आईपीआर यात्रा में विशेषज्ञों का मंथन: बगरू में बनेगा इंटरनेशनल टेक्नोलॉजी सेंटर, 12 एकड़ में होगा निर्माण – Jaipur News h3>
पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री की ओर से नेशनल इंटलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट यात्रा पर दो दिवसीय वर्कशॉप शुक्रवार को शुरू हुई।
पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री की ओर से नेशनल इंटलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट यात्रा पर दो दिवसीय वर्कशॉप शुक्रवार को शुरू हुई। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के सचिव वी सरवन कुमार ने वर्कशॉप का उद्घाटन किया।
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कार्यक्रम में एमएसएमई जयपुर के संयुक्त निदेशक गौरव जोशी, पीएचडी चैम्बर राजस्थान के अध्यक्ष दिग्विजय ढाबरिया और सह अध्यक्ष जितेंद्र सिंह राठौड़ मौजूद रहे। पीएमएआर के अध्यक्ष श्रवण शर्मा, पीएचडीसीसीआई एमएसएमई कमेटी के सहअध्यक्ष डीपी गोयल और राजस्थान के रीजनल डायरेक्टर आरके गुप्ता भी शामिल हुए।
पहले दिन पेटेंट और ट्रेड मार्क विशेषज्ञ रोहित जैन, आईपीआर विशेषज्ञ अखिलेश त्रिवेदी और एडवोकेट मनकरण सिंह ने विशेष जानकारी दी।
पहले दिन पेटेंट और ट्रेड मार्क विशेषज्ञ रोहित जैन, आईपीआर विशेषज्ञ अखिलेश त्रिवेदी और एडवोकेट मनकरण सिंह ने विशेष जानकारी दी। एडवोकेट अनिला चौरडिया और मेघा खंडेलवाल ने आईपीआर रजिस्ट्रेशन, पेटेंट और डिजाइन पर प्रकाश डाला। शनिवार को जीआई टैग और आईपीआर के कानूनी प्रावधानों पर सत्र होगा। साथ ही सहायता शिविर भी लगेगा।
सचिव वी सरवन कुमार ने बताया कि विभाग ने इंडस्ट्री और एकेडमी के बीच की दूरी कम करने के लिए सौ शैक्षणिक संस्थान तैयार किए हैं। इन संस्थानों में उद्योगों की जरूरत के मुताबिक रिसर्च और तकनीक विकसित की जा रही है।
यहां प्रोडक्ट, डिजाइन और प्लांट डिजाइन पर विशेष काम हो रहा है। एक संस्था के जरिए आसपास के अन्य संस्थानों को भी इस योजना से जोड़ा जाएगा। रीको और अन्य औद्योगिक क्षेत्रों में उद्योगपतियों के सुझाव लेकर नई तकनीक पर काम किया जाएगा।
आईपीआर के साथ पेटेंट, जीआई टैग, कॉपीराइट के प्रावधानों के साथ रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया की जानकारी दी जा रही है।
एमएसएमई जयपुर के संयुक्त निदेशक गौरव जोशी ने कहा कि सरकार बगरू में 12 एकड़ में इंटरनेशनल टेक्नोलॉजी सेंटर का विकास कर रही है। इसके लिए जमीन चिन्हित की जा चुकी है और सेंटर के निर्माण का काम तेजी से आगे बढ़ रहा है, यहां भी प्रदेश के लघु, सूक्ष्म और मध्यम उद्योगों को तकनीकी रूप से ज्यादा प्रतिस्पर्धी बनाने के लिए इनोवेशन, रिसर्च एंड डेवलपमेंट पर काम होगा।
सरकार स्टार्टअप और छोटे उद्यमियों के लिए भी आईपी राइट प्रक्रिया पूरी करने के लिए 5 लाख रुपये तक का अनुदान भी दे रही है, ताकि युवा उद्यमी और स्टार्टअप अपनी इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी को पूरी तरह संरक्षित कर सकें।
पीएचडी चैम्बर राजस्थान के अध्यक्ष दिग्विजय ढाबरिया ने कहा इंटलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट की पूरी जानकारी वक्त की आवश्यकता है, वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा के लिए प्रदेश और प्रदेश के उद्यमियों को आईपी राइट्स की पूरी जानकारी होनी चाहिए।
इसके लिए पीएचडी चैम्बर ने इस कार्यशाला का आयोजन किया है। जहां आईपीआर के साथ पेटेंट, जीआई टैग, कॉपीराइट के प्रावधानों के साथ रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया की जानकारी दी जा रही है।