इंदौर ने जल बचाने के लिए थामा एक-दूसरे का हाथ: ‘उल्टी छतरी’ बनी संरक्षण का प्रतीक, निकली मानव शृंखला और जागरूकता रथ – Indore News

3
इंदौर ने जल बचाने के लिए थामा एक-दूसरे का हाथ:  ‘उल्टी छतरी’ बनी संरक्षण का प्रतीक, निकली मानव शृंखला और जागरूकता रथ – Indore News
Advertising
Advertising

इंदौर ने जल बचाने के लिए थामा एक-दूसरे का हाथ: ‘उल्टी छतरी’ बनी संरक्षण का प्रतीक, निकली मानव शृंखला और जागरूकता रथ – Indore News

महापौर के नेतृत्व में दिया जल बचाओ का संदेश।

Advertising

इंदौर में शुक्रवार को जल गंगा संवर्धन अभियान के तहत एक भव्य मानव शृंखला का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का नेतृत्व महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने किया। शहरवासियों ने रणजीत हनुमान मंदिर से लेकर महाराणा प्रताप प्रतिमा तक हाथों में हाथ डालकर जल संरक्षण और

.

Advertising

जल गंगा रथ को दिखाई गई हरी झंडी

इस मौके पर महापौर ने ‘जल गंगा रथ’ को रवाना किया, जो शहरभर में घूमकर लोगों को जल संरक्षण के प्रति जागरूक करेगा। यह रथ प्रत्येक घर तक पहुंचकर वर्षा जल संचयन, जल स्रोतों के संरक्षण और जल अपव्यय रोकने के उपायों की जानकारी देगा।

इंदौरियों को जल बचाने का संदेश।

Advertising

अब जल संरक्षण में भी बनेगा देश का अग्रणी

महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने कहा कि इंदौर ने स्वच्छता में लगातार देश में पहला स्थान प्राप्त किया है। अब हमारा लक्ष्य है कि जल संरक्षण के क्षेत्र में भी इंदौर देश का अग्रणी शहर बने। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नेतृत्व में यह अभियान जनभागीदारी के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाया जा रहा है।

महापौर ने नागरिकों से अपील की कि वे वर्षा जल को संग्रहित करें, घरों में ‘केच द रेन’ जैसे उपाय अपनाएं, भूजल स्तर बढ़ाएं और जल बचाने की आदत को अपने जीवन का हिस्सा बनाएं। उन्होंने ‘उल्टी छतरी’ को जल संरक्षण का प्रतीक बताते हुए कहा कि यह प्रतीकात्मक रूप से पानी सहेजने की प्रेरणा देता है।

Advertising

रेन हार्वेस्टिंग से लेकर तालाब गहरीकरण तक

महापौर ने जानकारी दी कि बीते तीन वर्षों में नगर निगम द्वारा जल संरक्षण के लिए सघन प्रयास किए गए हैं। अब तक शहर में 1.25 लाख से अधिक रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम स्थापित किए जा चुके हैं। साथ ही 156 कुओं, 28 बावडिय़ों और 16 तालाबों का गहरीकरण भी कराया गया है। जल निकासी चैनलों की समय-समय पर सफाई भी सुनिश्चित की गई है।

जल बचाने के लिए जरूरी है जनसहयोग

कार्यक्रम में एमआईसी सदस्य अभिषेक शर्मा, पार्षद कंचन गिदवानी, हरप्रीत लूथरा, रूपाली पेंढारकर, पराग कौशल, कमल वाघेला, योगेश गेंदर, नगर निगम अधिकारी और बड़ी संख्या में नागरिक मौजूद रहें।

महापौर ने कहा कि जल संरक्षण का लक्ष्य तभी संभव है जब इसमें जनता की भागीदारी हो। उन्होंने नागरिकों से अपील की कि वे जल संरक्षण के लिए संकल्प लें और आने वाली पीढ़ियों के लिए जल संसाधनों को संरक्षित रखने में सहयोग करें।

मध्यप्रदेश की और खबर पढ़ने के लिए यहाँ क्लिक करे – Madhya Pradesh News

Advertising