मंदिरों में शुरू हुई अक्षय तृतीय की तैयारी: वृंदावन के मंदिरों में की जा रही चंदन की घिसाई,राधा दामोदर मंदिर में चंदन श्रृंगार के लिए तैयार हो रहा चंदन लेप – Mathura News h3>
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अक्षय तृतीय पर्व पर भगवान का चंदन से श्रृंगार किया जाता है,इसके लिए मंदिरों में चंदन की घिसाई शुरू कर दी गई है
ब्रज के मंदिरों में अक्षय तृतीय पर्व की तैयारी शुरू कर दी गई है। इस दिन वर्ष में एक बार मंदिरों में विराजमान भगवान के सर्वांग दर्शन होते हैं इसके साथ ही इस दिन भगवान को चंदन का लेपन लगाया जाता है। अक्षय तृतीय पर अर्पित किए जाने वाले चंदन को मंदिरों म
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राधा दामोदर मंदिर में शुरू हुई तैयारी
वृंदावन के सप्त देवालयों में से एक ठाकुर राधा दामोदर मंदिर में अक्षय तृतीया पर्व को लेकर तैयारियां जोर शोर से शुरू हो गई है। भगवान श्री कृष्ण की नगरी श्री धाम वृंदावन में अक्षय तृतीया पर्व पर ठाकुर जी को चंदन का लेप लगाकर गर्मी से राहत प्रदान की जाती है। जिसमें ठाकुर जी चंदन श्रृंगार कर अपने भक्तों को सर्वांग दर्शन देते हैं। राधा दामोदर मंदिर के सेवायतों के द्वारा चंदन सेवा का कार्य प्रारंभ हो गया है। जिसमें दक्षिण भारत से आए हुए चंदन को नित्य प्रतिदिन मंदिर घिसकर लेप तैयार किया जाता है।
राधा दामोदर मंदिर में अक्षय तृतीय पर्व की तैयारी शुरू हो गई है
यह है परंपरा
राधा दामोदर मंदिर के सेवायत आचार्य कृष्ण बलराम गोस्वामी ने बताया कि चंदन श्रृंगार की यह परंपरा करीब 500 वर्ष पुरानी है। 500 वर्ष पहले गौड़िया संप्रदाय के माधवेंद्र पुरी पाद महाराज गोवर्धन के जतीपुरा में रहकर श्रीनाथजी की सेवा पूजा करते थे। उनको श्रीनाथजी ने स्वप्न देकर कहा कि पेट की गर्मी तो मेरी छप्पन भोग के सेवन से समाप्त हो जाती है, लेकिन शरीर का ताप मैं किस तरीके से कम करूं। तुम मलयागिरी जाकर मेरे लिए चंदन लेकर आओ और मेरा चंदन से श्रृंगार करो। रास्ते में उड़ीसा में स्थित ठाकुर खीरचौरा गोपीनाथ के दर्शन करने बाद वह चंदन लेकर लौट रहे थे तो उनसे ठाकुर खीरचौरा गोपीनाथ ने कहा कि तुम मेरा चंदन से श्रृंगार करो ठाकुर श्रीनाथ जी स्वयं प्रसन्न हो जायेगे तो माधवेंद्रपुरी महाराज ने उनका श्रृंगार किया। तभी से परम्परा चली आ रही है।इसी कारण से उड़ीसा में चंदन यात्रा 21 दिनों तक मनाई जाती है।
500 वर्ष पुरानी है परंपरा
चंदन में मिलाई जाती है विशेष जड़ी बूटी
मंदिर के सेवायत आचार्य पूर्ण चंद्र गोस्वामी ने बताया कि हर वर्ष के भांति इस वर्ष भी साउथ से उच्च कोटि का चंदन मंगवाया गया है। जिसको नित्य प्रतिदिन घिसकर लेप तैयार कर रहे हैं। इस लेप में नाना प्रकार की जड़ी बूटियों का मिश्रण कर अक्षय तृतीया के पावन मौके पर ठाकुर जी का चंदन श्रृंगार दर्शन किया जाएगा। जिसमें ठाकुर जी अपने भक्तों को सर्वांग दर्शन देंगे। उस दिन ठाकुर जी को कोई भी वस्त्र धारण नहीं कराए जाते हैं। उस दिन ठाकुर जी को चंदन के द्वारा सुसज्जित किया जाता है।
चंदन में कई प्रकार की जड़ी बूटी मिलाई जाती हैं
भगवान को अर्पित करने के बाद भक्तों में किया जाता है चंदन वितरित
सेवायत करुण गोस्वामी ने बताया कि ठाकुर राधा दामोदर लाल के सर्वांग दर्शन करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। ठाकुर जी के दर्शन करने के लिए दूर दराज से हजारों श्रद्धालु मंदिर दर्शन करने आते हैं। उन्होंने बताया कि ठाकुर जी के द्वारा धारण किए गए चंदन को प्रसादी कर भक्तों में वितरित भी किया जाता है।