म्यांमार में 2 भारतीय बंधक,एजेंट पर 25 हजार का इनाम: थाईलैंड में नौकरी का झांसा देकर बेचा था, मानव तस्करी का मामला दर्ज – Gopalganj News h3>
गोपालगंज के दो चचेरे भाइयों को म्यांमार में बंधक बना लिया गया है। मीरगंज थाना क्षेत्र के फतेहपुर गांव के रहने वाले इन युवकों से अब साइबर अपराध कराया जा रहा है। बंधक बनाए गए वाहिद रौशन के पिता रौशन अली ने एजेंट को पकड़वाने के लिए 25 हजार रुपए का इनाम
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पिछले 20 दिनों से दोनों युवकों का मोबाइल बंद है। परिजनों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह से मदद की गुहार लगाई है। आरोपी एजेंट नीरज कुमार यादव प्रयागराज का रहने वाला है। उसने वाहिद रौशन और मोहम्मद सउद अली को थाईलैंड में नौकरी दिलाने का झांसा दिया था। 26 अक्टूबर को दोनों युवकों को विजिट वीजा पर दिल्ली से थाईलैंड भेजा गया। बाद में एजेंट ने दोनों को चीनी एजेंटों के हाथ बेच दिया।
पुलिस ने मानव तस्करी का मामला दर्ज कर लिया है। इस केस को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को सौंपा जाएगा। स्थानीय पुलिस प्रशासन को भी युवकों की वतन वापसी के लिए आवेदन दिया गया है।
वॉट्सऐप से परिवार को भेजी जानकारी
थाईलैंड में साक्षात्कार कराने के नाम पर एजेंट ने कुछ दूर गाड़ी से और कई समुद्री यात्रा मोटर बोट से कराकर म्यांमार में एक अज्ञात जगह पहुंचा दिया। इसकी जानकारी उनके बेटा व भतीजे ने चोरी छिपे वॉट्सऐप से ऑडियो, वीडियो और फोटो भेज कर दी।
परिजनों ने मदद की गुहार लगाई है।
पीड़ित दोनों चचेरे भाइयों ने परिजनों को वीडियो भेजा है। इसके माध्यम से उन्होंने बताया है कि चीनियों ने म्यांमार में एक बड़ी चारदीवारी वाले मकान में उन्हें बंधक बनाकर रखा है। साथ ही यहां रहने वाले लोगों से साइबर ठगी कराने का काम किया जा रहा है। दोनों युवकों ने अपने परिजनों को बताया है कि यहां पहले से भारतीय व नेपाली के अलावा पाकिस्तान सहित अन्य देश के युवक व युवतियों को भी बंधक बनाया गया है।
बंधकों से साइबर ठगी कराने का काम किया जा रहा है। दोनों युवकों ने वापस भेजने की जिद की तो उन्हें बताया गया कि एजेंट ने उन्हें यूएस सात हजार डालर में बेच दिया है। रोशन अली ने इलाहबाद के एजेंट से संपर्क किया तो प्रति युवक 1,20,000 रुपए की मांग की गई।
1,20,000 रुपए भेजने के बाद भी नहीं छोड़ा
13 दिसंबर को एजेंट को उन्होंने 1,20,000 रुपए ऑनलाइन भेज भी दिया। इसके बावजूद उनके बेटे को और भतीजे को छोड़ा नहीं गया। इस घटना के बाद फतेपुर गांव निवासी रोशन अली के बयान पर मीरगंज थाने की पुलिस एजेंट नीरज कुमार यादव के खिलाफ प्राथमिकी करने के साथ ही कार्रवाई करने में जुट गई है।
बता दें कि वाहिद रौशन पूर्व में दिल्ली में रहकर मेकेनिकल ऑटो कट (कंप्यूटर पर पार्ट का डिजाइनिंग का काम) करता था। इसी बीच उसके मामा खालीद अहमद ने एजेंट नीरज यादव से सम्पर्क कर अपने भांजे को अच्छी नौकरी के लिए विदेश में भेजने की बात कही थी, जिसके बाद नीरज वाहिद के संपर्क में आया और उसने उसे दिल्ली से थाईलैंड भेजा गया था।
थाईलैण्ड के बाद म्यांमार भेजा गया, जहां उससे साइबर क्राइम कराया जाता था। लेकिन उसने जब विरोध किया तो उसके साथ मारपीट किया गया। वाहिद रौशन तीन भाईयो में और एक बहन में बड़ा है।