लोहरदगा रामनवमी जुलूस पर पथराव का आतंकी कनेक्शन, फुटबॉल कंपटीशन के नाम पर फंडिंग, ऑटो से घूम रहे थे स्लीपर सेल के सदस्य

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लोहरदगा रामनवमी जुलूस पर पथराव का आतंकी कनेक्शन, फुटबॉल कंपटीशन के नाम पर फंडिंग, ऑटो से घूम रहे थे स्लीपर सेल के सदस्य
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लोहरदगा रामनवमी जुलूस पर पथराव का आतंकी कनेक्शन, फुटबॉल कंपटीशन के नाम पर फंडिंग, ऑटो से घूम रहे थे स्लीपर सेल के सदस्य

रांची: झारखंड के लोहरदगा में रामनवमी के दिन 10 अप्रैल को धार्मिंक उन्माद फैलाकर दो पक्षों को लड़ाने की कोशिश की गई। अब झारखंड पुलिस ने शुरुआती जांच में चौंकाने वाली बात का खुलासा किया है कि आतंकियों के स्लीपर सेल ने इस घटना को अंजाम दिया था। लोहरदगा के सदर थाना क्षेत्र के हिरही गांव में रामनवमी की शोभायात्रा पर पथराव की घटना के बाद सांप्रदायिक हिंसा के मामले में अनुमंडल पदाधिकारी अरविंद कुमार लाल ने बुधवार को यह खुलासा किया। उन्होंने बताया कि घटना को स्लीपर सेल की ओर से अंजाम दिया गया है।


‘फुटबॉल प्रतियोगिता के नाम पर की जा रही थी फंडिंग’
उन्होंने कहा कि स्लीपर सेल के सदस्य किसी संगठन विशेष के संपर्क में रहते हैं और संगठन के निर्देश पर अंजाम देते हैं। लोहरदगा जिले में स्लीपर सेल की गतिविधियां पिछले दो साल से चल रही हैं। उन्होंने कहा कि हिरही गांव में भी पिछले छह महीने से संदिग्ध गतिविधि चल रही थी। फुटबॉल प्रतियोगिता के आयोजन के नाम पर फंडिंग की जा रही थी। इसकी जानकारी प्रशासन को मिली है।
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स्लीपर सेल के सदस्य ऑटो से उस क्षेत्र में घूम रहे थे
एसडीओ ने कहा कि रामनवमी शोभायात्रा के दिन शहर के दुपट्टा चौक से कुटूम-ढोड टोली पथ में स्लीपर सेल के सदस्य किसी बड़ी घटना को अंजाम देकर सांप्रदायिक हिंसा फैलाना चाहते थे। इसकी भनक समय रहते प्रशासन को मिल गई। इसके बाद पूरे क्षेत्र में पुलिस फोर्स को तैनात कर दिया गया। स्लीपर सेल के सदस्य ऑटो से उस क्षेत्र में घूम रहे थे। इसकी जानकारी प्रशासन को मिली। तत्काल प्रशासन की ओर से कार्रवाई करते हुए पूरे इलाके में सर्च ऑपरेशन चलाया गया। इसकी भनक लगने पर वे निकल गए, जिस कारण स्लीपर सेल के सदस्यों के बारे में प्रशासन को पूरी जानकारी नहीं मिल पाई। इसी बीच जब स्लीपर सेल के सदस्यों को यहां किसी घटना को अंजाम देने में कामयाबी नहीं मिली तो वे हिरही में इस घटना को अंजाम दे दिया। एसडीओ ने कहा कि पूरे मामले में दो-तीन बातें काफी महत्वपूर्ण है।
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एसडीओ ने बताया कि हिरही गांव में पथराव की घटना के बाद स्थिति सामान्य हो गई थी, परंतु दोबारा कुछ लोगों द्वारा लोगों को उकसा कर हमला कराया गया। दूसरी बात यह है कि जब दो समुदायों के बीच विवाद की घटना हो रही थी, उसी बीच भोक्ता बगीचा मेला में आग लगा दिया गया। मेला में आग लगाने की घटना किसी दूसरे ही गुट ने अंजाम दिया है। पुलिस मामले की छानबीन में जुटी है।

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