्पेशल (वाया तिलक ब्रिज) को जरूरत पड़ने पर शाहदरा-साहिबाबाद के रास्ते चलाया जाएगा। डिब्रूगढ़ राजधानी और देहरादून-नई दिल्ली जनशताब्दी एक्सप्रेस को साहिबाबाद-शाहदरा-पुरानी दिल्ली-नई दिल्ली के रास्ते चलाया जाएगा। सियालदाह-नई दिल्ली राजधानी, सियालदाह-बीकानेर दुरंतो एक्सप्रेस और रांची-नई दिल्ली राजधानी को भी जरूरत पड़ने पर साहिबाबाद-शाहदरा-पुरानी दिल्ली-नई दिल्ली के रास्ते चलाया जाएगा। कुछ ट्रेनों को रोक कर भी चलाया जाएगा। इनमें सिरसा-तिलक ब्रिज एक्सप्रेस, नई दिल्ली-डिब्रूगढ़ राजधानी, जम्मूतवी-पुणे झेलम एक्सप्रेस, नई दिल्ली-बनारस काशी विश्वनाथ एक्सप्रेस, नई दिल्ली-दरभंगा क्लोन स्पेशल, मुंबई सेंट्रल-अमृतसर पश्चिम एक्सप्रेस, कानपुर सेंट्रल-नई दिल्ली शताब्दी, बनारस-नई दिल्ली एक्सप्रेस और इस्लामपुर-नई दिल्ली मगध एक्सप्रेस शामिल हैं।

100 से ज्यादा बसों के रूट भी बदले गए

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गणतंत्र दिवस परेड के चलते 26 जनवरी की सुबह 4 बजे से परेड के रूट और उसके आस-पास की सड़कों पर ट्रैफिक की आवाजाही रोक दी जाएगी। दोपहर में लाल किले पर परेड खत्म होने तक ये पाबंदियां लागू रहेंगी। इस दौरान करीब दर्जन भर से ज्यादा जगहों से डीटीसी और क्लस्टर बसों के रूट भी डायवर्ट किए जाएंगे। सवा सौ से ज्यादा रूटों पर बस सेवाएं प्रभावित होंगी। इसे देखते हुए डीटीसी ने डायवर्जन प्लान तैयार किया है, जिसके तहत 26 जनवरी की सुबह 4 बजे से बसों को डायवर्ट किया जाएगा।

अलर्ट मोड पर रहेंगे हॉस्पिटल

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रिपब्लिड डे परेड के दौरान किसी भी इमरजेंसी की स्थिति से निपटने के लिए दिल्ली के प्रमुख अस्पतालों को भी अलर्ट मोड पर रखा गया है। इन अस्पतालों में एम्स, आरएमएल, लेडी हार्डिंग, एलएनजेपी सहित अन्य अस्पताल भी शामिल हैं। परेड रूट से सबसे करीब आरएमएल और लेडी हार्डिंग अस्पताल हैं। इसलिए इन्हें पूरी तरह तैयार रहने के लिए कहा गया है। इन हॉस्पिटलों में वीआईपी मरीजों के लिए भी अलग से तैयारी की गई है।

इस बार कुछ खास है परेड में

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इस बार गणतंत्र दिवस परेड में आर्मी पहली बार नाग मिसाइल सिस्टम को भी दिखाएगी। इसे डीआरडीओ ने बनाया है और यह एक एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल सिस्टम है। इससे पहले जब यह डिवेलपमेंट स्टेज पर था तब डीआरडीओ ने इसका प्रदर्शन किया था, लेकिन अब आर्मी इसे अपने बाकी वेपन और इक्विपमेंट के साथ दिखाएगी। इसके यूजर ट्रायल पूरे हो गए हैं और यह जल्दी ही आर्मी में शामिल होगा। नाग मिसाइल का यह लैंड वर्जन पूरी तरह स्वदेशी है। इस मिसाइल को बीएमपी-2 कैरियर में लगाया गया है और इसे नामिक (NAMICA) यानी नाग मिसाइल कैरियर का नाम दिया गया है। ये तीसरी पीढ़ी का ATGM यानी एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल है। ये फायर एंड फॉर्गेट टॉप अटैक तकनीक पर आधारित है, यानी एक बाद निशाना सेट करने के बाद इसे फायर किया जाएगा तो ये किसी भी मूविंग टारगेट पर सटीक निशाना लगाएगा। इसकी रेंज चार किलोमीटर है। यह लॉक ऑन तकनीक से लैस है यानी एक बार मिसाइल लॉन्च किए जाने के बाद भी टारगेट को लॉक किया जा सकता है। पिछले साल ही रक्षा अधिग्रहण समिति ने कुल 13 नामिक कैरियर और 443 नाग मिसाइल की खरीद को मंजूरी दी है। यह जल्दी ही आर्मी की मैकेनाइज्ड इंफ्रेंट्री का हिस्सा होगी। अभी इंडियन आर्मी दूसरी पीढ़ी के फ्रेंच एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल, मिलन 2T का इस्तेमाल कर रही है। इसके अलावा रूसी एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल कांकुर भी आर्मी के पास हैं।

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