अब पीक आवर में बत्ती नहीं होगी गुल? नेपाल से 209 मेगावाट पनबिजली खरीदेगा बिहार; 3 साल का करार h3>
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बिहार सरकार ने गैर परंपरागत बिजली का कोटा पूरा करने के लिए नेपाल से पनबिजली की खरीदारी करने का निर्णय लिया है। इसके लिए बिजली कंपनी ने बिहार विद्युत विनियामक आयोग में याचिका दायर की थी। आयोग ने इस पर मुहर लगा दी है। इसके साथ ही नेपाल से अगले तीन या पांच वर्षों तक 209 मेगावाट पनबिजली खरीद का रास्ता साफ हो गया है।
याचिका में कहा गया था कि बिजली कंपनी ने राज्य की जरूरतों का आकलन करते हुए कई उत्पादकों से करार कर रखा है। लेकिन थर्मल परियोजनाओं के आने में देर होने की उम्मीद है। ऐसे में पीक आवर में बिजली आपूर्ति करने में परेशानी हो सकती है। चूंकि, नेपाल ने बिहार को बिजली देने का ऑफर दे रखा था। इसी के आलोक में कंपनी ने नेपाल से बिजली खरीदने के लिए विनियामक आयोग से मंजूरी मांगी।
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पीक आवर में होगी सुविधा
राज्य में अभी बिजली की आपूर्ति हर रोज 75 सौ मेगावाट से अधिक हो रही है। कभी-कभार केंद्रीय सेक्टर से कम बिजली मिलने के कारण कंपनी को खुले बाजार से बिजली लेनी पड़ती है। बाजार में बिजली की उपलब्धता कम होने पर कंपनी को न चाहते हुए भी लोड शेडिंग करनी पड़ती है। नेपाल से चौबीसों घंटे 209 मेगावाट बिजली मिलने से पीक आवर में सुविधा होगी। खुले बाजार पर कंपनी की निर्भरता कम होगी। साथ ही गैर परम्परागत बिजली जो कुल आपूर्ति का 17 फीसदी होती है, वह कोटा भी पूरी होगा। इस कोटा के पूरा होने से कंपनी को जुर्माना नहीं देना होगा जो करोड़ों रुपए होते हैं। इस तरह कंपनी को पैसे की भी बचत होगी।
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15 जून से 31 अक्टूबर तक होगी खरीद
कंपनी की याचिका पर आयोग ने सुनवाई की। कंपनी और बिजली देने वाली एजेंसी पीटीसी इंडिया लिमिटेड के पक्ष को सुना। सभी पहलुओं पर गौर करते हुए आयोग ने कंपनी की याचिका को मंजूर कर दिया। इसके तहत कंपनी 15 जून से 31 अक्टूबर तक 209 मेगावाट पनबिजली की खरीदारी करेगी। खरीद करने की मंजूरी तीन वर्षों के लिए दी गई है जिसे पांच वर्षों तक विस्तारित किया जा सकता है। बिजली खरीद की दर 5.45 रुपए प्रति यूनिट होगी। आयोग की मंजूरी के बाद अब केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण से मंजूरी लेने की प्रक्रिया चल रही है। विदेश मंत्रालय की मंजूरी के बाद ही नेपाल से बिजली खरीदारी की औपचारिक प्रक्रिया शुरू होगी।
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याचिका में कहा गया था कि बिजली कंपनी ने राज्य की जरूरतों का आकलन करते हुए कई उत्पादकों से करार कर रखा है। लेकिन थर्मल परियोजनाओं के आने में देर होने की उम्मीद है। ऐसे में पीक आवर में बिजली आपूर्ति करने में परेशानी हो सकती है। चूंकि, नेपाल ने बिहार को बिजली देने का ऑफर दे रखा था। इसी के आलोक में कंपनी ने नेपाल से बिजली खरीदने के लिए विनियामक आयोग से मंजूरी मांगी।
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