जयपुर में कैडेवर ट्रांसप्लांट: झुंझुनूं के रघुनाथ के ब्रेनडेड होने पर परिजनों ने दान की दोनों किडनी; पेड़ से गिरने पर हुए थे घायल – Jaipur News h3>
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जयपुर के सवाई मानसिंह हॉस्पिटल (एसएमएस) में आज कैडेवर ट्रांसप्लांट हुआ। इसमें एक व्यक्ति के ब्रेन डेड होने के बाद उसकी दोनों किडनी दान करके दो अलग-अलग मरीजों को लगाकर उनको नई जिंदगी दी। हालांकि लिवर और हार्ट ट्रांसप्लांट के लिए फिट नहीं होने के कारण
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एसएमएस मेडिकल कॉलेज में न्यूरोसर्जरी डिपार्टमेंट के एचओडी डॉ. मनीष अग्रवाल ने बताया- रघुनाथ सिंह जो चिड़ावा झुंझुनूं के रहने वाले थे वे 4 मई के दिन खेजड़ी के पेड़ पर पेड़ की छंटाई करने के दौरान गिर गए थे, जिससे उनके सिर पर गहरी चोट आई और वे घायल हो गए।
घायल होने के बाद उनके परिजनों ने झुंझुनूं के हॉस्पिटल में भर्ती करवाया, जहां स्थिति गंभीर होने के बाद मरीज को जयपुर रैफर किया गया। जयपुर के ट्राेमा सेंटर में भर्ती करने के बाद मरीज का इलाज किया, लेकिन तमाम कोशिश के बाद भी मरीज को बच न सका और वह कल देर रात ब्रेनडेड हो गया।
रघुनाथ सिंह।
बड़े भाई और परिजनों ने दी सहमति
ऑर्गन डोनेशन कमेटी के कॉर्डिनेट और सीनियर नर्सिंग ऑफिसर रामप्रसाद मीणा ने बताया- रघुनाथ सिंह प्राइवेट काम करते थे और उनके दो बच्चे (एक बेटा और एक बेटी) है। इन दोनों बच्चों और रघुनाथ सिंह के बड़े भाई जो फौज से रिटायर्ड हुए है उनसे बातचीत, समझाइश और सहमति के बाद अंगदान की स्वीकृति ली गई।
एक युवक और युवती के लगाई किडनी
परिजनों की सहमति के बाद आज दिन में ब्रेनडेड हुए रघुनाथ सिंह की दोनों किडनी लेकर उनको एसएमएस हॉस्पिटल के सुपर स्पेशियलिटी विंग में भर्ती दो मरीजों के लगाई गई। ऑपरेशन दोपहर करीब 3 बजे शुरू किया, जो देर शाम तक जारी रहा। ये ट्रांसप्लांट यूरोलॉजी डिपार्टमेंट की टीम ने डिपार्टमेंट के एचओडी और सीनियर डॉ. शिवम प्रियदशर्नी, डॉ. नचिकेत व्यास, डॉ. संजीव जायसवाल, डॉ. सोमेन्द्र बंसल, डॉ. गोविंद शर्मा, डॉ. रामदयाल साहू, डॉ. मनोज बामणियां के अलावा एनिस्थिसिया डिपार्टमेंट से डॉ. वर्षा कोठारी और डॉ. सिद्धार्थ शर्मा की टीम ने ये ट्रांसप्लांट किया। डॉक्टर प्रियदशर्नी ने बताया एक किडनी 37 साल के युवक जो झुंझुनूं का है उसे लगाई है, जबकि दूसरी 25 साल की युवती जो भरतपुर की रहने वाली है उसे दी गई है।
हार्ट की तैयारी पूरी, लेकिन आखिरी समय पर नहीं हुआ ट्रांसप्लांट
डॉ. मनीष अग्रवाल ने बताया- किडनी के अलावा हार्ट, लंग्स और लिवर भी डोनेट करने के लिए सहमति दे दी थी, लेकिन जांच में लिवर, हार्ट और लंग्स ट्रांसप्लांट के लिए फिट नहीं मिले, जिसके कारण उनको नहीं लिया गया। उन्होंने बताया- हार्ट ट्रांसप्लांट के लिए जयपुर के ही एसएमएस हॉस्पिटल में सभी तैयारियां कर ली थी। जबकि लिवर लेने के लिए हैदराबाद के एक हॉस्पिटल से टीम आई थी।